नई दिल्ली/शौर्यपथ / केंद्र ने कथित तौर पर सरकार को बदनाम करने वाले टूलकिट पर टैग के लिए हेरफेर करके बनाए गए मीडिया टैग को लेकर ट्विटर से ऐतराज जताया है. सूत्रों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी. देश के कोविड-के19 खिलाफ प्रयासों को कथित तौर पर बदनाम करने के लिए यह मीडिया टैग तैयार कए गए थे. सरकार ने दोटूक लहजे में ट्विटर से कहा है कि यह मीडिया टैग हटा दे क्योंकि मामला अभी लंबित है. सूत्रों के अनुसार, जांच ही सामग्री की सत्यता का निर्धारण करेगी न कि ट्विटर. इसके साथ ही सरकार ने ट्विटर से जांच की प्रक्रिया में दखल नहीं देने को कहा है. ट्विटर ऐसे समय अपना जजमेंट नहीं दे सकता जब मामला जांच के दायरे में है.ट्विटर पर इस तरह के कंटेट का होना इस सोशल मीडिया बेवसाइट की प्रतिष्ठा पर सवालिया निशान लगाता है.
भारत सरकार की मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड आईटी ने इस मामले में ट्विटर की वैश्विक टीम के साथ संपर्क करके “Manipulated Media” टैग मामले में सख्त ऐतराज जताया है. कुछ खास ट्वीट्स में इन हेरफेर करके बनाए गए मीडिया टैग का इस्तेमाल देश के नेताओं ने किया था और इसके लिए कोविड-19 के खिलाफ केंद्र सरकार के प्रयासों को कम करके दिखाने की कोशिश की गई थी .
गौरतलब है कि टूलकिट मामले में बीजेपी और कांग्रेस आमने सामने आ गए थे. भाजपा ने कांग्रेस पर कोरोना महामारी के दौरान देशवासियों में भ्रम फैलाने और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छवि को धूमिल करने का आरोप लगाया था और कहा था कि इस संकट काल में विपक्षी दल की ‘‘गिद्धों की राजनीति'' उजागर हुई है. एक ‘‘टूलकिट'' का हवाला देते हुए भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने कहा था कि कोरोना के समय जब पूरा देश महामारी से लड़ रहा है तोकांग्रेस ने अपने राजनीतिक स्वार्थ के लिए भारत को पूरे विश्व में ‘‘अपमानित और बदनाम'' करने की कोशिश की है. दूसरी ओर, कांग्रेस ने पलटवार करते हुए भाजपा पर ‘‘फर्जी टूलकिट'' को प्रचारित करने का आरोप लगाया और इस मामले में सत्ताधारी दल के नेताओं के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराइ थी.