दुर्ग। शौर्यपथ। प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था सुधार की दिशा में उठाए जा रहे सख्त कदमों के बीच स्कूल शिक्षा मंत्री एवं दुर्ग विधायक गजेन्द्र यादव की कार्यप्रणाली का बड़ा असर सामने आया है। राज्य सरकार ने स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट हिन्दी माध्यम जेआरडी शासकीय बहुउद्देशीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय की प्राचार्य संगीता नायर को निलंबित कर दिया है।
सोमवार को जारी आदेश में शासन ने धार्मिक प्रतीकों पर आपत्तिजनक टिप्पणी, परीक्षा कार्यों में लापरवाही, दस्तावेजों के निपटारे में उदासीनता और कर्मचारियों से दुर्व्यवहार जैसे गंभीर आरोपों का उल्लेख किया है।
शासन ने माना कि प्राचार्य का आचरण छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (आचरण) नियम 1965 का उल्लंघन है और उनके कार्यों से विद्यालय का वातावरण दूषित हुआ। आदेश में लिखा गया है कि नायर की कार्यशैली में “घोर लापरवाही, उदासीनता और स्वेच्छाचारिता” झलकती है। इसी आधार पर उन्हें छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम, 1966 के तहत तत्काल निलंबित किया गया।
निलंबन अवधि में उनका मुख्यालय कार्यालय संभागीय संयुक्त संचालक (शिक्षा संभाग), दुर्ग रखा गया है और उन्हें जीवन निर्वाह भत्ता मिलेगा।
धार्मिक प्रतीकों को लेकर विवाद
आरोप है कि प्राचार्य संगीता नायर ने छात्रों को चोटी न रखने, तिलक न लगाने और रक्षा सूत्र (मौली) न पहनने जैसी बातें कही थीं। कई छात्रों ने बताया कि परीक्षा के दौरान उन्होंने बार-बार धार्मिक प्रतीकों पर टिप्पणी की और TC देकर निकालने की धमकी भी दी।
इसी मुद्दे पर छात्रों व अभिभावकों ने विरोध दर्ज कराया था।
बजरंग दल की चेतावनी
बजरंग दल दुर्ग के संयोजक सौरभ देवांगन ने आरोप लगाया कि प्राचार्य लंबे समय से हिंदू प्रतीक धारण करने वाले बच्चों को परेशान कर रही थीं। संगठन ने जिला प्रशासन को चेतावनी दी थी कि यदि कार्रवाई नहीं हुई तो उग्र आंदोलन किया जाएगा।
अन्य शिकायतें भी बनीं आधार
सरकारी आदेश में धार्मिक प्रतीकों वाले विवाद के साथ अन्य गंभीर लापरवाहियों का भी जिक्र है—जैसे ओपन स्कूल परीक्षा केंद्र के काम में सहयोग न करना, सेवानिवृत्त व्याख्याता का अवकाश लेखा लंबित रखना और कर्मचारियों के साथ दुर्व्यवहार। शिक्षा विभाग ने इसे “गंभीर कदाचार” माना है।
शिक्षा मंत्री की सख्त पहल
दुर्ग विधायक एवं स्कूल शिक्षा मंत्री गजेन्द्र यादव के विभाग संभालने के बाद से शिक्षा व्यवस्था में सुधार की दिशा में लगातार कड़े कदम उठाए जा रहे हैं। लंबे समय से संगीता नायर के खिलाफ शिकायतें और विरोध सामने आ रहे थे, किंतु अब मंत्री की सख्त कार्यप्रणाली के चलते निर्णायक कार्रवाई हुई है।
शहर में यह चर्चा का विषय था कि कभी भी विभागीय कार्यवाही हो सकती है और अंततः शासन ने निलंबन आदेश जारी कर दिया।
आगे की कार्रवाई
दुर्ग जिला शिक्षा अधिकारी अरविंद मिश्रा ने बताया कि शिकायतों की जांच रिपोर्ट शासन को भेजी गई थी, जिसके आधार पर निलंबन हुआ है। विभागीय जांच आगे भी जारी रहेगी और दोष सिद्ध होने पर कठोर दंडात्मक कार्रवाई संभव है।
? यह कार्रवाई इस बात का स्पष्ट संकेत है कि शिक्षा मंत्री गजेन्द्र यादव प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था को लेकर शिथिलता और मनमानी को किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेंगे।