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मौनी अमावस्या पर तीसरा 'अमृत स्नान', शिववास सहित बन रहे कई मंगलकारी संयोग

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व्रत त्यौहार /शौर्यपथ / 13 जनवरी से शुरू हुए कुंभ मेले के दो अमृत स्नान के बाद श्रद्धालुओं को तीसरे अमृत स्नान (शाही स्नान) का बेसब्री से इंतजार है, जो मौनी अमावस्या यानी 29 जनवरी को है. बीते 2 अमृत स्नान की तरह ही मौनी अमावस्या पर भी देश-विदेश से लाखों की संख्या में श्रद्धालु संगम नदी के किनारे एकत्रित होकर पुण्य फल की प्राप्ति करेंगे. इस बार मौनी अमावस्या कई मायनों में खास है क्योंकि शिववास सहित कई और मंगलकारी योग बन रहें हैं. इस दिन कुंभ स्नान-दान और भोलेनाथ की विधि-विधान से पूजा अर्चना करने से अक्षय फल की प्राप्ति होगी. ऐसे में आइए जानते हैं मौनी अमावस्या के दिन स्नान-दान का शुभ मुहूर्त और मंगलकारी योग....
मौनी अमावस्या शुभ मुहूर्त -
मौनी अमावस्या का मुहूर्त 28 जनवरी को शाम 07:35 मिनट से शुरू होगा, जो अगले दिन यानी 29 जनवरी को शाम 06:05 मिनट पर समाप्त होगा. हिन्दू धर्म में उदयातिथि की विशेष मान्यता है इसलिए साधक 29 जनवरी के दिन स्नान-ध्यान कर भगवान शिव की विधि-विधान से पूजा कर सकते हैं.
मौनी अमावस्या को कौन से योग बन रहे हैं -
मौनी अमावस्या पर शिववास के अलावा सिद्धि योग भी बन रहा है. शिववास योग 29 जनवरी को शाम 06:05 मिनट तक है जबकि सिद्धि योग रात 09:22 मिनट तक है. मान्यता है इन योगों में भगवान शिव की पूजा करने से साधक की सारी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.  
मौनी अमावस्या पर कौन से नक्षत्र बन रहे हैं -
इस दिन श्रावण एवं उत्तराषाढ़ा नक्षत्र का संयोग बन रहा है.  
मौनी अमावस्या महत्व -  
मौनी अमावस्या के दिन स्नान-दान करने से भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त होता है. साथ ही सारी मनोकामनाएं भी पूर्ण होती हैं. साथ ही पापों से मुक्ति मिलती है, इसके अलावा मौनी अमावस्या के दिन भोलेनाथ की विधि-विधान से पूजा करने से कुंडली में अशुभ ग्रहों का प्रभाव भी कम होता है.
अन्य शाही स्नान की तारीख
    चौथा अमृत स्नान 03 फरवरी 2025, बसंत पंचमी
    पांचवां अमृत स्नान 12 फरवरी 2025, माघ पूर्णिमा
    छठा अमृत स्नान 26 फरवरी 2025, महाशिवरात्रि

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शौर्यपथ