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राजनांदगांव / शौर्यपथ / अगस्त के द्वितीय सप्ताह से लेकर अब तक का समय कोरोना का सबसे खतरनाक काल कहा जा सकता है। शुरू से ही दिशा-निर्देशों का पालन करते हुए स्वास्थ्य विभाग ने पॉजिटिव मरीजों की विस्तृत जानकारी प्रदान नहीं की है। विभाग की उक्त सावधानी मरीज को अन्य लोगों की जानकारी से बचाते हुए कार्य करने की रही है। अब विकट परिस्थिति में कंटनमेंट जोन बनाया जाना भी बंद कर दिया गया है, जिससे यह भी पता नहीं लग पा रहा है कि किस क्षेत्र में कोरोना का संक्रमण फैला हुआ है।
जानकारी के अभाव में आम जनता को संक्रमित क्षेत्र और संक्रमित मरीज से बचाने में आने वाली दिक्कत को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य विभाग को विशेष पहल करते हुए मरीजों के विषय में विस्तृत जानकारी नाम और निवास सहित उपलब्ध कराया जाना जनहित में हो सकेगा यहां यह भी ध्यान देने योग्य बात है कि संक्रमित व्यक्ति समाज का प्रिय एवं अभिन्न व्यक्ति है उसके प्रति लोगों की सवेदना जुड़ी है।
भाजपा के वरिष्ठ नेता कचरू प्रसाद शर्मा ने कहा कि उक्त बातों को ध्यान में लाते हुए स्वास्थ्य विभाग एवं प्रशासन से जनहित की भलाई के लिए यह कदम उठाने का निवेदन किया है कि कोरोना मरीजों के संबंध में विस्तृत जानकारी समाचार पत्रों के माध्यम से सामने लाई जा सके तो बहुत बड़े क्षेत्र को संक्रमण में जाने से बचाया जा सकेगा। शर्मा ने कहा कि विगत सप्ताह भर से राजनांदगांव जिला कोरोना का मुख्य केंद्र बन चुका है। मेडिकल कॉलेज से लेकर सीएचएसओ कार्यालय तथा अन्य सरकारी कार्यालय के कर्मचारी भी इसकी चपेट में आ चुके है। ऐसे कौन से क्षेत्र है जहां पर आम जाना प्रतिबंधित होना चाहिए और क्योंघ् यह बताया जाना अब लाजिमी जान पड़ रहा है। खुद स्थानीय प्रशासन नगर पालिका से लेकर कलेक्टोरेट कार्यालय और जिला, जनपद को भी आमजनों के लिए बंद किया जा चुका है। तब क्यों न संक्रमित व्यक्ति के नाम और पड़ोस की जानकारी सार्वजनिक करते हुए हर आम और खास वर्ग को उस क्षेत्र में जाने से रोका जाये, ताकि संक्रमण का फैलाव जान लेवा न बन सके।
शर्मा ने यह भी कहा कि जब राजनीतिक क्षेत्र के लोगों सहित बड़े व्यापारी आदि के नाम का खुलासा किया जा सकता है, तब जमीन से जुड़े और जनसामान्य वर्ग के लोगों का नाम संक्रमित होने के बाद क्यों नहीं दिया जा सकता, यह गाईड लाईन जारी करने वालों को भी एक बार पुन: सोचना होगा।
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