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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी करेंगे शुभारंभ, चार चरणों में ग्राम पंचायत से लेकर राज्य स्तर तक होंगे आयोजन – मुख्यमंत्री विष्णु देव साय बोले, “यह केवल गीत नहीं, भारत की आत्मा का स्वर है”
रायपुर, 6 नवम्बर 2025।
भारत माता के सम्मान और राष्ट्रभक्ति की अमर भावना का प्रतीक “वंदे मातरम्” अब एक बार फिर पूरे देश में गूंजने जा रहा है। राष्ट्रगीत के 150 वर्ष पूर्ण होने के इस ऐतिहासिक अवसर पर भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय के मार्गदर्शन में 7 नवम्बर 2025 से वर्षभर चलने वाला राष्ट्रीय महोत्सव प्रारंभ होगा।
छत्तीसगढ़ इस अभियान में जनभागीदारी, सांस्कृतिक गौरव और राष्ट्रीय चेतना के नए अध्याय की शुरुआत करने जा रहा है।
इस भव्य आयोजन का शुभारंभ 7 नवम्बर को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के उद्बोधन के साथ होगा।
राष्ट्रीय कार्यक्रम प्रातः 10 से 11 बजे तक दूरदर्शन पर सीधा प्रसारित किया जाएगा। प्रधानमंत्री के संबोधन के पश्चात देशभर में एक साथ “वंदे मातरम्” का सामूहिक गायन किया जाएगा।
गीत के मूल बोल और धुन आधिकारिक पोर्टल vandemataram150.in
पर उपलब्ध हैं ताकि हर नागरिक इसमें सहभागिता कर सके।
इस अभियान को राष्ट्रव्यापी स्वरूप देने के लिए इसे चार चरणों में विभाजित किया गया है —
1️⃣ पहला चरण: 7 से 14 नवम्बर 2025
2️⃣ दूसरा चरण: 19 से 26 जनवरी 2026 (गणतंत्र दिवस के अवसर पर)
3️⃣ तीसरा चरण: 7 से 15 अगस्त 2026 (हर घर तिरंगा अभियान के साथ)
4️⃣ चौथा चरण: 1 से 7 नवम्बर 2026 (समापन सप्ताह)
प्रत्येक चरण में राज्य के सभी जिलों, जनपदों, नगर निगमों, ग्राम पंचायतों और शैक्षणिक संस्थानों में राष्ट्रगीत के सामूहिक गायन के साथ विविध सांस्कृतिक एवं जनजागरण कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा कि “यह आयोजन केवल एक सरकारी कार्यक्रम नहीं, बल्कि राष्ट्रप्रेम और जनभागीदारी का अभियान है।”
राज्य के सभी जिलों में मंत्रीगण, सांसद, विधायक और स्थानीय जनप्रतिनिधि इस आयोजन में भाग लेंगे।
प्रत्येक जिले में स्थानीय कलाकारों, छात्रों, सामाजिक संस्थाओं और नागरिक समूहों की सहभागिता सुनिश्चित की जा रही है, ताकि “वंदे मातरम् @150” केवल समारोह नहीं, बल्कि एक जनआंदोलन का रूप ले सके।
राज्य के विद्यालयों और महाविद्यालयों में विशेष गतिविधियाँ आयोजित की जाएँगी —
? निबंध लेखन, वाद-विवाद, प्रश्नोत्तरी, पोस्टर और पेंटिंग प्रतियोगिता
? एनसीसी, एनएसएस और स्काउट-गाइड के माध्यम से देशभक्ति गीतों की प्रस्तुतियाँ
? राज्य पुलिस बैंड द्वारा सार्वजनिक स्थलों पर वंदे मातरम् और देशभक्ति धुनों के कार्यक्रम
इन आयोजनों का उद्देश्य है कि युवा पीढ़ी राष्ट्रगीत की भावना को केवल शब्दों में नहीं, बल्कि अपने व्यवहार और विचारों में भी जिए।
इस महाअभियान की सबसे अनूठी पहल होगी “वंदे मातरम् ऑडियो-वीडियो बूथ”, जो राज्यभर के सार्वजनिक स्थलों, विद्यालयों, मॉल और संस्थानों में स्थापित किए जाएंगे।
इन बूथों पर नागरिक अपनी आवाज़ में “वंदे मातरम्” गाकर उसे सीधे पोर्टल पर अपलोड कर सकेंगे।
मुख्यमंत्री साय ने कहा, “यह पहल हर नागरिक को अपने तरीके से राष्ट्रप्रेम अभिव्यक्त करने का अवसर देगी। यह तकनीक के माध्यम से भावनात्मक एकता का प्रतीक बनेगी।”
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा,
“वंदे मातरम् केवल एक गीत नहीं, यह भारत की आत्मा का स्वर है।
इसकी गूंज हर नागरिक के हृदय में गर्व, ऊर्जा और एकता का संचार करती है।
इस अभियान के माध्यम से हम नई पीढ़ी में राष्ट्रप्रेम, कर्तव्यनिष्ठा और आत्मगौरव की भावना को जगाने जा रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ इस ऐतिहासिक अवसर को राष्ट्रीय एकता, सांस्कृतिक समरसता और सामूहिक गौरव के महोत्सव के रूप में मनाएगा।
राज्य के सभी जिलों में तैयारी समितियाँ गठित कर दी गई हैं।
सांस्कृतिक विभाग, शिक्षा विभाग, जनसम्पर्क विभाग और स्थानीय निकाय मिलकर इसे जन-जन तक पहुँचाने में जुटे हैं।
हर वर्ग, हर आयु और हर समुदाय की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए विशेष अभियान शुरू किए जा रहे हैं।
“वंदे मातरम् के 150 वर्ष” केवल इतिहास का स्मरण नहीं, बल्कि राष्ट्रीय चेतना के पुनर्जागरण का अवसर है।
यह आयोजन भारत की एकता, संस्कृति और स्वाभिमान का ऐसा उत्सव होगा, जिसमें छत्तीसगढ़ की गूंज पूरे भारत को प्रेरित करेगी।
यह पर्व हर भारतीय के लिए स्मरण कराएगा —
“राष्ट्रप्रेम कोई भावना नहीं, यह हमारा कर्तव्य है।”
पहले चरण में 18 जिलों की 121 सीटों पर 60.25% मतदान; युवाओं और महिलाओं की बड़ी भागीदारी से बढ़ी उम्मीदें, नीतीश-तेजस्वी दोनों खेमे में बढ़ा आत्मविश्वास
पटना / शौर्यपथ /
लोकतंत्र की भूमि बिहार ने गुरुवार को एक बार फिर अपनी राजनीतिक जागरूकता और जनभागीदारी से पूरे देश को संदेश दिया। विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण में 18 जिलों की 121 सीटों पर औसतन 60.25 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया — जो पिछले 25 वर्षों में सर्वाधिक है।
यह आँकड़ा केवल वोटिंग प्रतिशत का नहीं, बल्कि लोकतंत्र के प्रति जनता के विश्वास और युवा मतदाताओं की सक्रिय भागीदारी का प्रतीक है।
ऐतिहासिक मतदान, नए बिहार की झलक
शाम पाँच बजे तक प्राप्त आँकड़ों के अनुसार बिहार के ग्रामीण और शहरी दोनों इलाकों में उत्साहपूर्ण मतदान देखने को मिला। 1990 के दशक के बाद यह पहला मौका है जब मतदान का प्रतिशत 60 के पार पहुँचा।
2020 के विधानसभा चुनाव में जहाँ 57.29% मतदान हुआ था, वहीं इस बार 3 प्रतिशत से अधिक वृद्धि दर्ज की गई है।
सबसे अधिक वोटिंग बेगूसराय में 67.32% और समस्तीपुर में 66.65% रही, जबकि पटना जिले में 55.02% मतदान हुआ।
मधेपुरा, मुजफ्फरपुर, गोपालगंज और लखीसराय जैसे जिलों में मतदाताओं ने लोकतंत्र के इस पर्व को उत्सव की तरह मनाया।
सियासत की परीक्षा – 16 मंत्रियों और कई दिग्गजों की किस्मत ईवीएम में बंद
पहले चरण में नीतीश सरकार के 16 मंत्रियों समेत तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव, अनंत सिंह, मैथिली ठाकुर, उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और विजय सिन्हा जैसे दिग्गज उम्मीदवारों की किस्मत ईवीएम में कैद हो गई।कुल 1,314 उम्मीदवारों की प्रतिष्ठा दाँव पर है।45,341 मतदान केंद्रों पर शांतिपूर्ण तरीके से मतदान हुआ, जिन पर चार लाख से अधिक मतदानकर्मी और 65,000 से अधिक पोलिंग एजेंट तैनात रहे।
एनडीए का दावा – विकास पर मुहर, महागठबंधन का पलटवार – वोट चोरी का डर
पहले चरण की वोटिंग समाप्त होते ही सियासी दावे भी तेज हो गए।
जदयू प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि “बिहार के जागरूक मतदाताओं ने नीतीश कुमार के विकास और सुशासन पर मुहर लगा दी है, एनडीए दोबारा सत्ता में आएगा।”
डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी ने दावा किया – “पहले चरण में ही एनडीए 100 सीटें जीत रहा है। ज्यादा वोटिंग का फायदा हमें मिलेगा।”
वहीं, महागठबंधन की ओर से राहुल गांधी ने पूर्णिया की सभा में आरोप लगाया कि “बिहार में लाखों नाम वोटर लिस्ट से काट दिए गए हैं। भाजपा चुनाव चोरी की कोशिश कर रही है, लेकिन युवाओं और जेन-जी को संविधान की रक्षा करनी है।”
युवा वोटरों की एंट्री – ‘Gen-Z’ बना बिहार चुनाव का गेम चेंजर
चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक इस बार राज्य के कुल मतदाताओं में 25% हिस्सा 18-29 वर्ष आयु वर्ग के मतदाताओं का है।
हर चौथा वोटर युवा है — यानी भविष्य का बिहार खुद अपने मत से गढ़ रहा है।
बेगूसराय में 25.16%, मधेपुरा में 24.66% और खगड़िया में 24.29% जेन-जी वोटर हैं।
यह नई पीढ़ी जाति या धर्म की राजनीति से परे रोजगार, पारदर्शिता, शिक्षा और इंटरनेट कनेक्टिविटी जैसे मुद्दों पर वोट डाल रही है।
विश्वविद्यालय परिसरों से लेकर सोशल मीडिया तक, इन युवाओं की सक्रियता ने इस चुनाव को विचार और विज़न की जंग में बदल दिया है।
चुनाव आयोग की सख्त निगरानी – हर बूथ पर CCTV की नजर
मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार, निर्वाचन आयुक्त एस.एस. संधू और विवेक जोशी ने दिल्ली स्थित नियंत्रण कक्ष से पूरे बिहार की वोटिंग प्रक्रिया पर नज़र रखी।
राज्य के 45,000 से अधिक मतदान केंद्रों से लाइव फीड मंगवाए जा रहे थे।
इस बार पहली बार सभी बूथों पर CCTV कैमरे लगाए गए, जिससे पारदर्शिता और सुरक्षा दोनों सुनिश्चित हो सके।
दूसरा चरण 11 नवंबर को, नतीजे 14 नवंबर को
पहले चरण की शांतिपूर्ण और रिकॉर्ड तोड़ वोटिंग ने अब दूसरे चरण की जंग को और रोचक बना दिया है।
11 नवंबर को शेष जिलों में मतदान होगा और 14 नवंबर को मतगणना के बाद यह स्पष्ट हो जाएगा कि बिहार की जनता ने नीतीश कुमार को फिर मौका दिया या तेजस्वी यादव को सत्ता की कुर्सी सौंपी।
“लोकतंत्र की असली जीत जनता की भागीदारी से होती है”
चुनाव विश्लेषकों के मुताबिक, इस बार मतदान दर में वृद्धि का सीधा संबंध युवाओं और महिलाओं की बढ़ती जागरूकता से है।
महिलाओं ने गाँव-गाँव में लंबी कतारों में खड़े होकर मतदान किया, जबकि पहली बार वोट डालने वाले युवाओं ने इसे “अपना पहला राजनीतिक वक्तव्य” बताया।
समापन टिप्पणी:
बिहार का यह पहला चरण सिर्फ राजनीतिक दलों की परीक्षा नहीं, बल्कि लोकतंत्र की परिपक्वता और जनसक्रियता का उत्सव भी है।
25 साल बाद जब मतदान का प्रतिशत 60 के पार पहुँचा, तो यह केवल आँकड़ा नहीं रहा — यह बिहार की जनता की परिपक्व सोच, लोकतंत्र के प्रति आस्था और परिवर्तन की पुकार बन गया।
दुर्ग । शौर्यपथ । मदन मोहन त्रिपाठी के पुत्र और कृष्णा पब्लिक स्कूल, नेहरू नगर, भिलाई के डायरेक्टर आलोक त्रिपाठी का चेन्नई के रेला अस्पताल में आज सुबह लगभग 4:30 बजे निधन हो गया। उनका पार्थिव शरीर एम्बुलेंस के जरिए नेहरू नगर, भिलाई दुर्ग स्थित उनके गृह निवास लाया जा रहा है। अंतिम संस्कार 7 नवंबर को शुक्रवार दोपहर शिवनाथ नदी स्थित मुक्तिधाम, दुर्ग में किया जाएगा। प्राचार्या श्रीमती सविता त्रिपाठी सहित परिवारजनों एवं स्कूल स्टाफ ने इस दुखद घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया है। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें एवं परिवार को यह दुःख सहन करने की शक्ति दें। यह समाचार स्थानीय शिक्षा एवं सामाजिक समुदाय के लिए बड़ा नुकसान है क्योंकि आलोक त्रिपाठी न केवल विद्यालय के संचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते थे बल्कि सामाजिक क्षेत्र में भी सक्रिय थे।
शौर्यपथ राशिफल। 6 नवंबर 2025, गुरुवार का दिन सभी राशियों के लिए मिलाजुला फल लेकर आ रहा है, जिसमें कुछ राशियों के लिए यह दिन अत्यंत शुभ और लाभकारी साबित होगा, जबकि कुछ राशियों को सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है। यह दिन विशेष रूप से व्यवसाय, संचार, प्रेम संबंधों और स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है। इस दिन चंद्रमा वृषभ राशि में रहेगा, जो स्थिरता और आर्थिक वृद्धि का संकेत देता है। सूर्य, शुक्र और बुध तुला राशि में और शनि मीन राशि में रहेंगे, जो विभिन्न राशियों पर ग्रहों के सकारात्मक और नकारात्मक प्रभाव डालेंगे।
सभी राशियों का राशिफल और विशेष जानकारी
मेष (Aries)आज स्वास्थ्य के प्रति सावधानी जरूरी है, थकान और सिरदर्द से बचें। कार्यक्षेत्र में मध्यम सफलता मिलेगी। परिवार में सुख-शांति बनी रहेगी। बड़े फैसलों से बचें।
वृषभ (Taurus)आपके लिए दिन अत्यंत शुभ है। नए काम की शुरुआत के लिए अच्छा समय है। व्यापार में लाभ होगा। परिवार के साथ आनंददायक समय बिताएँ। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
मिथुन (Gemini)संचार में सावधानी रखें, ग़लतफहमी हो सकती है। यात्रा से लाभ होगा। स्वास्थ्य सामान्य रहेगा। वित्तीय मामलों में सोच-समझकर निर्णय लें।
कर्क (Cancer)आज आत्मविश्वास बढ़ेगा, रिश्तों में निकटता आएगी। कामकाज में सफलता मिलेगी। पारिवारिक जीवन सुखद रहेगा। स्वास्थ्य में सुधार होगा।
सिंह (Leo)भावनाओं को नियंत्रित करें। कार्यक्षेत्र में चुनौतियां आ सकती हैं पर समर्पण से काम चलेंगे। परिवार में संवाद बेहतर होगा।
कन्या (Virgo)धैर्य रखें, कार्यों में सफलता मिलेगी। स्वास्थ्य में सुधार होगा। पारिवारिक माहौल शांतिपूर्ण रहेगा। संबंधों में सुधार होगा।
तुला (Libra)आज अपने विचार साझा करें, रिश्तों में नई दिशा मिलेगी। व्यवसाय में लाभ की संभावना है। मानसिक शांति बनी रहेगी।
वृश्चिक (Scorpio)आपका नेतृत्व और सकारात्मकता बढ़ेगी। कार्यक्षेत्र में सुधार और सफलता मिलेगी। पारिवारिक जीवन सुखमय रहेगा।
धनु (Sagittarius)संवाद में संयम रखें, भावनात्मक स्थिरता आवश्यक है। कार्यक्षेत्र में मध्यम सफलता मिलेगी। खर्चों पर नियंत्रण रखें।
मकर (Capricorn)आज धैर्य और आत्मविश्वास सफलता की कुंजी होंगे। संबंधों में सुधार होगा। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
कुंभ (Aquarius)गहरे संवाद और प्रेम से रिश्तों में मजबूती आएगी। कार्यक्षेत्र में कुछ नई जिम्मेदारियां मिलेंगी। स्वास्थ्य सामान्य रहेगा।
मीन (Pisces)संवेदनशीलता और खुलापन आपके लिए लाभकारी है। भावनात्मक तौर पर स्थिरता आएगी। कार्य और पारिवारिक जीवन में संतुलन बनेगा।
आज के दिन की खास बातें और शुभ मुहूर्त
6 नवंबर को हिंदू पंचांग के अनुसार अगहन मास की शुरुआत होती है, जो धार्मिक महत्व रखता है। भगवान श्रीकृष्ण को यह मास अतिप्रिय माना गया है।
गुरुवार वृषभ राशि में चंद्रमा का प्रवेश होगा, जो आर्थिक स्थिरता और विकास के संकेत देता है।
राहुकाल दोपहर 01:33 बजे से 02:56 बजे तक रहेगा, इस समय शुभ कार्य से बचें।
दक्षिण दिशा में यात्रा न करना शुभ है, यात्रा करनी हो तो दही या जीरा मुंह में लेकर जाएं।
ऋग्वैदिक श्री सूक्तम की 16 ऋचाएं पढ़ना और अन्नदान करना शुभ माना गया है।
6 नवंबर को विष्णु भगवान की पूजा करने का विधान है, जो धन-धान्य की वृद्धि करता है।
6 नवंबर का दिन ज्योतिषीय दृष्टि से आर्थिक, संचार और प्रेम संबंधों के सुदृढ़ीकरण हेतु लाभकारी है, परंतु संयम और सावधानी से कार्य करना आवश्यक है।
यह दिन नई शुरुआत और सुधार के लिए उपयुक्त है।
यह विस्तृत राशिफल और दिन के विशेष ज्योतिषीय हालात आपके लिए मार्गदर्शक होंगे ताकि आप इस दिन का भरपूर लाभ उठा सकें।
दुर्ग। शौर्यपथ। नगर निगम दुर्ग के अतिक्रमण शाखा में कार्यरत धर्मेंद्र कुमार मनहरे (मंणी) के आकस्मिक निधन की खबर से पूरा निगम परिवार शोक में डूब गया है। धर्मेंद्र कुमार मनहरे अपने सौम्य स्वभाव, मिलनसार व्यक्तित्व और कर्तव्यनिष्ठा के लिए जाने जाते थे।
सहकर्मियों के बीच वे हमेशा आदर और स्नेह का भाव बनाए रखते थे। उनकी सादगी, सरलता और ईमानदार कार्यशैली ने उन्हें सभी के बीच एक विशेष पहचान दिलाई थी। उनके निधन से अतिक्रमण शाखा सहित समूचे नगर निगम परिवार में शोक की लहर व्याप्त है।
धर्मेंद्र जी अपने पीछे भरा-पूरा परिवार छोड़ गए हैं।
ईश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करे और शोकाकुल परिवार को इस कठिन समय में धैर्य दे।
— नगर निगम परिवार, दुर्ग
— शौर्यपथ दैनिक समाचार पत्र परिवार धर्मेंद्र कुमार मनहरे (मंणी) को श्रद्धांजलि अर्पित करता है।
?️ ओम शांति ?️
कोंडागांव विशेष संवाददाता दीपक वैष्णव की रिपोर्ट
कोंडागांव / शौर्यपथ /
कोंडागांव जिले की बम्हनी ग्राम पंचायत में एक बड़ा वित्तीय घोटाला उजागर हुआ है। आरोप है कि पंचायत सचिव द्वारा रोकड़ मिलान, बर्तन खरीदी और सिलाई मशीन खरीदी जैसे मदों के नाम पर लाखों रुपये का गबन किया गया।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि जब मामले की जांच की गई, तो जिला पंचायत स्तर के अधिकारियों ने कथित रूप से एक झूठी जांच रिपोर्ट तैयार कर सचिव को बचाने का प्रयास किया।
रोकड़ मिलान के नाम पर 11.80 लाख रुपये का आहरण
सूत्रों के अनुसार, ग्राम पंचायत बम्हनी के सचिव गजेंद्र पोयाम ने वित्तीय वर्ष के दौरान ?11,80,137 रुपये रोकड़ मिलान के नाम पर आहरित किए।
स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि यह राशि योजना के खातों से निकाल ली गई, परंतु खर्च का कोई स्पष्ट रिकॉर्ड उपलब्ध नहीं है।
जांच रिपोर्ट में इसे मात्र "कंप्यूटर ऑपरेटर की त्रुटि" बताया गया — जिससे ग्रामीणों और जनप्रतिनिधियों में आक्रोश है।
खरीदी में भी गड़बड़ी के संकेत
जिला पंचायत की जांच रिपोर्ट के अनुसार, पंचायत द्वारा सिलाई मशीन और बर्तन क्रय पर ?17,09,950 का भुगतान किया गया था।
परंतु, जांच के दौरान न तो मशीनें मिलीं, न बर्तन।
किसे वितरण किया गया या सामग्री कहाँ गई — इस पर रिपोर्ट मौन है।
ग्रामीणों का कहना है कि यह "कागज़ी खरीदी" का मामला प्रतीत होता है।
जांच टीम पर उठे सवाल
इस मामले की जांच गजेंद्र कुमार साहू (जिला समन्वयक, जिला पंचायत), नितिन कुमार मिश्रा (कंप्यूटर प्रोग्रामर, मनरेगा), और बी.आर. मोरे (उप संचालक, पंचायत) की टीम द्वारा की गई।
ग्रामीणों का आरोप है कि इन अधिकारियों ने सचिव को बचाने के लिए पक्षपातपूर्ण रिपोर्ट तैयार की।
स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने यह भी कहा कि रिपोर्ट में तथ्यों की जांच नहीं की गई, बल्कि पहले से तय निष्कर्ष प्रस्तुत कर दिया गया।
ग्रामीणों की मांग — "स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराई जाए"
गांव के कई निवासियों ने मांग की है कि
"मामले की जांच जिला पंचायत के बजाय किसी स्वतंत्र टीम या सतर्कता विभाग से कराई जाए, ताकि सच्चाई सामने आ सके।"
उनका कहना है कि सरकारी योजनाओं के लिए जारी फंड का दुरुपयोग न केवल आर्थिक अपराध है बल्कि ग्रामीण विकास योजनाओं की आत्मा के साथ छल भी है।
सवाल प्रशासन से
बम्हनी जैसी छोटी पंचायतों में यदि लाखों रुपये का हेरफेर जांच के बावजूद "त्रुटि" बताकर बंद कर दिया जाए, तो यह पूरे जिला प्रशासन की जवाबदेही पर प्रश्न खड़ा करता है।
पंचायत सचिव और संबंधित अधिकारियों की संपत्ति जांच की मांग भी ग्रामीणों द्वारा की जा रही है, ताकि यह स्पष्ट हो सके कि गबन की राशि का उपयोग कहां हुआ।
भारतीय महिला क्रिकेट टीम की ऐतिहासिक विश्व कप विजय पर राज्य सरकार द्वारा आकांक्षा सत्यवंशी को
10 लाख की सम्मान राशि प्रदान करने की घोषणा
रायपुर / शौर्यपथ / मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर भारतीय महिला क्रिकेट टीम की ऐतिहासिक विश्व कप विजय पर देशवासियों को बधाई और शुभ कामनाएँ देते हुए कहा कि भारतीय महिला क्रिकेट टीम की यह अभूतपूर्व उपलब्धि हर भारतीय के लिए गर्व का क्षण है, जिसने विश्व पटल पर देश का मान बढ़ाया है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि इस गौरवपूर्ण सफलता में छत्तीसगढ़ की बेटी आकांक्षा सत्यवंशी ने फिजियोथैरेपिस्ट एवं स्पोट्र्स साइंस विशेषज्ञ के रूप में खिलाडिय़ों की फिटनेस और रिकवरी में अतुलनीय योगदान देकर न केवल भारतीय टीम को सशक्त बनाया है, बल्कि देश का नाम अंतरराष्ट्रीय मंच पर उज्ज्वल किया है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि आकांक्षा सत्यवंशी ने अपने समर्पण, सेवा और वैज्ञानिक दृष्टिकोण से यह सिद्ध किया है कि छत्तीसगढ़ की बेटियाँ किसी भी क्षेत्र में देश का गौरव बन सकती हैं। उनके उत्कृष्ट योगदान को सम्मानित करते हुए राज्य सरकार द्वारा ?10 लाख की सम्मान राशि प्रदान करने का निर्णय लिया गया है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि आकांक्षा सत्यवंशी की यह सफलता छत्तीसगढ़ की सभी बेटियों और खिलाडिय़ों के लिए प्रेरणा है। यह उनकी मेहनत, निष्ठा और संकल्प का परिणाम है, जिसने पूरे राज्य को गौरवान्वित किया है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार खेल के क्षेत्र में नई पीढ़ी को प्रोत्साहित करने के लिए निरंतर कार्य कर रही है, ताकि छत्तीसगढ़ से और भी ऐसी प्रतिभाएँ निकलें जो देश का नाम विश्व में रोशन करें।
रायपुर / शौर्यपथ /
छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना की 25वीं वर्षगांठ पर आज नवा रायपुर के सेंध जलाशय के ऊपर भारतीय वायु सेना की प्रतिष्ठित एरोबेटिक "सूर्यकिरण" की टीम ने रोमांचक एयर शो का प्रदर्शन किया। देश के उप राष्ट्रपति श्री सी.पी. राधाकृष्णन, राज्यपाल श्री रमेन डेका, मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह के साथ हजारों लोगों ने अद्भूत और रोमांचक एयर शो का आनंद लिया। आज प्रदेशवासियों के लिए वायु सेना का एयर शो कमाल का अनुभव रहा। सेंध जलाशय के ऊपर वायु सेना के फाइटर प्लेन्स ने एक के बाद एक कई हवाई करतब दिखाए। आसमान में पंछियों के झुंड की तरह बिल्कुल क्रम से उडऩे वाले फाइटर प्लेन्स के माध्यम से वायु सेना के जाबांजों ने अपने नियंत्रण और शौर्य का अद्भुत प्रदर्शन किया। विमानों के माध्यम से जब आकाश में तिरंगा लहराया तो सेंध जलाशय भारत माता की जय के नारे से गूंज उठा।
एयर शो के दौरान "सूर्यकिरण" टीम के लीडर ग्रुप कैप्टन श्री अजय दशरथी ने आसमान से छत्तीसगढ़ वासियों को रजत महोत्सव की बधाई दी। वहीं छत्तीसगढ़ निवासी भारतीय वायु सेना के स्क्वाड्रन लीडर श्री गौरव पटेल ने सेंध जलाशय के ऊपर अपने कॉकपिट से 'जय जोहारÓ और 'छत्तीसगढिय़ा सबले बढिय़ाÓ कहकर दर्शकों का अभिवादन किया। उप मुख्यमंत्री श्री विजय शर्मा, कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री केदार कश्यप, खाद्य मंत्री श्री दयाल दास बघेल, स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल, राजस्व मंत्री श्री टंकराम वर्मा, वित्त मंत्री श्री ओ.पी. चौधरी, महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती लक्ष्मी राजवाड़े, कौशल विकास मंत्री गुरू खुशवंत साहेब और सांसद श्री बृजमोहन अग्रवाल सहित विभिन्न निगमों, मंडलों और आयोगों के पदाधिकारी भी एयर शो देखने पहुंचे थे।
"सूर्यकिरण" टीम ने अनुशासन, परस्पर विश्वास, सटीकता और उत्साह के साथ एक घंटे तक वायु सेना के विमानों के साथ कलाबाजी दिखाकर दर्शकों का भरपूर मनोरंजन किया। नवा रायपुर के सेंध जलाशय में मौजूद हजारों दर्शक पायलटों के हैरतअंगेज साहस और करतबों को देखकर मंत्रमुग्ध होते रहे। विंग कमांडर श्री ए.व्ही. सिंह के नेतृत्व में वन-एफ-9 और वन-एफ-8 हेलीकॉप्टर यूनिट ने वी-17 और वी-5 हेलीकॉप्टरों से स्लीपरी और स्काई-ऑपरेशन के करतब दिखाए। 'आदिदेवÓ नाम के इन हेलीकॉप्टरों से केवल 15 मीटर ऊंचाई पर स्थिर रहकर 14 गरूड़ कमांडोज रस्सी के सहारे नीचे उतरे। वहीं स्काई-ऑपरेशन के दौरान आठ गरूड़ कमांडोज रस्सी पर लटककर हेलीकॉप्टर से दर्शकों के सामने से आकाश में उड़ते हुए गुजरे। इन दोनों ऑपरेशनों को लड़ाई और आपदा के दौरान जनसामान्य को बचाने के लिए किया जाता है।
एयर शो में "सूर्यकिरण" की टीम के नौ हॉक-मार्क-123 फाइटर विमानों ने आसमान में हार्ट, डायमंड, लूप, ग्रोवर, डान लाइट, कॉम्बैट तेजस जैसे शानदार फार्मेशन बनाकर लोगों को रोमांचित किया। नीले आसमान में उड़ते लाल-सफेद जेट विमानों द्वारा तिरंगे की आकर्षक ट्रेल छोडऩे पर सेंध जलाशय परिसर तालियों और जय-हिंद के नारों से गूंज उठा। हज़ारों की संख्या में मौजूद नागरिक, युवा और बच्चे लगातार विमानों की कलाबाजियों को अपने कैमरों और मोबाइलों में कैद करते रहे। वायु सेना के जाबांज फाइटर पायलटों ने आसमान में दिल की आकृति बनाकर 25वें राज्योत्सव की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने तिरंगे के तीन रंगों से डीएनए की आकृति बनाकर तिरंगे के प्रति अपना सम्मान प्रस्तुत किया। उन्होंने 360ए में फाइटर जेट उड़ाते हुए उल्टा जेट भी उड़ाया। तेजस और युवाओं को समर्पित अंग्रेजी अक्षर 'वाईÓ की आकृति बनाने के साथ ही कई करतब दिखाए। टीम का प्रदर्शन केवल मनोरंजन नहीं, बल्कि युवाओं में देशप्रेम, साहस और भारतीय सशस्त्र बलों में सेवा की प्रेरणा जगाने का संदेश भी देता है।
एयर शो में छत्तीसगढ़ के स्क्वाड्रन लीडर श्री गौरव पटेल का शामिल होना राज्यवासियों के लिए गर्व और भावनात्मक जुड़ाव का पल था। आसमान में अपने विमान को तेज गति से उड़ाते हुए श्री पटेल ने अपने कॉकपिट से 'जय जोहारÓ और 'छत्तीसगढिय़ा सबले बढिय़ाÓ का जय घोष किया। फ्लाइट लेफ्टिनेंट सुश्री कंवल संधू ने अपनी लाइव कमेंट्री के दौरान एयर शो के रोमांचक वर्णन के साथ ही पायलटों के अनुशासन, समर्पण, प्रशिक्षण और जोखिम प्रबंधन की बारीकियों की जानकारी दी।
Óसूर्यकिरणÓ एशिया की एकमात्र नौ लड़ाकू विमानों वाली एरोबैटिक टीम, 1996 में हुई थी स्थापना
भारतीय वायु सेना की सूर्यकिरण एरोबैटिक टीम एशिया की एकमात्र नौ लड़ाकू विमानों वाली एरोबैटिक टीम है। यह विशिष्ट टीम भारत में ही निर्मित एचएएल लाइसेंस प्राप्त हॉक एमके-132 विमान उड़ाती है। इन विमानों के ज़रिए भारतीय वायु सेना की सटीकता, पेशेवर उत्कृष्टता और कौशल का अद्भुत प्रदर्शन करती है, जिसमें रोमांचक हवाई करतब और बेहद सटीक फॉर्मेशन शामिल होते हैं। सूर्यकिरण टीम को उसका मिशन विशेष बनाता है। देश के युवाओं को भारतीय सशस्त्र बलों में शामिल होकर देशसेवा के लिए प्रेरित करना इनका मिशन है।
सूर्यकिरण टीम की स्थापना वर्ष 1996 में की गई थी। तब से यह टीम एशिया की एकमात्र नौ-विमानों वाली एरोबैटिक टीम होने का गौरव रखती है और दुनिया की कुछ चुनिंदा शीर्ष एरोबैटिक टीमों में शामिल है। यह असाधारण टीम अब तक भारत भर में 700 से अधिक प्रदर्शन कर चुकी है। साथ ही चीन, श्रीलंका, म्यांमार, थाईलैंड, सिंगापुर और संयुक्त अरब अमीरात (्रश्व) जैसे कई देशों में भारत का प्रतिनिधित्व अंतरराष्ट्रीय एयर शोज़ में भी किया है। टीम मंं कुल 13 पायलट, 3 इंजीनियरिंग अधिकारी, 1 उद्घोषक (कमेन्टेटर) और 1 चिकित्सा अधिकारी शामिल हैं।
सूर्यकिरण टीम भारतीय वायुसेना की उस भावना को दर्शाती है जो उत्कृष्टता, अनुशासन और टीमवर्क पर आधारित है। टीम के सभी पायलट अत्यंत कठिन प्रशिक्षण से गुजरते हैं, जिसमें जटिल एरोबैटिक मूवमेंट्स का महीनों तक अभ्यास किया जाता है। उनका बेदाग़ तालमेल और नियंत्रण ही क्लोज़ फॉर्मेशन फ्लाइंग की नींव है जहाँ नौ विमान मानो एक ही आत्मा से संचालित प्रतीत होते हैं।
नई दिल्ली / एजेंसी /
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के प्रथम चरण का मतदान 6 नवंबर को होगा, जिसमें 18 जिलों की 121 विधानसभा सीटों पर करीब 3 करोड़ 75 लाख मतदाता अपनी भागीदारी से लोकतंत्र की मजबूत पड़ताल करेंगे। यह चुनाव बिहार की राजनीति में निर्णायक मोड़ साबित होने जा रहा है, जहां हर वर्ग की उम्मीदें जुड़ी हैं और राजनीतिक दलों के माथे चिन्हित मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर जटिलता बनी हुई है।
एनडीए गठबंधन ने इस चुनाव में मुख्यमंत्री चेहरा घोषित करने से परहेज किया है, और मुख्यमंत्री पद को चुनाव के बाद गठबंधन के बीच विचार-विमर्श के बाद तय करने का सस्पेंस बरकरार रखा है। इसके पीछे भाजपा और जदयू सहित सहयोगी दलों के मतभेद और गठबंधन की रणनीतिक विवेकशीलता संकेतित होती है। इसके बावजूद नरेंद्र मोदी, जेपी नड्डा और नीतीश कुमार जैसे वरिष्ठ नेता प्रचार में सक्रिय हैं, यह संदेश फैलाने के लिए कि विकास और स्थिरता एनडीए का मूल मंत्र है। भाजपा और जदयू की सीटों का बंटवारा पहले ही तय हो चुका है, और 121 सीटों के लिए एनडीए अपना पूर्ण जोर लगा रही है।
वहीं, इंडिया गठबंधन ने मुख्यमंत्री चेहरे के रूप में तेजस्वी यादव को स्पष्ट रूप से घोषित किया है। राजद के युवा नेता तेजस्वी यादव ने अपने दमदार प्रचार अभियान से बिहार के युवाओं और ग्रामीण मतदाताओं के बीच गहरी पकड़ बनाई है। कांग्रेस, सीपीआई तथा अन्य सहयोगी दलों के समर्थन से महागठबंधन ने अपना चेहरा साफ करते हुए चुनावी मैदान पर पैर जमा लिए हैं। तेजस्वी यादव की छवि युवा, सशक्त और बदलाव के लिए तैयार नेतृत्व की है, जो महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दों को प्रमुखता से उठाते हैं।
तीसरे मोर्चे के रूप में उभर रही जनसुराज पार्टी ने भी इस चुनाव में अपनी अलग पहचान बनाने की कोशिश की है। खास तौर पर युवाओं और नए मतदाताओं के बीच यह पार्टी तेजी से लोकप्रिय हो रही है, जो परंपरागत राजनीति में बदलाव की उम्मीद रखती है। राजनीतिक विश्लेषक बताते हैं कि जनसुराज पार्टी का उदय दोनों बड़े गठबंधनों को उनकी पुराने वोट बैंक में सेंध लगाने की चुनौती दे रहा है।
यह चुनाव एक ऐसे दौर में हो रहा है जहां मतदाता अधिक जागरूक और समझदार बन चुके हैं, और मतदाताओं की भागीदारी इस बात की मिसाल होगी कि किस प्रकार लोकतंत्र की आस्था समूचे समाज को जोड़े रखती है।
संक्षिप्त तथ्य:
प्रथम चरण के 3.75 करोड़ मतदाता न केवल बिहार के भविष्य का फैसला करेंगे, बल्कि देश के लोकतंत्र की ताकत और उसकी बहुलतावादी संस्कृति को भी एक जीता-जागता संदेश देंगे। चुनाव आयोग ने भी स्वतंत्र, निष्पक्ष और शांतिपूर्ण मतदान के लिए व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की है।
चुनाव आयोग ने कड़ी सुरक्षा के बीच शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित किया है।
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 का पहला चरण मतदान लोकतंत्र की जीवंतता और राजनीतिक प्रतिस्पर्धा का सशक्त उदाहरण होगा, जहां मतदान में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने वाले हर मतदाता की भूमिका निर्णायक होगी। मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर सस्पेंस तथा दो गठबंधनों का पूर्ण तैयारी में होना इस चुनाव को और भी नाटकीय और महत्वाकांक्षी बनाता है, जिससे बिहार एवं पूरी देश की निगाहें इस महायुद्ध पर टिकी हैं।
यह चुनाव बिहार के जन-जीवन, सामाजिक गतिशीलता और आर्थिक विकास के लिए न केवल एक चुनाव है, बल्कि एक नई उम्मीद और नए भारत का संदेश भी है।
पिछले विधानसभा चुनाव 2020 में एनडीए को 125 सीटें मिली थीं, जिसमें भाजपा ने 74 और जदयू ने 43 सीटें जीतीं। महागठबंधन को 110 सीटों का साथ मिला था, जिसमें राजद के हिस्सेदारी 75 सीटों की थी। इस बार विधानसभा चुनाव में मुख्य मुद्दे विकास, रोजगार, महंगाई, जातीय समीकरण और धर्म के साथ-साथ सामाजिक एवं आर्थिक स्थिरता हैं। मतदाता इन विषयों पर गहराई से विचार कर अपने मत का प्रयोग करेंगे।
रायपुर / शौर्यपथ /
छत्तीसगढ़ में प्रधानमंत्री आवास योजना (क्करू्रङ्घ) को लेकर एक बार फिर सियासी टकराव तेज हो गया है। राज्योत्सव के दौरान प्रधानमंत्री द्वारा हितग्राहियों को आवास की चाबी सौंपने की घटना पर कांग्रेस ने तीखा हमला बोला है।
प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री ने जिन आवासों की चाबी सौंपी है, वे कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में स्वीकृत और निर्मित हुए थे। उन्होंने सवाल उठाया— "भाजपा सरकार बताएं, विधानसभा चुनाव के दौरान वादा किए गए नए 18 लाख आवास आखिर कब बनेंगे?"
कांग्रेस का दावा: भाजपा सरकार के कार्यकाल
में नहीं बनी एक भी नई मंजूरी
ठाकुर ने कहा कि 1 जनवरी 2024 से अब तक केंद्र सरकार ने एक भी नया आवास स्वीकृत नहीं किया है।कांग्रेस सरकार के दौरान 14,85,142 आवास स्वीकृत हुए थे —
11,76,142 ग्रामीण आवास, जिनमें से 10,88,492 आवास पूर्ण हो चुके हैं और 87,650 निर्माणाधीन हैं।
3,09,000 शहरी आवास, जिनमें से 2,79,000 से अधिक आवास पूर्ण हैं और बाकी निर्माणाधीन हैं।
उन्होंने कहा कि भाजपा ने विधानसभा चुनाव के समय 18 लाख नए आवास देने का वादा किया था, लेकिन 22 महीने में एक भी हितग्राही को निर्माण राशि जारी नहीं की गई, न ही केंद्र से स्वीकृति आई।
जिला-वार आंकड़ों से कांग्रेस का पलटवार
धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस सरकार के दौरान प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण को लेकर सभी पांचों संभागों में तेजी से काम हुआ था।
कुछ प्रमुख आंकड़े इस प्रकार हैं —
रायपुर संभाग: रायपुर 29,480 स्वीकृत, 994 निर्माणाधीन; बलौदाबाजार 45,373 स्वीकृत, 2,889 निर्माणाधीन; महासमुंद 73,266 स्वीकृत, 3,830 निर्माणाधीन।
सरगुजा संभाग: सरगुजा 65,904 स्वीकृत, 5,195 निर्माणाधीन; जशपुर 61,784 स्वीकृत, 3,852 निर्माणाधीन; बलरामपुर 44,188 स्वीकृत।
बस्तर संभाग: बस्तर 23,063 स्वीकृत, 2,226 निर्माणाधीन; दंतेवाड़ा 11,179 स्वीकृत, 2,004 निर्माणाधीन; कांकेर 29,207 स्वीकृत, 5,027 निर्माणाधीन।
बिलासपुर संभाग: बिलासपुर 59,123 स्वीकृत, 4,824 निर्माणाधीन; कोरबा 64,837 स्वीकृत, 5,106 निर्माणाधीन; रायगढ़ 57,793 स्वीकृत, 2,706 निर्माणाधीन।
दुर्ग संभाग: दुर्ग 23,700 स्वीकृत, 1,289 निर्माणाधीन; बालोद 32,394 स्वीकृत, 2,085 निर्माणाधीन; कबीरधाम 48,657 स्वीकृत, 2,883 निर्माणाधीन।
ठाकुर ने कहा कि ये सारे आवास कांग्रेस शासनकाल में स्वीकृत हुए, जिनकी चाबी अब भाजपा सरकार हितग्राहियों को सौंप रही है।
"मोदी की गारंटी निकली जुमला"
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि भाजपा ने विधानसभा चुनाव में "मोदी की गारंटी – हर गरीब को घर" का नारा देकर जनता से झूठ बोला था।
उन्होंने आरोप लगाया —
"अब जब सरकार बन चुकी है तो गरीबों को आवास देने से भाजपा पीछे हट रही है। आवासहीन जनता को ठगा गया है, मोदी की गारंटी चुनावी जुमला साबित हुई है।"
"गुजरात से आगे निकला था छत्तीसगढ़"
धनंजय सिंह ठाकुर ने दावा किया कि कांग्रेस सरकार के पांच सालों में प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत छत्तीसगढ़ ने गुजरात सहित कई राज्यों से बेहतर प्रदर्शन किया था।
उन्होंने कहा, "भाजपा ने कांग्रेस पर झूठे आरोप लगाए थे कि हम आवास नहीं बना रहे, जबकि आंकड़े बताते हैं कि कांग्रेस शासनकाल में सबसे ज्यादा घर गरीबों को मिले।"
कांग्रेस की मांग
प्रदेश कांग्रेस ने मांग की है कि राज्य और केंद्र सरकार मिलकर तत्काल 18 लाख आवासों की नई स्वीकृति दें,लंबित लाभार्थियों को राशि जारी करें,और योजना की प्रगति की मासिक रिपोर्ट सार्वजनिक करें।
Feb 09, 2021 Rate: 4.00
