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रायपुर / शौर्यपथ।
छत्तीसगढ़ की साहित्यिक और सांस्कृतिक परंपराओं को नई ऊर्जा देने के उद्देश्य से शनिवार रात्रि राजधानी रायपुर में राज्य स्तरीय युवा कवि सम्मेलन का भव्य आयोजन हुआ। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने प्रभु श्रीराम के ननिहाल और माता शबरी की पावन भूमि को नमन करते हुए किया।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ की धरती सदैव साहित्य, संस्कृति और कला की प्रेरणास्थली रही है। महाकवि कालिदास ने इसी धरती पर मेघदूत जैसे अमर काव्य की रचना की थी। इसी मिट्टी से गजानन माधव मुक्तिबोध और पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी जैसे साहित्य-मनीषियों ने अपनी पहचान बनाई।उन्होंने अपने पूर्व संसदीय क्षेत्र रायगढ़ के संगीत सम्राट राजा चक्रधर सिंह को श्रद्धापूर्वक नमन करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक परंपरा कालातीत और लोक-आत्मा से जुड़ी हुई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य युवा आयोग और खेल एवं युवा कल्याण विभाग का यह अभिनव प्रयास प्रदेश के युवा साहित्यकारों, कवियों और कलाकारों को मंच प्रदान करने का उत्कृष्ट माध्यम है। राज्य सरकार युवाओं की रचनात्मकता को प्रोत्साहित कर उन्हें आगे बढ़ने के अवसर दे रही है।
उन्होंने संभाग स्तरीय प्रतियोगिताओं से चयनित तीनों विजेताओं को बधाई देते हुए कहा कि ऐसे मंचों से युवाओं को देश के ख्यातिलब्ध कवियों से मार्गदर्शन मिलेगा और उनकी सृजनशीलता को नई दिशा मिलेगी।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उपमुख्यमंत्री एवं खेल एवं युवा कल्याण मंत्री अरुण साव ने कहा कि यह आयोजन केवल प्रतियोगिता नहीं, बल्कि सीखने और सृजन की प्रेरणा का मंच है।
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की संस्कृति मानव जीवन के हर अवसर से जुड़ी है — यहाँ जन्म से मृत्यु तक गीत, नृत्य और लोककला का उत्सव मनाया जाता है।
उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा, “जब खेतों में बुआई का समय आता है, तो पूरे वातावरण में ददरिया की मधुर ध्वनि गूंज उठती है।”
श्री साव ने कहा कि यह प्रदेश संतों, महात्माओं और कवियों की कर्मभूमि रहा है, जहाँ से समाज को सदैव नई दिशा मिली है। उन्होंने युवा कवियों से आग्रह किया कि वे अपनी रचनाओं के माध्यम से समाज में सकारात्मकता और नैतिक चेतना का प्रसार करें।
सम्मेलन में देश के प्रतिष्ठित कवियों — शशिकांत यादव, दिनेश बावरा, नीलोत्पल मृणाल, कविता तिवारी और मनु वैशाली — ने अपनी ओजस्वी एवं भावनात्मक कविताओं से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया।
पूरा सभागार तालियों की गड़गड़ाहट और साहित्यिक ऊर्जा से गूंज उठा।
राज्य स्तरीय युवा कवि प्रतियोगिता में
? निधि तिवारी (बिलासपुर) – प्रथम स्थान
? मीरा मृदु – द्वितीय स्थान
? अलीशा शेख (कोरिया) – तृतीय स्थान प्राप्त किया।
मुख्यमंत्री श्री साय ने सभी विजेताओं को सम्मानित करते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
कार्यक्रम में उच्च शिक्षा मंत्री टंक राम वर्मा, महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े, कौशल विकास मंत्री गुरु खुशवंत साहेब, पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री राजेश अग्रवाल, विधायक मोतीलाल साहू, तथा राज्य युवा आयोग के अध्यक्ष विश्व विजय सिंह तोमर सहित अनेक जनप्रतिनिधि, साहित्यकार, कवि और बड़ी संख्या में श्रोता उपस्थित थे।
सम्मेलन ने यह संदेश दिया कि छत्तीसगढ़ न केवल प्राकृतिक सौंदर्य की भूमि है, बल्कि साहित्य, संस्कृति और रचनात्मकता की भी जीवंत धरती है — जहाँ शब्द भी लोकगीत बन जाते हैं।
रायपुर / शौर्यपथ / देश के औद्योगिक क्षेत्र में महिला सशक्तिकरण और समावेशन की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए, साउथ ईस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एसईसीएल) — कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) की सहायक कंपनी — ने शनिवार को कोरबा स्थित अपने सेंट्रल वर्कशॉप में कोल इंडिया की पहली पूर्णतः महिला संचालित सेंट्रल स्टोर यूनिट का शुभारंभ किया।
भारत सरकार के स्पेशल कैंपेन 5.0 के अंतर्गत प्रारंभ की गई यह अभिनव पहल कोल इंडिया की इस प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है कि वह संचालन और तकनीकी क्षेत्रों में महिलाओं की भागीदारी को लगातार प्रोत्साहित कर रही है। यह पहल इस वर्ष की शुरुआत में बिलासपुर स्थित वसंत विहार में कोल इंडिया की पहली महिला संचालित औषधालय (डिस्पेंसरी) की स्थापना के बाद कंपनी के “नारी शक्ति से राष्ट्र शक्ति” के संकल्प को और मजबूत करती है।
नई सेंट्रल स्टोर यूनिट का संचालन पूरी तरह आठ महिला अधिकारियों और कर्मियों की एक टीम द्वारा किया जाएगा, जिसका नेतृत्व सीनियर मैनेजर (इलेक्ट्रिकल एंड मैकेनिकल) और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (भारतीय खनन विद्यालय), धनबाद की पूर्व छात्रा सुश्री सपना इक्का कर रही हैं। यह टीम स्पेयर पार्ट्स की आपूर्ति और इन्वेंट्री प्रबंधन की सभी प्रक्रियाओं को आधुनिक एसएपी (SAP) आधारित डिजिटल प्रणाली के माध्यम से संचालित करेगी, जिससे कार्य में दक्षता, पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित होगी।
उद्घाटन समारोह की शुरुआत पारंपरिक दीप प्रज्वलन के साथ हुई, जिसके पश्चात् एसईसीएल के अध्यक्ष-सह-प्रबंध निदेशक हरीश दुहन ने फीता काटकर यूनिट का शुभारंभ किया। इस अवसर पर निदेशक (तकनीकी/संचालन) एन. फ्रैंकलिन जयकुमार, निदेशक (मानव संसाधन) बिरंची दास, निदेशक (तकनीकी/योजना एवं परियोजनाएं) आर. सी. महापात्रा तथा मुख्य सतर्कता अधिकारी हिमांशु जैन भी उपस्थित रहे। कार्यक्रम के दौरान उत्कृष्ट महिला कर्मियों को सम्मानित भी किया गया।
इस अवसर पर संबोधित करते हुए हरीश दुहन ने कहा कि यह पहल एसईसीएल की समावेशी यात्रा का एक नया अध्याय है। उन्होंने कहा, “बिलासपुर में कोल इंडिया की पहली महिला संचालित औषधालय के सफल संचालन के बाद, हम कोरबा में एक और अग्रणी कदम उठाने पर गर्व महसूस कर रहे हैं। ऐसे प्रयास माननीय कोयला मंत्री जी. किशन रेड्डी जी की उस दूरदर्शी सोच के अनुरूप हैं, जिसमें वे कोयला क्षेत्र में महिलाओं की अधिक भागीदारी और उनके लिए नेतृत्व के अवसर सृजित करने पर बल देते हैं।”
इससे पूर्व, महाप्रबंधक (वर्कशॉप) जी. के. द्विवेदी ने स्वागत भाषण दिया, जबकि स्टाफ अधिकारी (मानव संसाधन) बलराम टंडन ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत किया। कार्यक्रम का संचालन एसईसीएल सेंट्रल वर्कशॉप, कोरबा की टीम द्वारा किया गया।
एसईसीएल कोरबा की यह पूर्णतः महिला संचालित सेंट्रल स्टोर यूनिट कोयला और ऊर्जा क्षेत्र में समावेशी विकास का एक प्रेरणादायी उदाहरण बनेगी तथा कोल इंडिया लिमिटेड की अन्य सहायक कंपनियों में भी ऐसी महिला नेतृत्व वाली इकाइयों की स्थापना के लिए मार्ग प्रशस्त करेगी।
जगदलपुर / शौर्यपथ।
केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह शनिवार को बस्तर दशहरा महोत्सव में शामिल हुए। आगमन से पूर्व उन्होंने माँ दंतेश्वरी मंदिर में दर्शन-पूजन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, उप मुख्यमंत्री डॉ. विजय शर्मा सहित अनेक जनप्रतिनिधि और अधिकारी उपस्थित थे।
अपने संबोधन में श्री शाह ने कहा कि 75 दिनों तक चलने वाला बस्तर दशहरा विश्व का सबसे बड़ा और अनूठा सांस्कृतिक आयोजन है, जो न केवल बस्तर बल्कि सम्पूर्ण भारत की परंपरा और गौरव का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि माँ दंतेश्वरी से उन्होंने यह प्रार्थना की है कि हमारे सुरक्षा बलों को ऐसी शक्ति दें जिससे 31 मार्च 2026 तक बस्तर लाल आतंक से मुक्त हो जाए।
श्री शाह ने कहा कि वर्षों तक दिल्ली में बैठे लोगों ने यह भ्रांति फैलाई कि नक्सलवाद विकास की लड़ाई है, जबकि सच्चाई यह है कि नक्सलवाद ही विकास में सबसे बड़ी बाधा रहा है। उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ सरकार की सरेंडर नीति देश की सर्वश्रेष्ठ नीतियों में से एक है — पिछले एक महीने में ही 500 से अधिक नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है।
गृह मंत्री ने कहा कि जो भी गाँव नक्सलवाद से पूरी तरह मुक्त होगा, वहाँ 1 करोड़ रुपए का विशेष विकास अनुदान दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पिछले दस वर्षों में छत्तीसगढ़ को 4 लाख 40 हजार करोड़ रुपए की सहायता राशि प्रदान की है। उद्योग, शिक्षा, स्वास्थ्य और लघु उद्योगों में प्रदेश तेजी से प्रगति कर रहा है।
श्री शाह ने कहा कि इस बार के बस्तर ओलंपिक में देशभर के आदिवासी समुदाय हिस्सा लेंगे। उन्होंने बताया कि बस्तर का पंडुम उत्सव, खान-पान, वेशभूषा, कला और वाद्य यंत्र अब विश्व स्तर पर आकर्षण का केंद्र बन चुके हैं।
स्वदेशी जागरण मंच के मेले का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि स्वदेशी ही आत्मनिर्भर भारत का मार्ग है। उन्होंने सभी से अपील की कि विदेशी वस्तुओं का बहिष्कार कर स्वदेशी उत्पादों को अपनाएँ, ताकि भारत विश्व की सर्वोच्च आर्थिक शक्ति बन सके।
श्री शाह ने कहा कि मोदी सरकार ने हाल ही में 395 वस्तुओं पर जीएसटी में बड़ी राहत दी है, जिससे देशभर की माताओं-बहनों को लाभ हुआ है। साथ ही, बस्तर दशहरा अवसर पर “महतारी वंदन योजना” की 20वीं किस्त के रूप में 70 लाख महिलाओं को 607 करोड़ रुपए वितरित किए गए हैं।
इसी कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ग्रामीण बस योजना का शुभारंभ भी किया गया, जिसके तहत 250 गाँवों को जोड़ा गया है।
अंत में उन्होंने कहा कि मोदी सरकार आदिवासी समाज के गौरव और विकास के लिए समर्पित है। आदिवासी समाज की बेटी द्रौपदी मुर्मू का राष्ट्रपति बनना, और भगवान बिरसा मुंडा की जयंती को ‘जनजातीय गौरव दिवस’ घोषित करना इसी सम्मान का प्रतीक है।
तीन राशियों की किस्मत चमकी, कुछ को सतर्क रहने की जरूरत
शौर्यपथ। राशिफल । आज रविवार को ग्रह-नक्षत्रों की चाल कई राशियों के लिए फायदेमंद नजर आ रही है। ज्योतिष गणना के अनुसार मिथुन, कुंभ और मीन राशि वालों के लिए यह दिन विशेष तौर पर शुभ और लाभकारी रहेगा। इन जातकों को आर्थिक, करियर और व्यक्तिगत मामलों में सफलता मिलने की संभावना है। मिथुन राशि के जातकों को धन लाभ और मित्र सहयोग प्राप्त हो सकता है। कुंभ राशि वालों को कार्यक्षेत्र में नए अवसर और निवेश से लाभ मिलेगा। मीन राशि के लिए बुद्धि के बल पर आर्थिक फायदा मिलने के संकेत हैं.
वहीं, सिंह, कन्या, वृश्चिक और धनु राशि के जातकों को आज सतर्क रहने की सलाह दी गई है। सिंह राशि वालों को खर्च और तनाव पर नियंत्रण रखना चाहिए। कन्या राशि के लिए क्रोध और जल्दबाज़ी से बचना ज़रूरी है। वृश्चिक राशि के लिए संपत्ति संबंधी फैसलों में सावधानी बरतने का संकेत मिला है। धनु राशि को रिश्तों और धन संबंधी मामलों में संयम रखना आवश्यक है.
बाकी राशियों के हालात सामान्य से अच्छे रहेंगे, लेकिन हर किसी को सकारात्मकता बनाए रखने और सही फैसले करने पर ध्यान देना चाहिए.
इस प्रकार, आज का दिन जहाँ कुछ राशियों के लिए नई सफलताएं और लाभ लेकर आया है, वहीं अन्य को सतर्कता और संयम बरतने की सलाह दी जा रही है।
Raipur / Shouryapath / नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग ने राज्य के सभी नगरीय निकायों को खुदाई कार्यों की जानकारी सी-बड (CBuD - Call Before u Dig) मोबाइल एप पर अनिवार्यतः अपलोड करने के निर्देश दिए हैं। विभाग ने सभी नगर निगमों के आयुक्तों तथा नगर पालिकाओं और नगर पंचायतों के मुख्य नगर पालिका अधिकारियों को इस संबंध में परिपत्र जारी किया है। विभाग ने नगरीय निकायों में पदस्थ सभी अभियंताओं को निकायों में चल रहे सभी निर्माण कार्यों की खुदाई की जानकारी मोबाइल एप पर शीघ्र अपलोड करना सुनिश्चित करने को कहा है।
नगरीय प्रशासन विभाग के संचालक श्री आर. एक्का ने निकायों को जारी परिपत्र में कहा है कि केन्द्रीय संचार मंत्रालय के दूरसंचार विभाग द्वारा नगरीय निकाय क्षेत्रों में विभिन्न खुदाई कार्यों जैसे पाइपलाइन, केबल, गैस पाइपलाइन आदि कार्यों के लिए विभिन्न एजेंसियों के द्वारा किए जा रहे सड़कों की खुदाई के कार्यों की जानकारी अनिवार्य रूप से सी-बड (Call Before u Dig) मोबाइल एप पर अपलोड कराने के लिए निर्देशित किया गया है। दूरसंचार विभाग ने इसके लिए एप का अधिक से अधिक उपयोग करने को कहा है।
नगरीय प्रशासन विभाग ने परिपत्र में अवगत कराया है कि नगरीय निकायों, क्षेत्रीय कार्यालयों एवं निकाय स्तर पर एक-एक नोडल अधिकारी की नियुक्ति कर उनका पंजीयन सी-बड मोबाइल एप पर किया जा चुका है। इसके लिए समय-समय पर ऑनलाइन प्रशिक्षण भी प्रदान किया गया है। विभाग ने नगरीय निकायों में पदस्थ अभियंताओं द्वारा मोबाइल एप पर निकायों में चल रहे विभिन्न कार्यों की खुदाई की जानकारी अपलोड नहीं करने पर नाराजगी जाहिर करते हुए खुदाई की जानकारी अनिवार्यतः अपलोड करने के निर्देश दिए हैं।
“अवैध संबंध बने मौत का कारण” : ईर्ष्या, धोखा और ‘सम्मान’ के नाम पर बढ़ रही हत्याओं की काली परछाई
क्राइम /शौर्यपथ / अवैध संबंधों के कारण हत्याएं एक गंभीर आपराधिक समस्या है, और भारत में अक्सर ऐसी घटनाएं सामने आती हैं
। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की रिपोर्ट के अनुसार, भारत में हत्याओं के पीछे 'अवैध संबंध' एक प्रमुख कारण रहा है।
अवैध संबंधों के कारण हत्याओं के कुछ हालिया मामले:
पत्नी और प्रेमी की हत्या (राजस्थान): अक्टूबर 2025 में, राजस्थान में एक पति ने अपनी पत्नी और उसके प्रेमी की निर्मम हत्या कर दी। पति को अवैध संबंध की जानकारी मिलने पर यह घटना हुई।
पत्नी द्वारा पति की हत्या (कर्नाटक): जून 2025 में कर्नाटक में एक महिला ने कथित तौर पर अपने प्रेमी के साथ मिलकर अपने पति की हत्या कर दी। महिला ने अपने पति के चेहरे पर मिर्च पाउडर फेंक दिया और बाद में उसकी हत्या कर दी।
देवर द्वारा भाभी की हत्या (छत्तीसगढ़): अक्टूबर 2025 में छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में एक देवर ने अपनी विधवा भाभी की गला दबाकर हत्या कर दी। भाभी द्वारा शादी के लिए दबाव बनाने पर आरोपी ने यह कदम उठाया।
पत्नी द्वारा पति की सुपारी देकर हत्या (उत्तर प्रदेश): अक्टूबर 2025 में उत्तर प्रदेश में एक पत्नी ने कथित तौर पर अवैध संबंध के चलते अपने पति की हत्या कराने के लिए सुपारी दी थी।
पति द्वारा पत्नी की हत्या (दिल्ली): जून 2025 में, दिल्ली के एक होटल में एक पति ने अपनी पत्नी की हत्या कर दी। उसे अपनी पत्नी के अवैध संबंध होने का संदेह था।
महिला और उसके प्रेमी की हत्या (महाराष्ट्र): अगस्त 2025 में महाराष्ट्र के नांदेड़ में एक पिता ने अपनी शादीशुदा बेटी और उसके प्रेमी की कथित तौर पर हत्या कर दी। इसे सम्मान के नाम पर हत्या का मामला बताया जा रहा है।
इस तरह के अपराधों के पीछे के कारण:
ईर्ष्या और धोखा: जब एक पार्टनर को अवैध संबंध का पता चलता है, तो ईर्ष्या, क्रोध और धोखे की भावनाएं हिंसा को जन्म दे सकती हैं।
सम्मान के नाम पर हत्या: कुछ मामलों में, परिवार के सम्मान को बचाने के नाम पर हत्या की जाती है, खासकर जब अवैध संबंध समाज के लिए अस्वीकार्य माने जाते हैं।
विवाद और बदले की भावना: अवैध संबंध के कारण अक्सर पति-पत्नी या संबंधित पक्षों के बीच झगड़े होते हैं, जो बदले की भावना और हत्या का कारण बनते हैं।
वित्तीय विवाद: कुछ मामलों में, अवैध संबंध के साथ-साथ वित्तीय विवाद भी हत्या का एक कारण बन सकता है।
ये घटनाएं दिखाती हैं कि अवैध संबंध अक्सर घातक हिंसा का कारण बन सकते हैं।
दुर्ग / शौर्यपथ / छत्तीसगढ़ में महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक और ऐतिहासिक कदम उठाते हुए प्रदेश सरकार ने महतारी वंदन योजना की 20वीं किस्त आज जारी कर दी। योजना के तहत पात्र महिलाओं के खातों में डीबीटी के माध्यम से 1-1 हजार रुपये की राशि ट्रांसफर की गई।
नवरात्रि के समापन के शुभ अवसर पर मातृशक्ति को यह वित्तीय सौगात प्रदान करते हुए सरकार ने महिलाओं के सम्मान और आत्मनिर्भरता के अपने वादे को फिर एक बार साकार किया। केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने दंतेवाड़ा में मां दंतेश्वरी के दर्शन उपरांत योजना की राशि हितग्राहियों के खातों में ट्रांसफर की।
इस अवसर पर स्कूल शिक्षा, ग्रामोद्योग, विधि एवं विधायी मंत्री श्री गजेन्द्र यादव ने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय एवं प्रदेश सरकार का आभार जताते हुए कहा —
“मोदी की गारंटी और विष्णुदेव साय के सुशासन से जनता की गारंटी पूरी हो रही है। महतारी वंदन योजना से लाभान्वित महिलाओं की खुशी ही हमारा संतोष है।”
उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार दोनों ने ही महिलाओं के सम्मान और सशक्तिकरण को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है।
जन-धन खाते, उज्ज्वला योजना, महिला नाम से राशन कार्ड और अब महतारी वंदन योजना — ये सब इस बात के प्रमाण हैं कि महिलाओं को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने की दिशा में सरकार निरंतर काम कर रही है।
मंत्री श्री यादव ने बताया कि धान खरीदी में ₹3100 प्रति क्विंटल का मूल्य देकर किसानों को भी न्याय दिलाया गया है। महिलाओं को हर माह ₹1000 की राशि मिलने से घरेलू जरूरतों की पूर्ति में सहूलियत हो रही है और आर्थिक आत्मनिर्भरता की भावना मजबूत हुई है।
प्रदेश सरकार के अनुसार, बीते वर्ष प्रारंभ हुई महतारी वंदन योजना के तहत अब तक 20 किश्तें जारी की जा चुकी हैं, जिससे प्रदेश की लाखों महिलाएं सीधे लाभान्वित हुई हैं।
सरकार का कहना है कि यह योजना केवल आर्थिक सहायता नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की मातृशक्ति के सम्मान, स्वाभिमान और सशक्तिकरण का प्रतीक बन चुकी है।
छत्तीसगढ़ / शौर्यपथ / छत्तीसगढ़ के पहाड़ों के पार अब उम्मीदों की राह बन चुकी है। राज्य की पहली राष्ट्रीय राजमार्ग सुरंग (लेफ्ट हैंड साइड) का निर्माण मात्र 12 महीनों में पूरा कर भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) ने इंजीनियरिंग और विकास का अद्भुत उदाहरण पेश किया है।मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने अपने ट्वीट में इस ऐतिहासिक उपलब्धि को साझा करते हुए कहा कि “यह केवल इंजीनियरिंग की नहीं, बल्कि जन-जीवन को जोड़ने वाली उम्मीदों की राह है।” उन्होंने आगे कहा कि यह “समृद्ध और सशक्त छत्तीसगढ़” के विज़न को साकार करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।2.79 किलोमीटर लंबी यह सुरंग रायपुर–विशाखापट्टनम आर्थिक गलियारे (NH-130CD) का हिस्सा है, जिससे छत्तीसगढ़, ओडिशा और आंध्र प्रदेश के बीच संपर्क, व्यापार और रोज़गार के अवसरों में बड़ी वृद्धि होगी।मुख्यमंत्री ने इस उपलब्धि के लिए केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी एवं NHAI टीम का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह परियोजना आने वाले समय में पूरे क्षेत्र के आर्थिक और सामाजिक विकास में अहम भूमिका निभाएगी।
प्रदेश की प्रगति की रीढ़ है सड़क अधोसंरचना, 2.79 किमी लंबी सुरंग बनेगी विकास की नई राह – मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय
RAIPUR / SHOURYAPATH / छत्तीसगढ़ ने आज बुनियादी ढाँचे के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक उपलब्धि दर्ज की है। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) ने सिर्फ 12 महीनों में राज्य की पहली राष्ट्रीय राजमार्ग सुरंग (लेफ्ट हैंड साइड) का निर्माण कर लिया है। यह ब्रेकथ्रू इंजीनियरिंग की दृष्टि से महत्वपूर्ण होने के साथ-साथ आमजन के जीवन और राज्य के आर्थिक विकास को नई दिशा देने वाला है।
2.79 किलोमीटर लंबी यह टनल रायपुर–विशाखापट्टनम आर्थिक गलियारे (NH-130CD) का हिस्सा है, जिसे भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अभनपुर परियोजना कार्यान्वयन इकाई द्वारा निर्मित किया जा रहा है। यह ट्विन ट्यूब टनल जब पूरी तरह तैयार होगी, तो रायपुर से विशाखापट्टनम तक यात्रा का समय काफी कम होगा, व्यापार एवं उद्योग को गति मिलेगी और छत्तीसगढ़, ओडिशा तथा आंध्र प्रदेश के बीच संपर्क और मजबूत होगा।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने इस उपलब्धि पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि यह टनल समृद्ध और सशक्त छत्तीसगढ़ की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है। मुख्यमंत्री ने कहा कि सड़क एवं परिवहन अधोसंरचना का विकास प्रदेश की प्रगति की रीढ़ है। इस टनल से छत्तीसगढ़ में पर्यटन और सामाजिक–आर्थिक जुड़ाव के नए अवसर भी खुलेंगे।
उन्होंने केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री श्री नितिन गडकरी तथा भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण की टीम को इस उल्लेखनीय उपलब्धि के लिए धन्यवाद देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत विजन के अनुरूप यह परियोजना आने वाली पीढ़ियों के लिए भी विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
नई दिल्ली / शौर्यपथ / सिंगापुर में गर्मी की छुट्टियां मनाने गए दो भारतीय युवकों को वहां के कड़े कानून का सामना करना पड़ा है। सिंगापुर की एक अदालत ने 23 वर्षीय अरोकियासामी डाइसॉन और 27 वर्षीय राजेंद्रन को दो सेक्स वर्कर्स के साथ मारपीट और लूटपाट के मामले में 5 साल 1 महीने की सख्त कैद और 12 कोड़े मारने की सजा सुनाई है।
घटना का विवरण
जानकारी के अनुसार, दोनों युवक 24 अप्रैल 2025 को सिंगापुर पहुंचे थे। वहां एक अज्ञात व्यक्ति के जरिए उनकी मुलाकात दो अलग-अलग सेक्स वर्कर्स से हुई। दोनों ने पहले होटल में एक महिला से मिलकर उसके हाथ-पैर बांध दिए, उसके साथ मारपीट की और कैश, गहने, पासपोर्ट तथा बैंक कार्ड लूट लिए। इसी रात इन्होंने दूसरे होटल में एक अन्य महिला को भी निशाना बनाया, उससे भी कैश, मोबाइल फोन और पासपोर्ट छीन लिए, और जान से मारने की धमकी दी।
पुलिस कार्रवाई व अदालती सजा -
घटना के अगले ही दिन दोनों पीड़िताओं ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने तुरंत कार्यवाही करते हुए दोनों भारतीय युवकों को गिरफ्तार कर लिया। अदालत में पूछताछ के दौरान दोनों आरोपियों ने अपना अपराध कबूल कर लिया और वित्तीय तंगी का हवाला देकर सजा कम करने की अपील की, जिसे अदालत ने सिरे से खारिज कर दिया।
अदालत की टिप्पणी और सिंगापुर का कानून
अदालत ने अपने फैसले में कहा कि यह अपराध केवल लूटपाट नहीं, बल्कि गंभीर हिंसा की श्रेणी में आता है। इस मामले में दी गई सजा सिंगापुर में अपराध के प्रति लागू 'जीरो टॉलरेंस' नीति और वहां के सख्त कानूनों का प्रमाण है। ऐसे मामलों में सिंगापुर सरकार अपराधियों के लिए किसी भी प्रकार की राहत नहीं देती है, जिससे देश को सुरक्षित रखा जा सके।