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शौर्यपथ /कहते हैं दुनिया में प्रकृति ने प्रत्येक व्यक्ति को दूसरे व्यक्ति से भिन्न बनाया है। चाल-ढाल, रूप-रंग के साथ-साथ स्वभाव में भी व्यक्ति अधिकतर एक-दूसरे से भिन्न होते हैं। कई बार कुछ चीज़ें मिल भी जाती हैं, लेकिन व्यक्ति में कोई न कोई गुण-अवगुण ऐसा जरूर होता है जो उसे दूसरों से भिन्न बनाता है। इसलिये प्रत्येक व्यक्ति की मस्तक की रेखाएं भी समान नहीं होती। किसी की गहरी होती हैं,किसी की सीधी तो किसी ज्यादा होती हैं और किसी की कम। लेकिन इनमें भी सात मुख्य रेखाएं हैं। ये हैं– बुध, शुक्र, मंगल, शनि, गुरु, चंद्र एवं सूर्य रेखाएं।
बुध रेखा– यह रेखा आपकी भौहों के ठीक मध्य बनती है और मध्य से दोनों कानों की ओर जाती है। जिस जातक की बुध रेखा स्पष्ट दिखाई देती हो वह उसकी तीव्र बुद्धि की सूचक होती है। इनके भाग्य में काफी धन कमाना लिखा होता है। ये कभी भी आसानी से कोई आर्थिक नुकसान नहीं होने देते।
शुक्र रेखा– जिन जातकों की शुक्र रेखा स्पष्ट रूप से दिखाई देती है वे बहुत ही भाग्यशाली होते हैं। इन्हें घूमने-फिरने का काफी शौक होता है। यह रेखा माथे के ठीक बीचोंबीच होती है। रेखा जितनी गहरी होगी जातक उतना ही भाग्यशाली होता है। यदि यह रेखा स्पष्ट न दिखाई दे तो ऐसे जातकों का भाग्य उनका साथ नहीं देता। गहरी रेखा वाले जातक प्यार के मामले में भी रोमांटिक होते हैं।
मंगल रेखा– यह रेखा भी लगभग माथे के बीचो-बीच ही होती है लेकिन इसका स्थान शुक्र रेखा से थोड़ा ऊपर होता है। ऐसे व्यक्ति जो भी कार्य करते हैं, उसके प्रति एक जुनून सा देखा जा सकता है। यदि जातक की मंगल रेखा गहरी हो तो उसका गुस्सा अक्सर सातवें आसमान पर रहता है। हालांकि ये दिल से बहुत ही साफ होते हैं, लेकिन इनके गुस्से से दूर ही रहा जाए तो बेहतर रहता है।
गुरु रेखा– शुक्र एवं मंगल रेखा के ऊपर पायी जाती है गुरु रेखा। ऐसे जातक आध्यात्मिक प्रवृति के पाये जाते हैं, सामाजिक रूप से भी ये काफी मिलनसार होते हैं। जिन जातकों की गुरु रेखा हल्की होती है या फिर न के बराबर होती है। ऐसे जातकों के पापकर्मों में लिप्त होने की संभावनाएं अधिक होती हैं। हालांकि ज्यादा गहरी रेखा भी इन्हें घर-परिवार एवं समाज से विमुख कर देती है जिस कारण इनमें विरक्ति का भाव आने की संभावनाएं होती हैं। इनका स्वभाव थोड़ा हठी भी होता है।
शनि रेखा- यह गुरु से ऊपर मस्तक के ऊपरी हिस्से में दिखाई देती है। यदि आपकी शनि रेखा गहरी है तो आपको जीवन में धन की कमी महसूस नहीं होती। जिस भी चीज़ को पाने का विचार एक बार आप मन में ठान लेते हैं तो उसे हासिल करके ही मानते हैं, लेकिन शनि रेखा बहुत कम जातकों के मस्तक में दिखाई देती है।
चंद्र रेखा– यह रेखा आपके आर्थिक जीवन के उतार-चढ़ाव के प्रदर्शित करने वाली होती है। यदि आपकी यह रेखा स्पष्ट है तो आपको धन की कोई कमी नहीं रहने वाली, लेकिन यह साफ दिखाई नहीं देती है या फिर खंडित नजर आती है तो आपको आर्थिक रूप से हानि होने की संभावनाएं प्रबल होती हैं। यह रेखा आपकी बाईं तरफ की भौंह के ठीक ऊपर होती है। जिनकी चंद्र रेखा गहरी होती है ऐसे जातक अधिकतर कला क्षेत्र में अपना नाम कमाते हैं।
सूर्य रेखा– यह चंद्र रेखा से ठीक विपरीत यानी दाईं ओर की भौंह के ऊपर होती हैं। इससे व्यक्ति का भाग्य तेज माना जाता है। जिनके जीवन में यह रेखा नहीं होता या फिर धूंधली होती है तो ऐसे जातकों को अपने जीवन में मुश्किलों का सामना करना पड़ता है।
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