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रिसाली/शौर्यपथ /नगर पालिक निगम के नागरिक अब घर बैठे टैक्स जमा कर सकते है। आयुक्त मोनिका वर्मा ने लिंक का प्रचार-प्रसार करते नागरिकों से अधिभार और पेनाल्टी से बचने की अपील की है। उन्होंने कर वसूली विभाग को निर्देश दिए है कि बकायादारों पर सख्ती बरता जाए।
आयुक्त मोनिका वर्मा ने नागरिकों से कहा है कि इस वित्तीय वर्ष का टैक्स 31 मार्च तक अनिवार्य रूप से जमा करे। निर्धारित अवधि में राशि जमा नहीं करने पर कुल कर राशि में 18 प्रतिशत अधिभार जमा करना होगा। साथ ही 1000 पेनाल्टी अलग से देना होगा। आयुक्त ने घर बैठे टैक्स जमा करने की सुविधा के बारे में बताया कि डब्ल्यू डब्ल्यू डब्ल्यू डाॅट सीजी सूडा डाॅट काॅम में जाते ही नगर पालिक निगम रिसाली का साइड खुलेगा। इसकी मदद से करदाता को कार्यालय न आकर वे टैक्स आॅनलाइन जमा कर सकते है। नागरिकों को सुविधा देने रिसाली के सभी पार्षदों को लिंक उपलब्ध कराया गया है।
दो के खिलाफ कुर्की नोटिस
रिसाली निगम ने दो ऐसे बकायादारों के खिलाफ कुर्की नोटिस जारी किया है जो लंबे समय से कर जमा नहीं कर रहे है। इसमें बिल्डर नवीन सिंह और मैरिज पैलेस द मार्क शामिल है। सम्पत्तिकर विभाग के राजस्व निरीक्षक रवि श्रीवास्तव ने बताया कि 31 मार्च तक कर जमा नहीं करने कुर्की की कार्यवाही की जाएगी।
अवकाश के दिन खुला रहेगा काऊंटर
राजस्व निरीक्षक रवि श्रीवास्तव ने बताया कि रिसाली निगम का काऊंटर 31 मार्च तक नियमित रूप से खुला रहेगा। अवकाश के दिन भी नागरिक कार्यालय पहुंचकर टैक्स की राशि जमा कर सकते है।
रायपुर/शौर्यपथ /छत्तीसगढ़ी बेहद समृद्ध भाषा है। साहित्य की हरेक विधाओं पर इसमें लेखन -प्रकाशन कार्य में तेजी आई है, किन्तु वर्तमान में पुस्तक कम गुगल पठन का बढ़ता चलन चिंतनीय है।उक्त विचार पद्मश्री डॉ सुरेंद्र दुबे ने प्रेस क्लब के सभागार में व्यक्त किए।अवसर था रामेश्वर वैष्णव के व्यंग्य संग्रहों 'उत्ता धुर्रा - उबुक चुबुक' विमोचन का। आगे उन्होंने कहा
रामेश्वर वैष्णव जैसे श्रेष्ठ व्यंग्यकार के लेखन का मूल्यांकन होना अभी शेष है। वे उम्दा सृजन -प्रदर्शन करने में माहिर हैं। ।
कार्यक्रम अध्यक्ष डॉ सुधीर शर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ी गीत - ग़ज़ल और हास्य -व्यंग लेखन को राष्ट्रीय क्षितिज पर स्थापित करने में श्री वैष्णव का योगदान शरद जोशी की भांति है। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता डॉ देवधर महंत ने "ऊत्ता -धूर्रा और उबुक चुबुक" पर समीक्षात्मक टिप्पणी दी। उन्होंने कहा काव्य रचनाओं की तुलना में कम होते व्यंग्य लेखन को पाटने की सफल कोशिश की है।
मंचासीन सह अध्यक्ष ए. एन.बंजारा ने कहा कि शिक्षा जगत में छत्तीसगढ़ी पाठ्यक्रम के लिए रास्ता खुला है।इसी क्रम में डॉ वैभव बेमेतरिहा ने छत्तीसगढ़ी में पठ़न पाठन करने बल दिया। कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि रामेश्वर शर्मा, राजेश्वर खरे ने हिंदी के समक्ष छत्तीसगढ़ी की उपेक्षा को रेखांकित किया। कार्यक्रम का रोचक संचालन वरिष्ठ साहित्यकार विजय मिश्रा 'अमित' ने तथा आभार प्रदर्शन संजय कबीर शर्मा ने किया।
कार्यक्रम में विशेष उपस्थिति डॉ रामेंद्र मिश्र,मीर अली मीर, श्याम बैस, डॉ महेश परिमल, डॉ महेंद्र ठाकुर, राजीव नयन शर्मा, राजकुमार धर द्विवेदी, उमाकांत मनमौजी, जागेश्वर ठाकुर जयंती वैष्णव।
मेयर द्वारा स्वास्थ्य विभाग की बैठक में सख्त निर्देश,शहर के प्रत्येक वार्ड से 100% कलेक्शन हो कचरा,प्लाट में कचरा फेकने वालो पर लगाए फाइन
दुर्ग/शौर्यपथ /नगर पालिक निगम के मेयर श्रीमती अलका बाघमार ने स्वास्थ्य प्रभारी नीलेश अग्रवाल के साथ बैठक में लगातार नए-नए फैसले लेकर शहर को स्वच्छ और सुंदर बनाने के लिए मुहिम चला रहे हैं।मेयर ने कहा शहर की बेहतर सफाई के साथ कचरों का प्रंबधन से संग्रहण करना सफाई कर्मियों के कार्य मे शामिल है।
कार्यक्रम में स्वास्थ्य विभाग प्रभारी नीलेश अग्रवाल,स्वास्थ्य अधिकारी धर्मेंद्र मिश्रा,प्रताप सोनी,सुरेश भारती,पीआईयू कुणाल,राहुल,रामलाल भट्ट सहित अन्य कर्मचारियो,सुपर वाइजर मौजूद रहें।महापौर द्वारा आज बैठक में निर्देश कहा प्रत्येक वार्डो में सफाई सुपर वाइजर द्वारा 100% टोटल कलेक्शन कराया जाए, उन्होंने कहा कि सभी सुपर वाइजर साथ मे रिक्शे सेंटर में कचरा खाली करने पहुंचे।उन्होंने ये भी कहा कि प्रत्येक वार्ड में एक ही सुपरवाइजर कार्य करेंगे।प्राइवेट प्लेटो में लोगो के द्वारा कचरा फेका जा रहा है उन पर जुर्माना की कार्रवाही की जाए यह जिम्मेदारी वार्ड के सुपर वाइजर की रहेंगी। बैठक में उन्होंने कुशल कचरा प्रबंधन के विषय पर बताया कि स्वच्छ भारत अभियान भारत को पूर्णतया स्वच्छ बनाने के लिए एक मुहिम है। उन्होनें स्वच्छता के महत्व का समझाया। उन्होनें सफाई कर्मचारियों की भूमिका एवं जिम्मेदारियों की बात बतायी।बैठक में कुशल कचरा प्रबंधन के विषय पर बताया कि स्वच्छ भारत अभियान भारत को पूर्णतया स्वच्छ बनाने के लिए एक मुहिम है।
स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि घर-घर कचरा में प्रमुख अपशिष्ट प्लास्टिक वेस्टा, किचन तथा गार्डन से निकलने वाले वेस्ट, कांच एवं पत्थर आदि, कागज एवं गत्ता, वृक्षों के सूखे पत्ते, गीला और सूखा कचरा के साथ ही कचरा संग्रहण और प्रबंधन कार्य एवं कम्पोस्ट खाद बनाना एवं गोबर खाद तैयार करने जैसे अनेक कार्य शामिल है।
मेयर ने कहा पब्लिक फीडबैक पर हमें अत्यधिक ध्यान देने की आवश्यकता है इसके साथ ही शहर में स्वच्छता हेतु निगम की गाड़ी चल रही निगम की गाड़ियों में पब्लिक फीडबैक मिलना आवश्यक है।स्वच्छता 24/25 सर्वे में शहर को प्रथम लाने हेतु आप सभी की मेहनत की आवश्यकता है।
मेयर ने कहा कि नगर निगम के राजस्व अमले एवं जिनके कार्य अभी नगर निगम में सुचारू रूप से चल रहे हैं, उनको छोड़कर नगर निगम के सम्पूर्ण अमले को तत्काल स्वच्छता के संबंध मं फील्ड में कार्य पर लगने आवष्यक रूप से निर्देश दिए।
स्वास्थ्य प्रभारी नीलेश अग्रवाल ने कहा कि वार्डों मे सभी स्वच्छता को लेकर जागरूकता अभियान चलाए जाने की आवश्यकता है।वार्डो के भीतरी एवं मुख्य मार्गो की सफाई में विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है, वार्डों में स्थित बाजारों और तालाबों में में स्वच्छता अवश्य रखें।
रायपुर /शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय से फेडरेशन ऑफ कर्नाटक चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के प्रतिनिधिमंडल ने मुलाकात की। बैठक में कर्नाटक और छत्तीसगढ़ के बीच औद्योगिक विकास, रोजगार सृजन और व्यापारिक सहयोग बढ़ाने पर चर्चा हुई। FKCCI ने कर्नाटक सरकार की नई औद्योगिक नीति 2025-30 के तहत निवेश और कारोबारी सुगमता को लेकर अपने विचार साझा किए।
छत्तीसगढ़ सरकार ने नैसकॉम, आईईएसए एवं टाई बैंगलोर के साथ एमओयू पर किया साइन
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने बेंगलुरु में आयोजित इन्वेस्टर कनेक्ट मीट में उद्योगपतियों और निवेशकों से किया संवाद
बेंगलुरू/शौर्यपथ / देश की सिलिकॉन वैली के रूप में प्रसिद्ध बेंगलुरु की कई बड़ी टेक कंपनियों ने छत्तीसगढ़ में निवेश को लेकर रूचि दिखाई है। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने बेंगलुरु में आयोजित इन्वेस्टर कनेक्ट मीट में देश के शीर्ष उद्योगपतियों और बिजनेस लीडर्स से संवाद कर राज्य में निवेश की संभावनाओं पर चर्चा की। इस दौरान इंजीनियरिंग, टेक्सटाइल, इलेक्ट्रॉनिक्स, आईटी/आईटीईएस, खाद्य प्रसंस्करण और ग्रीन फ्यूल जैसे क्षेत्रों के कई बड़ी कम्पनियों ने 3700 करोड़ के निवेश प्रस्ताव सौंपें हैं।
इसके साथ ही छत्तीसगढ़ सरकार ने आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देने के उद्देश्य से नैसकॉम, इंडिया इलेक्ट्रॉनिक्स एंड सेमीकंडक्टर एसोसिएशन और द इंडस एंटरप्रेन्योर्स बैंगलोर के साथ महत्वपूर्ण एमओयू भी साइन किया है।
सम्मेलन में मुख्यमंत्री श्री साय ने राज्य में निवेश के लिए आमंत्रित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ निवेश और उद्योगों के लिए देश के सबसे उभरते हुए राज्यों में से एक है। देश के सबसे समृद्ध खनिज संसाधन, सेंट्रल इंडिया की शानदार लोकेशन और कनेक्टिविटी के लाभ के साथ ही छत्तीसगढ़ में भरपूर बिजली-पानी, मानव संसाधन जैसी बुनियादी सुविधाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा डिजिटल टेक्नोलॉजी से छत्तीसगढ़ सुशासन का मॉडल स्टेट बन रहा है। छत्तीसगढ़ सरकार ने अब निवेश के लिए कागजी झंझट खत्म कर दिया गया है। बस एक क्लिक में एनओसी मिलेगी और फैसला भी डिजिटल तरीके से होगा। नई औद्योगिक नीति से निवेश प्रक्रिया को आसान और पारदर्शी बनाया गया है।
उन्होंने बताया नई उद्योग नीति में निवेश एवं रोजगार के अवसरों में वृद्धि के लिए 1 हजार करोड़ रुपए अथवा एक हजार लोगों को रोजगार देने वाले उद्योगों को बी-स्पोक नीति का अवसर प्रदान किया गया है। इस नीति में 30 से 50 प्रतिशत तक एवं 200 से 450 करोड़ रुपए तक स्थायी पूंजी निवेश की प्रतिपूर्ति का प्रावधान किया गया है। 5 से 12 वर्ष तक नेट एसजीएसटी प्रतिपूर्ति, रोजगार एवं ईपीएफ प्रतिपूर्ति तथा प्रशिक्षण व्यय की प्रतिपूर्ति के लिए आकर्षक प्रावधान किये गये हैं।
उन्होंने कहा कि नई औद्योगिक नीति में हमने आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, रोबोटिक्स, कंप्यूटिंग, ग्रीन हाइड्रोजन जैसे क्षेत्रों में निवेश के लिए आकर्षक प्रावधान रखे गये हैं। इसके साथ ही इलेक्ट्रिकल एवं इलेक्ट्रानिक्स, फार्मा, टैक्सटाइल, फूड एंड एग्रो प्रोसेसिंग जैसे क्षेत्रों में भी विशेष रियायत दी गई है। हम नवा रायपुर में फार्मास्यूटिकल पार्क भी स्थापित कर रहे हैं जो सेंट्रल इंडिया का सबसे बड़ा फार्मास्यूटिकल पार्क होगा।
मुख्यमंत्री श्री साय ने बताया कि रायपुर को हम मध्य भारत के सबसे बड़े आईटी हब के रूप में विकसित कर रहे हैं। यहाँ 1.6 बिलियन डालर का निवेश किया गया है जिससे यहां की अधोसंरचना देश के सबसे शानदार शहरों जैसी है। नवा रायपुर ग्रीनफील्ड शहर भी हैं जिससे आईटी इंडस्ट्री के विकास के लिए यहां भरपूर संभावनाएं हैं।
इस मीट में उद्योग विभाग के मंत्री श्री लखन लाल देवांगन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध सिंह, सचिव श्री राहुल भगत, उद्योग विभाग के सचिव श्री रजत कुमार, नई दिल्ली में छत्तीसगढ़ की इन्वेस्टमेंट कमिश्नर सुश्री ऋतु सैन, सचिव एस भारतीदासन, उद्योग और वाणिज्य विभाग के सचिव सौरभ कुमार, संचालक श्री प्रभात मलिक और सीएसआईडीसी के प्रबंध संचालक श्री विश्वेश कुमार सहित कई वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।
बस्तर में निवेशकों के लिए अपार संभावनाएं
मुख्यमंत्री ने बताया कि बस्तर और सरगुजा को हमने सर्वाधिक औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन क्षेत्र के रूप में रखा है। यहां कोर सेक्टर प्रोत्साहन, आयरन और कोल रायल्टी में 50 से 100 प्रतिशत तक छूट है। सेस की प्रतिपूर्ति 150 प्रतिशत तक किये जाने का प्रावधान है। बस्तर में नगरनार स्टील प्लांट के पास ग्राम नियानार में हम 118 एकड़ में नये औद्योगिक क्षेत्र की स्थापना करने जा रहे हैं इससे यहां बड़े पैमाने पर लघु, सूक्ष्म एवं मध्यम उद्यमों को स्थापना के अवसर मिलेंगे।
देश की अग्रणी कंपनियां करेंगी छत्तीसगढ़ में निवेश
सम्मेलन में बीईएमएल, क्लेन पैक्स, कीन्स टेक्नोलॉजी, नैसकॉम, गोकुलदास एक्सपोर्ट्स, ब्रिटानिया, टाई बैंगलोर और कर्नाटक चैंबर ऑफ कॉमर्स जैसी प्रमुख कंपनियों व औद्योगिक समूहों ने भाग लिया। इन कंपनियों ने छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति, अनुकूल नीतिगत वातावरण और मजबूत आधारभूत ढांचे की सराहना की।
छत्तीसगढ़ को मिले निवेश प्रस्तावों की झलक
GPSR आर्या प्राइवेट लिमिटेड (CBG ग्रीन फ्यूल सेक्टर) – ₹1350 करोड़ का निवेश कर यह कंपनी बायोगैस और हरित ऊर्जा उत्पादन को बढ़ावा देगी, जिससे राज्य में स्वच्छ ऊर्जा क्रांति आएगी।
क्लेन पैक्स (टेक्सटाइल सेक्टर) – ₹500 करोड़ के निवेश से यह कंपनी कपड़ा उद्योग को बढ़ावा देगी और स्थानीय युवाओं के लिए रोज़गार के अवसर बढ़ाएगी।
ब्रिटानिया (फूड प्रोसेसिंग सेक्टर) – ₹200 करोड़ का निवेश कर यह कंपनी खाद्य प्रसंस्करण उद्योग को मजबूत करेगी, जिससे स्थानीय किसानों और छोटे उद्यमियों को लाभ होगा।
कीन्स टेक्नोलॉजी (आईटी/आईटीईएस सेक्टर) – ₹1000 करोड़ के निवेश से छत्तीसगढ़ के आईटी सेक्टर को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है, जिससे युवाओं को बड़े पैमाने पर रोज़गार मिलेगा।
गोकुलदास एक्सपोर्ट्स और SRV निट टेक प्राइवेट लिमिटेड – दोनों कंपनियां ₹200 करोड़ का निवेश कर टेक्सटाइल सेक्टर को मजबूती देंगी, जिससे राज्य के कपड़ा उद्योग को नई पहचान मिलेगी।
BEML (भारत अर्थ मूवर्स लिमिटेड) ने छत्तीसगढ़ में 200 करोड़ रुपये के निवेश की घोषणा की है। यह निवेश राज्य में इंजीनियरिंग और निर्माण क्षेत्र को मजबूती देगा, जिससे स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।
पुनीत क्रिएशन, श्याम टेक्सटाइल एवं वूल रिसर्च एसोसिशन ने भी छत्तीसगढ़ में रूचि दिखाते हुए निवेश प्रस्ताव सौंपे हैं।
बंगलुरु। शौर्यपथ। छत्तीसगढ़ में हरित ईंधन के क्षेत्र में निवेश को लेकर उद्योग जगत की दिलचस्पी बढ़ रही है। बेंगलुरु में आयोजित बैठक में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय से GPRS Arya Pvt. Ltd. के दीपक अग्रवाल ने मुलाकात कर बताया कि उनकी कंपनी राज्य में पराली से Compressed Bio-Gas (CBG) बनाने की दिशा में तेजी से काम कर रही है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों में CBG प्लांट लगाने की योजना है, जिससे किसानों को फसल अवशेषों से अतिरिक्त आमदनी मिलेगी और प्रदूषण में भी कमी आएगी।
कंपनी ने हाल ही में बेमेतरा जिले में इंडियन ऑयल के साथ मिलकर एक CBG प्लांट स्थापित किया है, जो अब पूरी तरह से कार्य करने की दिशा में है। दीपक अग्रवाल ने मुख्यमंत्री को बताया कि इस परियोजना के सफल होने के बाद वे छत्तीसगढ़ के अन्य जिलों में भी इसी मॉडल को अपनाना चाहते हैं। इस पहल से जैविक ईंधन उत्पादन को बढ़ावा मिलेगा और पर्यावरण अनुकूल ऊर्जा के क्षेत्र में राज्य की भागीदारी मजबूत होगी।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि सरकार हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति के तहत जैविक ईंधन और पर्यावरण अनुकूल परियोजनाओं के लिए विशेष प्रोत्साहन दिया जा रहा है। इस बैठक में उद्योग जगत के अन्य प्रतिनिधियों ने भी छत्तीसगढ़ में निवेश को लेकर उत्सुकता जताई।
स्रोत - जनसम्पर्क विभाग
*छत्तीसगढ़ सरकार ने नैसकॉम, आईईएसए एवं टाई बैंगलोर के साथ एमओयू पर किया साइन*
*मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने बेंगलुरु में आयोजित इन्वेस्टर कनेक्ट मीट में उद्योगपतियों और निवेशकों से किया संवाद*
बेंगलुरू / शौर्यपथ / देश की सिलिकॉन वैली के रूप में प्रसिद्ध बेंगलुरु की कई बड़ी टेक कंपनियों ने छत्तीसगढ़ में निवेश को लेकर रूचि दिखाई है। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने बेंगलुरु में आयोजित इन्वेस्टर कनेक्ट मीट में देश के शीर्ष उद्योगपतियों और बिजनेस लीडर्स से संवाद कर राज्य में निवेश की संभावनाओं पर चर्चा की। इस दौरान इंजीनियरिंग, टेक्सटाइल, इलेक्ट्रॉनिक्स, आईटी/आईटीईएस, खाद्य प्रसंस्करण और ग्रीन फ्यूल जैसे क्षेत्रों के कई बड़ी कम्पनियों ने 3700 करोड़ के निवेश प्रस्ताव सौंपें हैं।
इसके साथ ही छत्तीसगढ़ सरकार ने आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देने के उद्देश्य से नैसकॉम, इंडिया इलेक्ट्रॉनिक्स एंड सेमीकंडक्टर एसोसिएशन (IESA) और द इंडस एंटरप्रेन्योर्स (TiE) बैंगलोर के साथ महत्वपूर्ण एमओयू भी साइन किया है।
सम्मेलन में मुख्यमंत्री श्री साय ने राज्य में निवेश के लिए आमंत्रित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ निवेश और उद्योगों के लिए देश के सबसे उभरते हुए राज्यों में से एक है। देश के सबसे समृद्ध खनिज संसाधन, सेंट्रल इंडिया की शानदार लोकेशन और कनेक्टिविटी के लाभ के साथ ही छत्तीसगढ़ में भरपूर बिजली-पानी, मानव संसाधन जैसी बुनियादी सुविधाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा डिजिटल टेक्नोलॉजी से छत्तीसगढ़ सुशासन का मॉडल स्टेट बन रहा है। छत्तीसगढ़ सरकार ने अब निवेश के लिए कागजी झंझट खत्म कर दिया गया है। बस एक क्लिक में एनओसी मिलेगी और फैसला भी डिजिटल तरीके से होगा। नई औद्योगिक नीति से निवेश प्रक्रिया को आसान और पारदर्शी बनाया गया है।
उन्होंने बताया नई उद्योग नीति में निवेश एवं रोजगार के अवसरों में वृद्धि के लिए 1 हजार करोड़ रुपए अथवा एक हजार लोगों को रोजगार देने वाले उद्योगों को बी-स्पोक नीति का अवसर प्रदान किया गया है। इस नीति में 30 से 50 प्रतिशत तक एवं 200 से 450 करोड़ रुपए तक स्थायी पूंजी निवेश की प्रतिपूर्ति का प्रावधान किया गया है। 5 से 12 वर्ष तक नेट एसजीएसटी प्रतिपूर्ति, रोजगार एवं ईपीएफ प्रतिपूर्ति तथा प्रशिक्षण व्यय की प्रतिपूर्ति के लिए आकर्षक प्रावधान किये गये हैं।
उन्होंने कहा कि नई औद्योगिक नीति में हमने आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, रोबोटिक्स, कंप्यूटिंग, ग्रीन हाइड्रोजन जैसे क्षेत्रों में निवेश के लिए आकर्षक प्रावधान रखे गये हैं। इसके साथ ही इलेक्ट्रिकल एवं इलेक्ट्रानिक्स, फार्मा, टैक्सटाइल, फूड एंड एग्रो प्रोसेसिंग जैसे क्षेत्रों में भी विशेष रियायत दी गई है। हम नवा रायपुर में फार्मास्यूटिकल पार्क भी स्थापित कर रहे हैं जो सेंट्रल इंडिया का सबसे बड़ा फार्मास्यूटिकल पार्क होगा।
मुख्यमंत्री श्री साय ने बताया कि रायपुर को हम मध्य भारत के सबसे बड़े आईटी हब के रूप में विकसित कर रहे हैं। यहाँ 1.6 बिलियन डालर का निवेश किया गया है जिससे यहां की अधोसंरचना देश के सबसे शानदार शहरों जैसी है। नवा रायपुर ग्रीनफील्ड शहर भी हैं जिससे आईटी इंडस्ट्री के विकास के लिए यहां भरपूर संभावनाएं हैं।
इस मीट में उद्योग विभाग के मंत्री श्री लखन लाल देवांगन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध सिंह, सचिव श्री राहुल भगत, उद्योग विभाग के सचिव श्री रजत कुमार, नई दिल्ली में छत्तीसगढ़ की इन्वेस्टमेंट कमिश्नर सुश्री ऋतु सैन, सचिव एस भारतीदासन, उद्योग और वाणिज्य विभाग के सचिव सौरभ कुमार, संचालक श्री प्रभात मलिक और सीएसआईडीसी के प्रबंध संचालक श्री विश्वेश कुमार सहित कई वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।
*बस्तर में निवेशकों के लिए अपार संभावनाएं*
मुख्यमंत्री ने बताया कि बस्तर और सरगुजा को हमने सर्वाधिक औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन क्षेत्र के रूप में रखा है। यहां कोर सेक्टर प्रोत्साहन, आयरन और कोल रायल्टी में 50 से 100 प्रतिशत तक छूट है। सेस की प्रतिपूर्ति 150 प्रतिशत तक किये जाने का प्रावधान है। बस्तर में नगरनार स्टील प्लांट के पास ग्राम नियानार में हम 118 एकड़ में नये औद्योगिक क्षेत्र की स्थापना करने जा रहे हैं इससे यहां बड़े पैमाने पर लघु, सूक्ष्म एवं मध्यम उद्यमों को स्थापना के अवसर मिलेंगे।
*देश की अग्रणी कंपनियां करेंगी छत्तीसगढ़ में निवेश*
सम्मेलन में बीईएमएल, क्लेन पैक्स, कीन्स टेक्नोलॉजी, नैसकॉम, गोकुलदास एक्सपोर्ट्स, ब्रिटानिया, टाई बैंगलोर और कर्नाटक चैंबर ऑफ कॉमर्स जैसी प्रमुख कंपनियों व औद्योगिक समूहों ने भाग लिया। इन कंपनियों ने छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति, अनुकूल नीतिगत वातावरण और मजबूत आधारभूत ढांचे की सराहना की।
*छत्तीसगढ़ को मिले निवेश प्रस्तावों की झलक*
- GPSR आर्या प्राइवेट लिमिटेड (CBG ग्रीन फ्यूल सेक्टर) – ₹1350 करोड़ का निवेश कर यह कंपनी बायोगैस और हरित ऊर्जा उत्पादन को बढ़ावा देगी, जिससे राज्य में स्वच्छ ऊर्जा क्रांति आएगी।
- क्लेन पैक्स (टेक्सटाइल सेक्टर) – ₹500 करोड़ के निवेश से यह कंपनी कपड़ा उद्योग को बढ़ावा देगी और स्थानीय युवाओं के लिए रोज़गार के अवसर बढ़ाएगी।
- ब्रिटानिया (फूड प्रोसेसिंग सेक्टर) – ₹200 करोड़ का निवेश कर यह कंपनी खाद्य प्रसंस्करण उद्योग को मजबूत करेगी, जिससे स्थानीय किसानों और छोटे उद्यमियों को लाभ होगा।
- कीन्स टेक्नोलॉजी (आईटी/आईटीईएस सेक्टर) – ₹1000 करोड़ के निवेश से छत्तीसगढ़ के आईटी सेक्टर को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है, जिससे युवाओं को बड़े पैमाने पर रोज़गार मिलेगा।
- गोकुलदास एक्सपोर्ट्स और SRV निट टेक प्राइवेट लिमिटेड – दोनों कंपनियां ₹200 करोड़ का निवेश कर टेक्सटाइल सेक्टर को मजबूती देंगी, जिससे राज्य के कपड़ा उद्योग को नई पहचान मिलेगी।
- BEML (भारत अर्थ मूवर्स लिमिटेड) ने छत्तीसगढ़ में 200 करोड़ रुपये के निवेश की घोषणा की है। यह निवेश राज्य में इंजीनियरिंग और निर्माण क्षेत्र को मजबूती देगा, जिससे स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।
- पुनीत क्रिएशन, श्याम टेक्सटाइल एवं वूल रिसर्च एसोसिशन ने भी छत्तीसगढ़ में रूचि दिखाते हुए निवेश प्रस्ताव सौंपे हैं।
बेंगलुरु। शौर्यपथ। छत्तीसगढ़ में टेक्सटाइल उद्योग को बढ़ावा देने के लिए प्रमुख उद्योगपति मनोज अग्रवाल, जो Punit Creations के प्रमुख हैं, ने राज्य में निवेश का प्रस्ताव दिया है। उन्होंने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय से मुलाकात कर छत्तीसगढ़ को टेक्सटाइल हब के रूप में विकसित करने की संभावनाओं पर चर्चा की।
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मनोज अग्रवाल ने बताया कि छत्तीसगढ़ में श्रमशक्ति (लेबर) और अनुकूल औद्योगिक माहौल की वजह से टेक्सटाइल उद्योग के लिए अपार संभावनाएं हैं। राज्य सरकार की नीतियों के तहत यदि किसी उद्योग में 1,000 से अधिक लोगों को रोजगार मिलता है, तो सरकार अतिरिक्त सब्सिडी भी प्रदान करेगी। इस पहल से रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और राज्य के युवाओं को अपने ही प्रदेश में काम करने के बेहतर अवसर मिलेंगे।
स्रोत -जनसम्पर्क विभाग
दुर्ग। शौर्यपथ। प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की सरकार आने के बाद पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के भ्रष्टाचार के खिलाफ केंद्रीय एजेंसी लगातार कार्यवाही कर रही हैं हाल ही में प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के घर ED ने दबिश दी थी और दिनभर कार्यवाही के बाद वापस चली गई कार्यवाही में क्या मिला क्या नहीं इस बात की जानकारी नहीं हो पाई.
वहीं आज बुधवार सुबह पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के घर सीबीआई ने दबिश दे दी इस बात की जानकारी सोशल मीडिया x पर भूपेश बघेल कार्यालय की तरफ से दी गई जिसमें कहा गया कि 8 और 9 अप्रैल को गुजरात में ड्राफ्टिंग कमेटी की बैठक के संबंध में आज पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का दिल्ली जाने का कार्यक्रम था उसके पहले सीबीआई ने पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भिलाई 3 पदुम नगर निवास पर दबिश से दी सीबीआई की दबिश के बाद एक बार फिर दुर्ग जिले में राजनीतिक गरमा गई.
वहीं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के घर सीबीआई की दबिश की खबर मिलते ही भिलाई 3 निगम सभापति कृष्णा चंद्राकर पूर्व मुख्यमंत्री के घर पहुंच चुके हैं ऐसा माना जा रहा है कि कुछ ही देर में खबर आपकी तरह फलेगी और कांग्रेसी कार्यकर्ता एक बार फिर भिलाई तीन की ओर पूछ करते हुए अपने नेता के समर्थन में आगे आएंगे समाचार लिखे जाने तक सीबीआई की कार्रवाई जारी है
दुर्ग। शौर्यपथ। इंदिरा नगर पालिका निगम सड़कों के किनारे अवैध कब्जा धारी पर कार्रवाई कर रही है वहीं दुर्ग नगर निगम के व्यस्ततम स्थान बस स्टैंड में एक ऐसा स्थान भी है जो भविष्य में कभी भी बड़ी दुर्घटना का कारण बन सकता है नगर निगम द्वारा निर्मित परिसर में संचालित प्रवीण ऑटो इंजीनियर द्वारा ट्रांसफार्मर के पास एक पावरफुल जनरेटर अवैध रूप से अतिक्रमण कर रखा गया. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बिना पूर्ण अनुमति के प्रवीण ऑटो इंजीनियर द्वारा दिया जनरेटर इंस्टॉल किया गया है जो की ट्रांसफार्मर के काफी करीब है ऐसे में अगर शॉर्ट सर्किट होता है तो काफी जान माल की हानि हो सकती है वही प्रवीण ऑटो इंजीनियर द्वारा बरामदे पर भी अवैध निर्माण कर व्यापार का संचालन किया जा रहा है.
नगर निगम से 100 मीटर की दूरी पर इस तरह का कार्य कहीं ना कहीं बाजार विभाग के क्षेत्र के सम्बंधित अधिकारी /कर्मचारी की निष्क्रियता भी साफ नजर आ रही है इस अवैध अतिक्रमण और कब्जे पर अगर बाजार विभाग के संबंधित कर्मचारी समय पर कार्रवाई करते तो आज अवैध निर्माण की स्थिति नहीं आई होती. वहीं कब्जा करने की घटिया सोच में कहीं ना कहीं संचालकों और बाजार विभाग के संबंधित कर्मचारियों की मिली भगत की ओर भी इशारा कर रहा है काफी सालों बाद दुर्ग शहर की शहरी सरकार और निगम प्रशासन लगातार अवैध कब्जे और अतिक्रमण पर कार्यवाही कर रही है ऐसे में अब आम जनता सहित बस स्टैंड के अन्य व व्यापारी भी इस बात का इंतजार कर रहे हैं कि निगम प्रशासन के मुखिया प्रवीण ऑटो इंजीनियर द्वारा किया अवैध कब्जे एवं बिना अनुमति के ट्रांसफार्मर के पास लगे जनरेटर जो कभी भी दुर्घटना का कारण बन सकते हैं पर कार्यवाही करने की पहल करेंगे शहर को साफ और सुंदर बनाने की दिशा में निगम प्रशासन का प्रयास वर्तमान समय में सार्थक रूप ले रहा है ऐसे में देखने वाली बातें होगी कि क्या बाजार विभाग के जमीनी कर्मचारी मामले पर निगम प्रशासन को पूर्ण जानकारी देकर अवैध कब्जे और अतिक्रमण की दिशा में कार्य करेंगे या फिर निगम प्रशासन के मुखिया आयुक्त अग्रवाल को गुमराह कर अवैध अतिक्रमण पर अपनी मौन सहमति देंगे .