November 24, 2024
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खेल / शौर्यपथ / पाकिस्तान क्रिकेट टीम के कप्तान बाबर आजम, विकेटकीपर मोहम्मद रिजवान, ऑलराउंडर हसन अली और तेज गेंदबाज शाहीन शाह अफरीदी ने अपने क्रिकेट बोर्ड से मैच फीस बढ़ाने की अपील की है। वेबसाइट 'क्रिकेट पाकिस्तान' में प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार इन चारों खिलाड़ियों ने बोर्ड के एक सीनियर अधिकारी से कहा कि उनकी मैच फीस में संशोधन किया किया जाना चाहिए। इन चारों को हाल में कॉन्ट्रैक्ट में 'ए' ग्रेड में रखा गया था।
रिपोर्ट के अनुसार, ये सभी खिलाड़ी इस बात से नाखुश हैं कि नए सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट में उनकी टेस्ट, वनडे और टी-20 की मैच फीस नहीं बढ़ाई गई। पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) ने 2021-22 के सीजन के लिए जुलाई में प्रदर्शन के आधार पर अलग-अलग कैटेगरी में 20 खिलाड़ियों को सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट सौंपा था। इसमें हालांकि सभी कैटेगरी के लिए मैच फीस बराबर रखी गई थी। इन चारों खिलाड़ियों के अलावा अन्य सीनियर खिलाड़ियों अजहर अली को 'बी' और पूर्व कप्तान सरफराज अहमद को 'सी' ग्रेड में रखा गया है।
इसके अलावा दिग्गज मोहम्मद हफीज, शोएब मलिक और वहाब रियाज को कोई कॉन्ट्रैक्ट नहीं दिया गया है। सभी फॉर्मेट में बराबरी लाने के लिए पीसीबी ने टेस्ट, वनडे और टी-20 मैच फीस में बढ़ोतरी की, जबकि ग्रेड ए में केवल रिटेनरशिप परसेंट को 25 पर्सेंट बढ़ाया गया था। हालांकि ग्रेड बी में टेस्ट मैच फीस को 15 पर्सेंट बढ़ाया गया और वनडे और टी-20 में क्रमश: 20 और 25 पर्सेंट बढ़ोतरी हुई। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि पीसीबी ने इस बात से इनकार किया है कि किसी क्रिकेटर ने उनसे उनकी मैच फीस को लेकर शिकायत की थी।

खेल / शौर्यपथ / टोक्यो ओलंपिक में इतिहास रचने के बाद भारतीय मेंस और विमेंस हॉकी टीम आज शाम को दिल्ली पहुंचेगी। भारतीय मेंस हॉकी टीम ने ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया, जबकि विमेंस टीम चौथे स्थान पर रही। दोनों टीमों ने अपने प्रदर्शन से फैन्स का दिल जीत लिया। मेंस हॉकी टीम ने 41 साल बाद ओलंपिक मेडल अपनी झोली में डालकर देश को गौरवान्वित किया, तो वहीं विमेंस टीम भले ही मेडल से चूक गई, लेकिन अपने खेल और जज्बे से सबका दिल जीत लिया। मनप्रीत सिंह की कप्तानी वाली मेंस टीम ने ब्रॉन्ज मेडल मैच में जर्मनी को 5-4 से हराया था, जबकि विमेंस टीम को ग्रेट ब्रिटेन के हाथों 2-3 से हार का सामना करना पड़ा था।
दोनों टीमें आज शाम 5:15 बजे साथ में दिल्ली के इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर लैंड करेंगीं। एयरपोर्ट के बाद दोनों टीमें चाणक्यपुरी के अशोका होटल के लिए प्रस्थान करेंगीं। भारत के लिए टोक्यो ओलंपिक काफी यादगार रहा। भारत एक गोल्ड, दो सिल्वर और चार ब्रॉन्ज मेडल के साथ प्वॉइंट टेबल में 48वें नंबर पर रहा। ओलंपिक खेलों में यह भारत का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन भी है। इससे पहले लंदन ओलंपिक में भारत ने कुल छह मेडल (दो सिल्वर और चार ब्रॉन्ज) जीते थे। भारत की ओर से जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने गोल्ड मेडल अपने नाम किया, जो एथलेटिक्स में भारत की ओर से पहला ओलंपिक मेडल भी है। भारत के लिए वेटलिफ्टर मीराबाई चानू और रेसलर रवि दहिया ने सिल्वर मेडल जीते जबकि मेंस हॉकी टीम, रेसलर बजरंग पूनिया, बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधु और महिला बॉक्सर लवलीना बोरगोहेन ने ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किए।
टोक्यो में कुछ ऐसा रहा मेंस हॉकी टीम का सफर
मनप्रीत सिंह की कप्तानी वाली भारतीय मेंस हॉकी टीम ने पूल ए में न्यूजीलैंड, स्पेन, अर्जेंटीना और जापान को हराकर क्वार्टर फाइनल तक का सफर तय किया। क्वार्टर फाइनल में टीम ने ग्रेट ब्रिटेन को हराया और सेमीफाइनल में जगह पक्की की। सेमीफाइनल में भारत को बेल्जियम के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा और फिर ब्रॉन्ज मेडल के लिए खेले गए मैच में टीम ने जर्मनी को हराया। भारतीय मेंस हॉकी टीम ने टूर्नामेंट में दो ही मैच गंवाए और दोनों मैच ऑस्ट्रेलिया और बेल्जियम के खिलाफ थे, जिन्होंने फाइनल में जगह बनाई थी। बेल्जियम ने फाइनल में ऑस्ट्रेलिया को हराकर गोल्ड मेडल अपने नाम किया था, जबकि ऑस्ट्रेलिया को सिल्वर मेडल से संतोष करना पड़ा था। भारतीय टीम पूल-ए में दूसरे नंबर पर रहकर क्वार्टर फाइनल में पहुंची थी।
टोक्यो में कुछ ऐसा रहा विमेंस हॉकी टीम का सफर
भारतीय विमेंस हॉकी टीम की बात करें तो पूल-ए में चौथे नंबर पर रहकर टीम क्वार्टर फाइनल में पहुंची थी। रानी रामपाल की कप्तानी वाली भारतीय विमेंस टीम को नीदरलैंड, जर्मनी और ग्रेट ब्रिटेन के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा। इसके बाद टीम ने टूर्नामेंट में वापसी करते हुए आयरलैंड और दक्षिण अफ्रीका को हराया और क्वार्टर फाइनल का टिकट कटाया। क्वार्टर फाइनल में शानदार प्रदर्शन करते हुए भारतीय विमेंट टीम ने ऑस्ट्रेलिया को 1-0 से हराकर सेमीफाइनल का टिकट कटाया। सेमीफाइनल में भारत को अर्जेंटीना के खिलाफ 1-2 से हार झेलनी पड़ी। जबकि ब्रॉन्ज मेडल के मैच में ग्रेट ब्रिटेन ने 4-3 से जीत दर्ज कर भारतीय विमेंस टीम के मेडल जीतने की उम्मीदों को तोड़ दिया। क्वार्टर फाइनल से ब्रॉन्ज मेडल के मैच तक भारतीय विमेंस हॉकी टीम ने अपने प्रदर्शन से करोड़ों फैन्स का दिल जीत लिया।

राजनांदगांव / शौर्यपथ / टोक्यो ओलंपिक में भारतीय हॉकी टीम ने तीसरा स्थान प्राप्त किया, उनकी इस जीत की खुशी पूरे भारत देश में मनाई जा रही है। हॉकी नर्सरी राजनांदगांव में भी छत्तीसगढ हॉकी व जिला हॉकी संघ राजनांदगांव के तत्वधान में अंतर्राष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम से मानव मंदिर चौक तक खिलाड़ियों द्वारा भव्य रैली निकालकर मानव मंदिर चौक में अतिशबाजी के साथ फटाका फोड़कर केक काटकर तथा मिठाई बांटकर खुशी मनाई गई।
इस अवसर पर श्रीमति हेमा सुदेश देशमुख महापौर नगर पालिक निगम, जितेन्द्र मुदलियर अध्यक्ष युवा आयोग छग शासन, हरिनारायाण (पप्पू) धकेता अध्यक्ष नगर पालिक निगम राजनांदगांव, कुलबीर सिंह छाबडा, अध्यक्ष शहर कांग्रेस कमेटी आदि की उपस्थिति में केक काटकर जीत का जश्न मनाया।
इसके पूर्व भारतीय हॉकी टीम की जीत पर शहर के गौरव पथ स्थित अंतर्राष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम में भी राज्य युवा आयोग के अध्यक्ष जितेन्द्र मुदलियार, छत्तीसगढ हॉकी संघ के अध्यक्ष फिरोज अंसारी, कुतबुद्दीन सोलंकी, रमेश डाकलिया, एलेक्सेडंर किरो, मृणाल चौबे व वरिष्ठ हॉकी खिलाडियों की उपस्थिति में खिलाड़ियों के बीच केक काटकर कर जीत कि खुशी मनाई गई।
भारतीय हॉकी टीम ने इतिहास रचते हुए 41 साल बाद ओलंपिक में पदक हासिल कर लिया है। भारतीय हॉकी टीम ने ओलंपिक में जर्मनी को 5-4 से हराते हुए कांस्य पदक अपने नाम कर लिया है। भारत ने ओलंपिक हॉकी में आखिरी स्वर्ण पदक 1980 में मॉस्को में जीता था, तब से भारत को हॉकी में पदक का इंतजार था, जिसे मौजूदा हॉकी टीम ने खत्म कर दिया। पुरूष हॉकी में भारत ने 8 गोल्ड मेडल जीते है। भारत ने ओलंपिक में सबसे ज्यादा मेंडल पुरूष हॉकी में जीते है।
टीम ने 1928, 1932, 1936, 1948, 1952, 1956, 1964, और 1980 ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीता था। इसके अलावा 1960 में सिल्वर और 1968, 1972 और 2021 (टोक्यो ओलंपिक 2020) में ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया है।
उक्त सभी कार्यक्रम में प्रमुख रूप से, सूर्यकांत जैन, विकास त्रिपाठी, हॉकी कोच भुषण सॉव, हॉकी कोच अनुराज श्रीवास्तव, सुश्री ऑशा थॉमस, दौलत चंदेल, गणेश प्रसाद शर्मा, आशोक यादव, अब्दुल कादिर, महेन्द्र सिंग ठाकुर, विरेन्द्र सिंग भाटिया, ज्ञानचंद जैन, कुमार स्वामी, राजु रंगारी, गुणवंत पटेल, डॉ. शास्त्री द्विवेदी, राम साहू, विकास वैष्णाव, अनिल यादव, राम अवतार जोशी, प्रिंस भाटिया, श्रीमति ममता गुप्ता, किशोर धीवर, विष्णु सिन्हा, तीरथ गोस्वामी, शब्बीर सोलंकी, मनीष गौतम, अजय झा, नरेश सिन्हा, सुरेश तराणे, लक्ष्मण यादव, शकिल अहमद, अश्विनी राजपूत आदि शामिल थे।

खेल / शौर्यपथ / इंग्लैंड की कंडीशन्स में बल्लेबाजी करना आसान नहीं होता है। यहां गेंद स्विंग करती है, विकेट में उछाल और तेजी होती है, ऐसे में टिककर खेल पाना काफी मुश्किल हो जाता है। टीम इंडिया के सलामी बल्लेबाज रोहित शर्मा ने केएल राहुल के साथ मिलकर टीम इंडिया को अच्छी शुरुआत दी। रोहित ने 107 गेंदों का सामना करके 36 रन बनाए। रोहित ने मैच के दूसरे दिन का खेल खत्म होने का बाद बताया कि इंग्लैंड की कंडीशन्स में बल्लेबाजी के लिए उन्होंने खुद में क्या बदलाव किए हैं।
रोहित ने दूसरे दिन का खेल खत्म होने के बाद कहा, 'हां, आपको काफी कुछ बदलना होता है और यह कुछ ऐसा जो मैंने भी किया है। जब गेंद स्विंग होती है तो आपके खेल के बहुत सारे तकनीकी पहलू होते हैं, जिसका आपको एक सलामी बल्लेबाज के रूप में इस्तेमाल करने की जरूरत होती है।' उन्होंने कहा, 'इन परिस्थितियों में खेलना कभी आसान नहीं होता, लेकिन आप मुश्किल परिस्थितियों में हमेशा खुद को एक बल्लेबाज के रूप में चुनौती देते हैं। मैं भी यही करने की कोशिश कर रहा हूं।'
उन्होंने कहा, 'मैंने अपनी तकनीक में भी कुछ बदलाव किए हैं। मैं क्रीज में ज्यादा हिलने-डुलने की कोशिश नहीं कर रहा हूं, बल्ले को शरीर के करीब रखते हुए जितना हो सके स्थिर रहने की कोशिश कर रहा हूं।' रोहित बल्लेबाजी के लिए मुश्किल परिस्थितियों का सामना करने के बाद पुल शॉट खेलने के कारण 36 रन पर आउट हो गए। उन्होंने इस शॉट का बचाव करते हुए कहा कि अगर गेंद उनकी पहुंच में रही तो वह शॉट खेलेंगे। खराब रोशनी और बारिश के कारण दिन में केवल 33.4 ओवर का खेल ही हो पाया, जिसमें भारत ने अपनी पहली पारी में चार विकेट पर 125 रन बनाए। तेज गेंदबाज जेम्स एंडरसन की अगुवाई में इंग्लैंड ने 15 रन के अंदर चार विकेट निकालकर भारत को बैकफुट पर ढकेल दिया। भारत इंग्लैंड के 183 रन से 58 रन पीछे है।

खेल /शौर्यपथ /19 सितंबर से युनाइटेड अरब अमीरात (यूएई) में इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) का दूसरा फेज खेला जाना है। इससे ठीक पहले न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम पांच मैचों की टी20 इंटरनेशनल सीरीज के लिए बांग्लादेश के दौरे पर जाएगी। बांग्लादेश और न्यूजीलैंड के बीच 1 से 10 सितंबर के बीच पांच मैचों की टी20 इंटरनेशनल सीरीज खेली जाएगी, जिसके सभी मैच ढाका के शेर-ए-बांग्ला स्टेडियम पर होंगे। इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (आईसीसी) ने इसकी घोषणा की है। बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड (बीसीसी) और इंग्लैंड एंड वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ईसीबी) ने आपसी सहमति से सितंबर में होने वाली लिमिटेड ओवर को मार्च 2023 तक के लिए स्थगित कर दिया था। आईपीएल में न्यूजीलैंड और बांग्लादेश दोनों देशों के क्रिकेटर्स हिस्सा लेंगे, ऐसे में टी20 सीरीज खत्म होते ही, आईपीएल में हिस्सा लेने वाले खिलाड़ी एकसाथ यूएई के लिए रवाना हो सकते हैं।
आईपीएल के तुरंत बाद आईसीसी टी20 वर्ल्ड कप खेला जाना है। टी20 वर्ल्ड कप 17 अक्टूबर से यूएई और ओमान में खेला जाना है। ऐसे में यह टी20 इंटरनेशनल सीरीज बांग्लादेश और न्यूजीलैंड दोनों टीमों के लिए काफी अहम साबित हो सकती है। टी20 वर्ल्ड कप यूएई और ओमान में खेला जाना है, ऐसे में बांग्लादेश की परिस्थितियों में खेलने का कीवी टीम को फायदा मिल सकता है। फिलहाल ऑस्ट्रेलियाई टीम बांग्लादेश के दौरे पर है और दोनों टीमों के बीच पांच मैचों की टी20 इंटरनेशनल सीरीज खेली जा रही है। बांग्लादेश सीरीज में 1-0 से आगे है।

खेल /शौर्यपथ /टीम इंडिया के स्टार टेस्ट बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा की धीमी बल्लेबाजी को लेकर हमेशा ही बहस होती रहती है। वहीं भारत के पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर उनके सपोर्ट में उतर आए हैं। गावस्कर का मानना है कि पुजारा का खेलने का तरीका बिल्कुल सही है और अगर टीम को यह सही नहीं लगता, तो उन्हें किसी और की तलाश कर लेनी चाहिए। मजबूत डिफेंस और तकनीक के लिए पहचाने जाने वाले पुजारा को खराब गेंदों पर रन नहीं बना पाने के कारण हाल के सालों में आलोचना का सामना करना पड़ा है। उन्हें हाल में न्यूजीलैंड के खिलाफ वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (डब्ल्यूटीसी) फाइनल के दौरान भी आलोचना की सामना करना पड़ा था।
गावस्कर ने कहा, 'पुजारा ने एक निश्चित तरीके से खेलने के कारण इंटरनेशनल लेवल पर जगह बनाई है, उसे उस तरीके पर विश्वास रखना होगा। अगर टीम को उसके तरीके पर भरोसा नहीं है तो वे किसी और को आजमाने की सोच सकते हैं।' पूर्व भारतीय कप्तान ने कहा, 'लेकिन इस तरीके ने उसके लिए काम किया है, भारत के काम आया है। वह एक छोर पर डटा रहता है जबकि शॉट खेलने वाले खिलाड़ी के पास दूसरे छोर पर शॉट खेलने का मौका होता है क्योंकि उसे पता है कि एक छोर पर मजबूत खिलाड़ी खड़ा है।'
उन्होंने कहा, 'मुझे लगता है कि उसे अपने ऊपर विश्वास रखना होगा और उस तरीके से खेलना जारी रखना होगा जिसे वह बेस्ट समझता है, क्योंकि सालों से उसने भारत के लिए शानदार काम किया है।' पुजारा डब्ल्यूटीसी के दो साल के पहले सीजन के दौरान एक भी शतक नहीं जड़ पाए और इस दौरान 30 से कम की औसत से रन बनाए। पुजारा बुधवार से इंग्लैंड के खिलाफ नॉटिंघम में शुरू हो रही पांच मैचों की सीरीज के दौरान खेलते नजर आएंगे।

खेल /शौर्यपथ / भारतीय महिला हॉकी टीम ने ओलंपिक के इतिहास में पहली बार सेमीफाइनल में जगह बनाई है। टोक्यो ओलंपिक में सोमवार को भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच महिला हॉकी का क्वार्टर फाइनल मैच खेला गया, जिसे भारतीय टीम ने 1-0 से अपने नाम कर लिया। गुरजीत सिंह के इकलौते गोल और इसके साथ मजबूत डिफेंस के दम पर भारतीय महिला हॉकी टीम ने यह ऐतिहासिक जीत दर्ज की। मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर से लेकर वीरेंद्र सहवाग तक तमाम दिग्गज क्रिकेटरों ने भारतीय महिला हॉकी टीम को जीत की बधाई दी है। सहवाग ने एक बार फिर बधाई देने का बिल्कुल यूनिक तरीका निकाला है। सहवाग ने भारतीय टीम को बधाई देने वाले ट्वीट के साथ ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट कोच जस्टिन लेंगर की एक वीडियो क्लिप शेयर की है।
यह वीडियो क्लिप तब की है, जब भारत ने ऑस्ट्रेलिया में गाबा टेस्ट जीतने के बाद चार मैचों की टेस्ट सीरीज पर 2-1 से कब्जा कर लिया था। उस टेस्ट सीरीज में टीम इंडिया के कई अहम खिलाड़ी चोट के चलते बाहर होते चले गए थे और युवा क्रिकेटरों ने जबर्दस्त प्रदर्शन करते हुए ऑस्ट्रेलिया की फुल स्ट्रेंथ टीम को मात दी थी। टेस्ट सीरीज गंवाने के बाद लेंगर ने कहा था कि कभी भी भारतीयों को हल्के में नहीं लेना चाहिए। सहवाग ने उस वीडियो क्लिप के इसी हिस्से को शेयर किया है। सहवाग ने ट्विटर पर लिखा कि भारतीय महिला हॉकी टीम ने खुद पर भरोसे और कभी ना हार मानने वाले जज्बे के साथ यह जीत दर्ज की।
सचिन तेंदुलकर ने लिखा, 'कल मेंस टीम और आज विमेंस हॉकी टीम, मजा आ गया देखकर। ओलंपिक के सेमीफाइनल में पहली बार जगह बनाने के लिए भारतीय महिला हॉकी टीम को बधाई। आपके पीछे पूरा देश खड़ा है।'
गुरजीत ने 22वें मिनट में पेनल्टी कॉर्नर पर यह अहम गोल किया। इसके बाद भारतीय टीम ने अपनी पूरी ताकत गोल बचाने में लगा दी, जिसमें वह सफल भी रही। गोलकीपर सविता ने बेहतरीन खेल दिखाया और बाकी डिफेंडर्स ने उनका अच्छा साथ दिया।

खेल / शौर्यपथ /जमैका की इलेन थॉम्पसन-हेरा ने महिलाओं के 100 मीटर फर्राटा दौड़ में फ्लोरेंस ग्रिफिथ जॉयनर की 33 साल पुराने ओलंपिक रिकॉर्ड को तोड़ते हुए शनिवार को लगातार दूसरी बार गोल्ड मेडल अपने नाम किया। उन्होंने 10.61 सेकंड का समय लिया जो ग्रिफिथ जॉयनर के 1988 सियोल ओलंपिक (1988) में बनाए 10.62 सेकंड के रिकॉर्ड से बेहतर है।
जमैका के दबदबे वाले में इस स्पर्धा में थॉम्पसन-हेरा ने अपनी हमवतन प्रतिद्वंद्वी शेली-एन फ्रेजर-प्राइस को 0.13 सेकंड से अंतर से पछाड़ा। उनके देश की ही शेरिका जैक्सन ने 10.76 सेकंड के समय के साथ कांस्य पदक जीता। बीजिंग ओलंपिक (2008) के बाद पहली बार जमैका के खिलाड़ियों ने किसी स्पर्धा के पदकों का सूपड़ा साफ किया है।
ओलंपिक में डेब्यू कर रहे चार गुणा 400 मिश्रित रिले स्पर्धा में पोलैंड ने आश्चर्यचकित प्रदर्शन के साथ गोल्ड जीता। इसका सिल्वर अमेरिका जबकि डोमिनिकन गणराज्य ने कांस्य पदक जीता। पुरुषों के चक्का फेंक में स्वीडन के खिलाड़ी पहले और दूसरे स्थान पर है। डेनियल स्टाल नेगोल्ड और साइमन पेटर्ससन ने इसका रजत अपने नाम किया।

खेल / शौर्यपथ / अमेरिकी बीएमएक्स राइडर कॉनोर फील्ड्स ओलंपिक खेलों के सेमीफाइनल स्पर्धा के दौरान गंभीर रूप से दुर्घटनाग्रस्त हो गए, जिसके बाद उन्हें एक अस्पताल के आईसीयू में भर्ती कराया गया। लास वेगास के 28 साल के फील्ड्स रियो ओलंपिक (2016) के गोल्ड मेडल विजेता है। शुक्रवार को सेमीफाइनल मुकाबले के दौरान गंभीर रूप से चोटिल होने के बाद वह सड़क पर बेहोश हो गए थे। अमेरिकी साइकिलिंग ने एक बयान में कहा कि उनके सिर में गंभीर चोट लगी थी, जिसके बाद ओलंपिक के लिए नियुक्त न्यूरोसर्जन को लगा कि उन्हें सर्जरी की जरूरत होगी लेकिन सीटी स्कैन की रिपोर्ट देखने के बाद चिकित्सकों का मानना है कि उन्हें सर्जरी की जरूरत नहीं पड़ेगी।
दुर्घटना में हालांकि फील्ड्स की पसलियों में फैक्चर हो गया और उनके फेफड़ों पर भी इसका असर पड़ा है। उनकी मां लिसा फील्ड्स ने बताया, 'कॉनोर ज्यादातर समय नींद में रह रहा, लेकिन जब नींद खुल रही तो वह बातचीत कर रहा है।' महामारी के कारण ओलंपिक में भाग लेने वाले खिलाड़ियों को परिवार को लाने की अनुमति नहीं है, ऐसे में फील्ड्स की मां लिसा और उनके पिता माइक अमेरिकी ओलंपिक टीम के मुख्य चिकित्सा अधिकारी से उनके स्वास्थ्य की जानकारी ले रहे है।
लिसा ने कहा, 'कॉनोर की अस्पताल में अच्छी देखभाल हो रही है। फील्ड्स शुरुआती दो हीट्स (रेस) के नतीजों के आधार पर पहले ही फाइनल में जगह पक्की कर चुके थे। तीसरे रेस में पहले टर्न (घुमाव) पर साइकिल से उछाल लेते समय वह गिर गए, जिसके बाद दो अन्य राइडरों से भी उनकी टक्कर हो गई। चिकित्सा अधिकारियों के पहुंचने तक वह अचेत अवस्था पर पड़े रहे।' इससे पहले ऑस्ट्रेलिया की साइकिलिस्ट साया साकाकिबारा भी शनिवार को रेस के दौरान चोटिल हो गईं और उन्हें स्ट्रेचर की मदद से हटाया गया।

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