December 07, 2025
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रायपुर

रायपुर (6278)

धमतरी ब्यूरो /राजशेखर नायर

रविवार को सांकरा 02 पर्यवेक्षक व ग्राम बोरई के सरपंच किरण देवी मोयर ने उपासना स्व सहायता समूह बोराई के रेडी टू ईट निर्माण केंद्र का निरीक्षण किया।
व खाद्य सामग्रियों की गुणवत्ता की जांच की साथ ही पोषण आहार निर्माण स्थल की स्वच्छता व रखरखाव की भी जांच की व गुणवत्तापूर्ण पाया ।
ज्ञात हो सप्ताह भर पूर्व कुछ ग्रामीणों ने आरोप लगाया की उपासना स्व सहायता समूह के रेडी टू ईट निर्माण सामग्री जो कि ग्राम के एक चक्की में पिसाने रखा गया था ।उनमें कुछ बोरियों में गंदगी वह कीड़े पाये गये। इस बात को लेकर कुछ ग्रामीणों ने काफी हंगामा मचाया।

शिकायत मिलने पर जिला अधिकारी महिला बाल विकास धमतरी द्वारा इस मामले की जांच की गई।
जांच पश्चात स्व सहायता समूह के कार्य पर रोक लगाई व पाया की उपसना स्वसहयता समूह द्वारा रेडी टू ईट सामग्री वितरण के पश्चात बची हुई सामग्री गेहूं व अन्य सामग्रियों की सफाई करने 8 बोरियों में चक्की के कर्मचारियों को सौंपा गया था ।जिसका सफाई के पश्चात आहार सामग्री निर्माण में इस्तेमाल किया जाना था।

महिला स्व सहायता समूह के अध्यक्ष ने बताया कि सामग्रियों की सफाई कार्य पूर्ण होने के पहले, कुछ महिलाओं द्वारा हंगामा किया गया और निराधार आरोप लगाया गया। जबकि इस माह का रेडी टू ईट सामग्री समूह द्वारा पहले ही वितरण कर दिया गया था। बची हुई सामग्रियों की सफाई के लिए चक्की के कर्मचारियों के पास छोड़ा गया था।
कर्मचारी पहले उन सामग्रियों की सफाई करते पश्चात सामग्रियों को उपयोग में लाया जाता।
पर ग्राम के कुछ महिलाओं ने इस बात को लेकर हंगामा खड़ा कर दिया व निराधार आरोप लगाने लगे।
जिलाधिकारी के निर्देशन पर रविवार को समूह के कार्यस्थल की व आहार सामग्रियों की जांच की गई व संतोष पूर्ण पाया गया।

Rajshekhar Nair/Dhamtari

जिले के सभी अनुविभागीय अधिकारी राजस्व और तहसीलदारों को कलेक्टर श्री जय प्रकाश मौर्य ने निर्देशित किया है कि नामांतरण, बंटवारा के दस प्रतिशत से अधिक प्रकरण एक माह से अधिक चलना नहीं चाहिए। उन्होंने सभी एसडीएम को नियमित रूप से तहसील कार्यालय का दौरा करने कहा, जिससे कि राजस्व न्यायालय के प्रकरणों को जल्दी निपटने में सहूलियत हो। कलेक्टर ने एसडीएम और तहसीलदारों को साफ तौर पर कहा है कि हर हाल में अगले तीन माह में 50 प्रतिशत से अधिक प्रकरणों का निपटारा सुनिश्चित किया जाए। साथ ही यह भी सुनिश्चित करने कहा कि, पटवारी प्रतिवेदन और फड़ बंटवारा प्रतिवेदन दस दिनों के भीतर पटवारी प्रस्तुत करे। उन्होंने राजस्व मामलों को गंभीरतापूर्वक और त्वरित गति से निपटाने पर बल दिया।
जिले में दूसरे चरण का धान चबूतरा निर्माण अब दस नवम्बर तक करना होगा, इसके तहत 151 चबूतरा बनाया जाना है तथा राज्य शासन के निर्देशानुसार प्राथमिकता से इसे पूरा करना है। कलेक्टर श्री मौर्य ने आज समय सीमा की बैठक के दौरान सभी मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जनपद पंचायत को इसे सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए पूरा करने के निर्देश दिए तथा गोबर खरीदी के लिए शेड निर्माण कराने भी कहा है। उन्होंने मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत श्रीमती नम्रता गांधी को प्रतिदिन धान चबूतरा निर्माण की समीक्षा करने के निर्देश दिए हैं। इसके अलावा कलेक्टर ने उन्होंने ब्लॉक में लोगों की समस्या सुलझाने के लिए छोटे-छोटे शिविर लगाने के निर्देश एसडीएम को दिए। साथ ही एसडीएम को निर्देशित करते हुए कलेक्टर ने कहा कि 31 अक्टूबर तक गिरदावरी का सत्यापन किया जाना है, अतः इस कार्य में पटवारियों को लगा दिया जाए। उन्होंने हाल में हुई बारिश से फसल क्षति का आंकलन कर प्रधानमंत्री फसल बीमा तथा जरूरत के हिसाब से आर.बी. सी. 6-4 के प्रकरण जल्द से जल्द तैयार करने के निर्देश सभी एसडीएम को दिए। साथ ही किसानों को फसल क्षति से बचाने में उपयोग की जाने वाली दवा की उचित सलाह देने कृषि अमले को क्षेत्र का नियमित रूप से दौरा करने कहा है। बैठक में खाद्य और सम्बन्धित विभाग को कलेक्टर ने कहा कि इस खरीफ मौसम में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की तैयारियां अभी से शुरू कर दे।
बैठक में कलेक्टर ने बताया कि जिले में कोरोना के प्रति जागरूकता लाने सघन अभियान चलाया जाएगा। इसमें मितानिन, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, स्कूल के शिक्षक, सचिव इत्यादि कीे सहभागिता से लोगों को समझाईश दी जाएगी। इस मौके पर कलेक्टर ने कोविड 19 के संक्रमण से बचाव के लिए सभी अधिकारियों को कार्यालयों में तथा क्षेत्र का दौरा करते समय अनिवार्य रूप से मास्क लगाने की हिदायत दी है। साथ ही समय-समय पर हाथ को धोने अथवा सेनिटाईज करने तथा सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने कहा है। बैठक में कलेक्टर ने समय सीमा पत्रों की समीक्षा कर अधिकारियों को इन्हें जल्द निपटाने के निर्देश दिए। मौके पर वनमंडलाधिकारी श्री अमिताभ बाजपेई, अपर कलेक्टर श्री दिलीप अग्रवाल सहित जिला स्तरीय अधिकारी और वीडियो काॅन्फ्रेंस के जरिए अनुविभागीय अधिकारी राजस्व तथा मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत इत्यादि ब्लॉक से बैठक में जुड़े रहे

धमतरी/ राजशेखर नायर

खेल एवं युवा कल्याण विभाग, छत्तीसगढ़ शासन द्वारा एक नवंबर को राज्य स्थापना दिवस के मौके पर प्रदेश के सर्वोत्कृष्ट खिलाड़ियों को गुण्डाधुर और महाराजा प्रवीरचंद भेजदेव पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। इसके तहत पुरस्कार स्वरूप एक लाख रूपए, अलंकरण फलक एवं प्रशस्ति पत्र से दिया जाता है, जिसके लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि 15 अक्टूबर तय की गई है। इस संबंध में अधिक जानकारी और आवेदन के प्रारूप के लिए विभागीय वेबसाईट www.sportsyw.cg.gov.in का अवलोकन किया जा सकता है।
खेल अधिकारी सुश्री सुधा कुमार ने बताया कि यह दोनों सम्मान ऐसे खिलाड़ियों को दिया जाएगा, जो भारत सरकार, खेल मंत्रालय द्वारा राष्ट्रीय स्तर के खेल अलंकरण के लिए विचार क्षेत्र में लिया जाता है। गौरतलब है कि गुण्डाधुर सम्मान ऐसे खिलाड़ियों को दिया जाएगा, जो सीनियर वर्ग की राष्ट्रीय चैम्पियनशिप अथवा राष्ट्रीय खेलों में छत्तीसगढ़ की ओर से भाग लेकर पदक प्राप्त किए हो अथवा अंतर्राष्ट्रीय खेल प्रतियोगिता में भारत का प्रतिनिधित्व किया हो। इसी तरह महाराजा प्रवीरचंद भंजदेव सम्मान वर्ष 2017-20 में तीरंदाजी के राष्ट्रीय चैम्यिनशिप में सीनियर वर्ग अथवा खेलों में छत्तीसगढ़ की ओर से भाग लेकर पदक प्राप्त किए हों अथवा तीरंदाजी के अंतर्राष्ट्रीय खेल प्रतियोगिता में भारत का प्रतिनिधित्व किया हो।

Dhamtari /राजशेखर नायर

नगरी के सिहावा थाना क्षेत्र के सेमरा मंदिर से चांदी का मुकुट, छत्र समेत अन्य सामग्री को पार करने वाले 2 आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। उनके कब्जे से चोरी की सामग्री भी बरामद कर ली गई है। यह जानकारी पुलिस अधीक्षक बीपी राजभानू ने दी।
00 क्या था पूरा मामला
उन्होंने बताया कि थाना सिहावा क्षेत्र में 16 सितंबर की रात्रि शीतला मंदिर सेमरा का दरवाजा व चैनल गेट का ताला तोड़कर अंदर प्रवेश कर अज्ञात आरोपियों ने एक नग चांदी का मुकुट, एक नग चांदी का छत्र, 1 जोड़ी चांदी का खड़ाऊं, एक नग सोने का लॉकेट को चुराकर फरार हो गए थे। जुमला कीमती ₹55500 को चोरी कर ले जाने की मौखिक रिपोर्ट पर थाना सिहावा में धारा 457, 380 भादंवि के तहत अपराध पंजीबद्ध कर किया गया। इसी प्रकार 26 और 30 सितंबर के मध्य शीतला मंदिर घटुला के दरवाजे का ताला तोड़कर अंदर प्रवेश कर मंदिर से एक नग चांदी का छत्र, एक नग कांस की थाली, एक कांस का लोटा, दो नग स्टील का धामा, खाना बनाने का एलमुनियम का टीन, एक बोरी में रखे 30 किलोग्राम चावल की चोरी हो गई थी। रिपोर्ट पर धारा 457, 380 भादवि के तहत अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया था।

00 आरोपियों तक कैसे पहुंची पुलिस
संपत्ति संबंधी अपराध की सूचना पुलिस अधीक्षक बीपी राजभानू को मिलने पर दोनों घटनाओं में मंदिर से चोरी हुए मशरुका एवं वारदात का तरीका एक होने से अज्ञात आरोपियों की तलाश हेतु थाना प्रभारी सिहावा को आवश्यक दिशा -निर्देश दिया गया। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक मनीषा ठाकुर रावटे एवं अनुविभागीय अधिकारी पुलिस नगरी नीतिश ठाकुर के मार्गदर्शन में थाना स्तर पर टीम गठित कर अज्ञात आरोपी एवं चोरी गए माल माशरुका की पतासाजी की जा रही थी।

घटनास्थल एवं उसके आसपास से प्राप्त तकनीकी साक्ष्यों एवं मुखबिर सूचना पर संदेही सिहावा निवासी आशाराम नागरची एवं भीतररास के सत्यनारायण नागरची को अभिरक्षा में लेकर कड़ाई से पूछताछ किया गया। उसने उक्त घटना को अंजाम देते हुए चोरी करना स्वीकार किया। आरोपी ने बताया कि उसने चोरी किए गए माल माशरुका को आपस में बंटवारा कर लिया था। उनके कब्जे से चोरी गए माल मशरुका को शत-प्रतिशत बरामदगी किया गया। घटना में प्रयुक्त टंगिया बरामद कर विधिवत गिरफ्तार किया गया। उन्हें न्यायिक रिमांड हेतु माननीय न्यायालय के समक्ष पेश कर किया गया।
00 इनकी रही सराहनीय भूमिका
उक्त संपूर्णकार्यवाही में थाना प्रभारी सिहावा विपिन कुमार लकड़ा, सहायक उप निरीक्षक राधेश्याम बंजारे, गैंदलाल साहू, प्रधान आरक्षक अजीत कुमार तारम, आरक्षक प्रमोद गाहड़े, मोहित साहू, योगेश सोम, भूपेंद्र पदमशाली, प्रदीप देव, जितेंद्र चंद्राकर, महिला आरक्षक आरती ध्रुव, हेमलता मरकाम, सहायक आरक्षक वीरेंद्र ध्रुव का सराहनीय योगदान रहा

धमतरी /नगरी /राजशेखर नायर

नगरी विकास खण्ड के ग्राम बोरई के ग्रामिणों ने आरोप लगाया की ग्राम में संचालित उपसना महिला स्वासहयता द्वारा चक्की में पिसा रहे रेडी टु ईट, पौष्टिक आहार के 8 बोरोंयों में रखे गए पौष्टिक आहार सामग्री का ग्रामीणों द्वारा निरीक्षण के दौरान, कुछ बोरीयों में पौष्टिक आहार समग्री के साथ चूड़ियों के कांच के टुकड़े ,मिट्टी ,कंकड़ , कीड़े जैसे चीज मिलने के गंभीर आरोप ग्रामीणों द्वारा लगाया गया। इस दौरान ग्राम की महिला सरपंच भी मौजूद थी।

ग्रामीणों का कहना है की पौष्टिक आहार में कांच के टुकड़े ,कीड़े व गंदगी का मिलना एक अति गंभीर बात है।
उपासना स्व सहायता समूह की गंभीर लापरवाही का नतीजा, बच्चों के स्वास्थ्य व जान भी ले सकती थी।

ग्रामीणों ने यह भी आरोप लगाया की ग्रामीणों द्वारा जब्ती बनाए गए 8 बोरी सामग्री को रात्रि में समूह के सदस्यों द्वारा गायब कर दिया गया।

शिकायत के बाद महिला बाल विकास के ब्लॉक प्रभारी अधिकारी द्वारा मामले की जांच की गई।
दुसरी तरफ ग्रामीण आरोप लगा रहे हैं कि जांच के नाम से लीपापोती की जा रही है व मामले को रफा-दफा करने का प्रयास किया जा रहा है।

महिला बाल विकास अधिकारी नगरी-
बोरई के ग्रामीणों की शिकायत के बाद उपसना स्व सहायता समूह के कार्य पर रोक लगा दी गई है
व जिला अधिकारी को इसकी जानकारी दे दी गई है।

उपसना महिला स्वसहयता बोरई के अध्यक्ष का कहना है की कुछ लोग समूह को बदनाम करने साजिश के तौर पर, निराधार आरोप लगा रहे हैं।

धमतरी जिला अधिकारी महिला बाल विकास-
प्रकरण कि मेरे द्वारा जांच की गई समूह को रेडी टू ईट सप्लाई कार्य से रोक दिया गया है ,आगामी आदेश तक ,पूरे गोडाउन और निर्माण इकाई को सेनीटाइज कर साफ-सफाई पुताई तथा गेहूं की सफाई करने के निर्देश दिए गए हैं यह कार्य 15 तारीख के पूर्व पूर्ण करने के निर्देश दिए गए हैं. स्टॉक मे जो ज्यादा गेहूं था, उसे अन्य समूहों में स्थानांतरित करने की कार्रवाई की जा रही है, 8बोरी जो खराब गेहूं था उसे साफ सफाई के लिए उस मिल में समुह द्वारा भेजा गया था, उसी दौरान ग्रामीणों ने उसे देखा व पंचनामा करके रखा गया था उसे समूह द्वारा नष्ट कर दिया गया ,इस शासकीय गेहूं की वसूली की कार्रवाई हेतु नोटिस संबंधित समूह को जारी किया जा रहा है ,आगे नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी

धमतरी ब्यूरो/ राजशेखर नायर

ग्रीष्मकालीन रबी फसल (धान) लगाने सिंचाई के लिए प्रस्तावित ग्रामवार सूची जारी की गई है। कार्यपालन अभियंता, जल संसाधन संभाग, कोड 90 श्री ए.के.पालड़िया से मिली जानकारी के मुताबिक वृहद परियोजना पैरी बांयी तट मुख्य नहर प्रणाली से तीन हजार हेक्टेयर क्षेत्र में रबी फसल (धान) लगाने सिंचाई के लिए पानी देना प्रस्तावित किया गया है। इनमें मगरलोड विकासखण्ड के ग्राम करेलीबड़ी में 700 हेक्टेयर, भोथीडीह 600 हेक्टेयर, ग्राम रांकाडीह में 400 हेक्टेयर, कुण्डेल में 390 हेक्टेयर, खिसोरा 280 हेक्टेयर, मोतिमपुर में 260 हेक्टेयर, हसदा में 195 हेक्टेयर, धौराभाठा में 100 हेक्टेयर, नवागांव 40 हेक्टेयर, भोथा में 20 हेक्टेयर तथा ग्राम आमाचानी में 15 हेक्टेयर क्षेत्र शामिल है।
इसी तरह छः लघु जलाशय से भी 248 हेक्टेयर क्षेत्र में ग्रीष्मकालीन रबी फसल (धान) लगाने सिंचाई के लिए पानी दिया जाना प्रस्तावित किया गया है। इनमें बकोरी जलाशय से ग्राम मड़ेली के 56 हेक्टेयर, बकोरी में 50 हेक्टेयर और ग्राम बनियातोरा में 24 हेक्टेयर क्षेत्र शामिल है। इसी तरह राजाडेरा जलाशय से ग्राम परसाबुड़ा में 20 हेक्टेयर, ग्राम रेंगाडीह में 18 और ग्राम राजाडेरा में 17 हेक्टेयर क्षेत्र में ग्रीष्मकालीन धान लगाने सिंचाई के लिए पानी देना प्रस्तावित किया गया है। भण्डारवाड़ी जलाशय से ग्राम भण्डारवाड़ी में 20 हेक्टेयर, बेलोरा जलाशय से ग्राम बेलोरा में 35 हेक्टेयर, अर्जुनी जलाशय से नगरी विकासखण्ड के ग्राम अर्जुनी में छः हेक्टेयर और गोरसानाला जलाशय से ग्राम गोरसानाला मेें दो हेक्टेयर क्षेत्र में ग्रीष्मकालीन रबी फसल (धान) के सिंचाई के लिए पानी दिया जाना प्रस्तावित किया गया है।

धमतरी ब्यूरो /राजशेखर नायर

कलेक्टर श्री जयप्रकाश मौर्य ने धमतरी विकासखंड के ग्राम डाही में आज आयोजित किसान चैपाल में शिरकत कर ग्रामीणों को आगामी रबी फसल में फसल चक्र परिवर्तन के संबंध में चर्चा कर उन्हें धान की फसल लेने के बजाय दलहन-तिलहन की खेती करने की समझाइश दी। साथ ही किसानों को दोनों फसलों की तुलनात्मक जानकारी देते हुए रबी फसल के तौर पर गेहूं, चना, सरसों, अलसी जैसी अर्ली वेरायटी की पैदावार लेने के लिए प्रोत्साहित किया।
ग्राम डाही के राजीव गांधी सेवा केन्द्र में आयोजित किसान चैपाल में उपस्थित किसानों से रू ब रू होते हुए कलेक्टर ने कहा कि जिले के किसान रबी फसल के तौर पर मुख्यतः धान की ही फसल लेते हैं, जबकि अन्य उतेरा फसल लगाकर भी वे अच्छी खासी आय अर्जित कर सकते हैं। उन्होंने प्रति एकड़ खेत में धान तथा गेहूं-चना की औसत पैदावार के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि कृषि विभाग के मैदानी अमले के सतत मार्गदर्शन में दलहन- तिलहन की खेती भी फायदेमंद साबित हो सकती है, बशर्ते किसान सकारात्मक सोच और तकनीकी जानकारी के साथ इसे अपनाएं। गेहूं, चना की पैदावार लेने में धान से काफी कम पानी की जरूरत होती है, वहीं फसल चक्र परिवर्तन से मिट्टी का उपजाऊपन संतुलित बना रहता है। इसके लिए खरीफ और रबी दोनों फसलें अर्ली वेरायटी की ली जानी चाहिए। इस दौरान कलेक्टर ने ग्रामीणों को कोरोना वायरस से डरने के बजाय बुद्धिमत्तापूर्वक लड़ने की सलाह दी। सर्दी, खांसी, बुखार जैसे लक्षणों वाले लोगों का चिह्नांकन कर इसकी सूचना स्वास्थ्य विभाग को मुहैया कराने की अपील की, जिससे संक्रमण को रोका जा सके। उन्होंने बताया कि कोरोना के सामान्य मरीजों को घरपर रखकर उपचार की सुविधा शासन द्वारा मुहैया कराई हा रही है, जबकि रक्तचाप, मधुमेह, दमा जैसी गंभीर बीमारियों से ग्रसित मरीजों का इलाज अस्पाल में भर्ती कर किया जाता है। जिले में कोविड-19 से ग्रस्त 48 मरीजों की मृत्यु हुई है, जिनमें से 44 अन्य बीमारियों से पीड़ित थे, यानी विशुद्ध कोरोना से मृत्यु होने वालों की संख्या सिर्फ 04 है।
इसके पहले, उप संचालक कृषि श्री जीएस कौशल ने कलेक्टर को जानकारी देते हुए बताया कि ग्राम डाही 360 हेक्टेयर कृषि भूमि है, जहां पर 312 हेक्टेयर रकबे में खरीफ तथा 146 हेक्टेयर में रबी फसल ली जाती है। उन्होंने आगे बताया कि उक्त ग्राम में रबी फसल वर्ष 2019-20 में चना 16.88 हेक्टेयर, गेहूं 1.07, तिवड़ा 126, सरसों 01, अलसी 0.16 तथा मटर की पैदावार 1.08 हेक्टेयर रकबे में ली गई थी। इसी प्रकार उक्त फसलों को लेने के लिए रकबे में वृद्धि करते हुए वर्तमान रबी वर्ष में चना 80 हेक्टेयर में, गेहूं 28, तिवड़ा 70, सरसों 20, अलसी 02 तथा मटर की पैदावार 17 हेक्टेयर क्षेत्र में लिए जाने का लक्ष्य ग्राम के 357 किसानों के द्वारा रखा गया है। किसान चैपाल में सहायक संचालक उद्यानिकी श्री डी एस कुशवाहा, कृषि विगाग के एसडीओ सहित काफी संख्या में स्थानीय कृषक एवं ग्रामीण उपस्थित थे।

धमतरी ब्यूरो/ राजशेखर नायर

कोविड 19 के संक्रमण से बचाव के मद्देनजर कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्री जय प्रकाश मौर्य ने जिले में दशहरा (विजयदशमी) पर्व पर रावण पुतला दहन के संबंध में आवश्यक निर्देश जारी किए हैं। इसके तहत पुतलों की ऊंचाई 10 फीट से अधिक नहीं हो तथा पुतला दहन किसी बस्ती रहवासी इलाके में नहीं किया जाए, बल्कि खुले स्थान पर किए जाने के निर्देश दिए गए हैं। पुतला दहन कार्यक्रम में समिति के मुख्य पदाधिकारी सहित किसी भी हाल में 50 से अधिक व्यक्ति शामिल नहीं होंगे तथा आयोजन के दौरान केवल पूजा करने वाले व्यक्ति शामिल होंगे। अनावश्यक भीड़ एकत्रित नहीं होने की जिम्मेदारी आयोजकों की होगी, जहां तक हो सके कार्यक्रम आॅनलाईन माध्यमों इत्यादि से प्रसारित किया जाए।
यह भी निर्देशित किया गया है कि पुतला दहन के दौरान आयोजन का वीडियोग्राफी कराया जाए तथा आयोजक एक रजिस्टर संधारित करेंगे, जिसमें पुतला दहन कार्यक्रम में आने वाले सभी व्यक्तियों के नाम, पता, मोबाईल नंबर दर्ज किया जाए। साथ ही आयोजन करने वाले व्यक्ति अथवा समिति चार सीसीटीवी कैमरा लगाएगा, ताकि उनमें से कोई भी व्यक्ति कोरोना संक्रमित होने पर कान्टेक्ट ट्रेसिंग किया जा सके। प्रत्येक समिति/आयोजक समय पूर्व सोशल मीडिया में यह जानकारी दें, कि कोविड 19 को ध्यान में रखते हुए कार्यक्रम सीमित रूप से किया जाएगा। पुतला दहन में कहीं भी सांस्कृतिक कार्यक्रम, स्वागत, भंडारा, प्रसाद वितरण, पंडाल लगाने की अनुमति नहीं होगी। आयोजन में उपस्थित प्रत्येक व्यक्ति को सोशल/फिजिक डिस्टेंसिंग, मास्क लगाना एवं समय-समय पर सेनेटाईजर का उपयोग करना अनिवार्य होगा। रावण पुतला दहन स्थल से 100 मीटर के दायरे में आवश्यकतानुसार अनिवार्य रूप से बेरिकेटिंग कराया जाए। आयोजन के दौरान किसी भी प्रकार के वाद्य यंत्र, ध्वनि विस्तारक यंत्र डीजे, धुमाल, बैंड पार्टी बजाने की अनुमति नहीं होगी। रावण पुतला दहन में किसी भी प्रकार के अतिरिक्त साज-सज्जा, झांकी की अनुमति नहीं होगी। समिति द्वारा सेनेटाईजर थर्मल स्क्रिनिंग, आॅक्सीमीटर, हैंडवाॅश एवं क्यू मैनेजमेंट सिस्टम की व्यवस्था की जाएगी। थर्मल स्क्रिनिंग में बुखार पाए जाने अथवा कोरोना से संबंधित कोई भी सामान्य या विशेष लक्षण पाए जाने पर कार्यक्रम में प्रवेश नहीं देने की जिम्मेदारी समिति/आयोजकों की होगी।
कार्यक्रम आयोजन के दौरान अग्निशमन की पर्याप्त व्यवस्था, यातायात नियमों का पालन इत्यादि अनिवार्य रूप से करना होगा। इस दौरान एन.जी.टी. एवं शासन द्वारा प्रदूषण नियंत्रण के लिए निर्धारित मानकों कोलाहल अधिनियम, भारत सरकार, माननीय सुप्रीम कोर्ट के दिशा-निर्देशों का अनिवार्य रूप से पालन करना होगा, नियमों का उल्लंघन करने पर समिति/आयोजक जिम्मेदार होंगे। यदि ऐसा व्यक्ति जो पुतला दहन स्थल पर जाने के कारण संक्रमित हो जाता है, तो इलाज का पूरा खर्च पुतला दहन आयोजक/समिति द्वारा किया जाएगा। कन्टेमेंट जोन में पुतला दहन की अनुमति नहीं होगी। यदि पुतला दहन कार्यक्रम की अनुमति के बाद उक्त क्षेत्र कन्टेमेंट जोन घोषित हो जाता है, तो तत्काल कार्यक्रम निरस्त माना जाएगा एवं कन्टेनमेंट जोन के सभी निर्देशों का अनिवार्य रूप से पालन करना होगा।
एक आयोजन स्थल से दूसरे आयोजन स्थल की दूरी पांच सौ मीटर से कम नहीं हो तथा आयोजन स्थल के लिए पहले आओ, पहले पाओ की नीति के तहत पहले प्राप्त आवेदनों को प्राथमिकता दी जाएगी। इन सभी शर्तों के अतिरिक्त भारत सरकार, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के अंतर्गत जारी एसओपी का पालन अनिवार्य रूप से करना होगा। उक्त शर्तों का उल्लंघन अथवा किसी प्रकार की अव्यवस्था होने पर इसकी समस्त जिम्मेदारी आयोजन समिति की होगी, जिनके विरूद्ध वैधानिक कार्रवाई की जाएगी। उक्त शर्तों के अधीन 10 दिनों के पूर्व नगरीय निकाय एवं स्थानीय निकाय में निर्धारित शपथ पत्र मय आवेदन देना होगा एवं अनुमति मिलने के बाद ही पुतला दहन की अनुमति होगी। निर्देशों का उल्लंघन करने पर एपीडेमिक डिसीज एक्ट एवं विधि अनुकूल नियमानुसार अन्य धाराओं के तहत कठोर कार्रवाई की जाएगी।

धमतरी ब्यूरो/ राजशेखर

धमतरी विकासखण्ड के डूबान क्षेत्र की ग्राम पंचायत चिखली में आज राजस्व शिविर लगाया गया, जिसमें कलेक्टर श्री जय प्रकाश मौर्य ग्रामीणों की समस्याएं सुनकर अधिकारियों को उचित कार्रवाई के लिए निर्देशित किया। ग्राम पंचायत चिखली में आयोजित शिविर में जहां कलेक्टर ने ग्रामीणों से सिलसिलेवार समस्याएं सुनीं। इस दौरान प्रधानमंत्री आवास योजना, स्कूल भवन मरम्मत, कृषि उपकरण पर अनुदान से संबंधित समस्याओं के बारे में ग्रामीणों ने कलेक्टर को अवगत कराया, जिस पर कलेक्टर ने राजस्व से संबंधित लंबित प्रकरणों को अगले 15 दिनों के भीतर निराकृत करने एसडीएम धमतरी श्री मनीष मिश्रा को दिए, साथ ही उप संचालक कृषि से चर्चा कर कृषि उपकरण अनुदान से संबंधित पेचीदगी को दूर करने के लिए निर्देशित किया। इस दौरान कलेक्टर ने ग्रामीणों को कोविड-19 से नहीं डरने की समझाइश देते हुए इससे बचने के लिए आवश्यक उपाय करने, हैण्डवाॅश, सैनिटाइजर तथा मास्क का उपयोग करने तथा यथासंभव अधिकांश समय घर पर व्यतीत करने की बात कही। आज आयोजित राजस्व शिविर में बंदोबस्त त्रुटि सुधार के 09, कब्जा संबंधी त्रुटि के 06, फौती नामांतरण के 52 प्रकरणों का निराकरण किया गया। इसके अलावा बी-1 और गिरदावरी सूची के प्रतिवेदन का पाठन ग्रामीणों के समक्ष किया गया। इस अवसर पर स्थानीय सरपंच एवं पंचगण, राजस्व विभाग के अधिकारी-कर्मचारी सहित ग्रामीणजन  उपस्थित थे

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