July 02, 2025
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धर्म संसार / शौर्यपथ / प्रभु यीशु के जन्म की ख़ुशी में मनाया जाने वाला क्रिसमस का त्योहार पूरी दुनिया में मनाया जाता है। यह त्योहार कई मायनों में बेहद खास है। क्रिसमस को बड़ा दिन, सेंट स्टीफेंस डे या फीस्ट ऑफ़ सेंट स्टीफेंस भी कहा जाता है। प्रभु यीशु ने दुनिया को प्यार और इंसानियत की शिक्षा दी। उन्होंने लोगों को प्रेम और भाईचारे के साथ रहने का संदेश दिया। प्रभु यीशु को ईश्वर का इकलौता प्यारा पुत्र माना जाता है। इस त्योहार से कई रोचक तथ्य जुड़े हैं। आइए जानते हैं इनके बारे में।
क्रिसमस ऐसा त्योहार है जिसे हर धर्म के लोग उत्साह से मनाते हैं। यह एकमात्र ऐसा त्योहार है जिस दिन लगभग पूरे विश्व में अवकाश रहता है। 25 दिसंबर को मनाया जाने वाला यह त्योहार आर्मीनियाई अपोस्टोलिक चर्च में 6 जनवरी को मनाया जाता है। कई देशों में क्रिसमस का अगला दिन 26 दिसंबर बॉक्सिंग डे के रूप मे मनाया जाता है। क्रिसमस पर सांता क्लॉज़ को लेकर मान्यता है कि चौथी शताब्दी में संत निकोलस जो तुर्की के मीरा नामक शहर के बिशप थे, वही सांता थे। वह गरीबों की हमेशा मदद करते थे उनको उपहार देते थे। क्रिसमस के तीन पारंपरिक रंग हैं हरा, लाल और सुनहरा। हरा रंग जीवन का प्रतीक है, जबकि लाल रंग ईसा मसीह के रक्त और सुनहरा रंग रोशनी का प्रतीक है। क्रिसमस की रात को जादुई रात कहा जाता है। माना जाता है कि इस रात सच्चे दिल वाले लोग जानवरों की बोली को समझ सकते हैं। क्रिसमस पर घर के आंगन में क्रिसमस ट्री लगाया जाता है। क्रिसमस ट्री को दक्षिण पूर्व दिशा में लगाना शुभ माना जाता है। फेंगशुई के मुताबिक ऐसा करने से घर में सुख समृद्धि आती है। पोलैंड में मकड़ी के जालों से क्रिसमस ट्री को सजाने की परंपरा है। मान्यता है कि मकड़ी ने सबसे पहले जीसस के लिए कंबल बुना था।

मुख्यमंत्री साय भैंसा में आयोजित सुशासन तिहार में ग्रामीणों से हुए रूबरू
'विकसित कृषि संकल्प अभियान' के लिए 10 जागरूकता रथों को दिखाई हरी झंडी
भैंसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, पानी टंकी, हायर सेकेंडरी स्कूल भवन सहित विभिन्न विकास कार्यों के लिए दी ₹3.5 करोड़ की सौगात
नवीन पुलिस चौकी की स्थापना की घोषणा
समाधान शिविर में 110 हितग्राहियों को प्रधानमंत्री आवास की चाबी सौंपी
 रायपुर/शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज रायपुर जिले के ग्राम भैंसा में आयोजित सुशासन शिविर में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने देशभर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में 29 मई से 12 जून तक चलने वाले 'विकसित कृषि संकल्प अभियान' के तहत 10 जागरूकता रथों को हरी झंडी दिखाकर अभियान की शुरुआत की।
शिविर में मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत निर्मित 110 पक्के मकानों की चाबी हितग्राहियों को सौंपी, और कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी का संकल्प है कि देश का कोई भी गरीब परिवार कच्चे मकान में न रहे। हमारी सरकार इस संकल्प को साकार करने हेतु छत्तीसगढ़ में 18 लाख से अधिक प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत कर चुकी है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि बचे हुए पात्र परिवारों को ‘आवास प्लस प्लस’ योजना के अंतर्गत जोड़ा जाएगा।
मुख्यमंत्री ने ग्राम भैंसा और आसपास के क्षेत्रों के विकास के लिए करीब 3 करोड़ 50 लाख रुपए की लागत वाले विभिन्न कार्यों की घोषणा की। इसमें ग्राम भैंसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 75 लाख रुपए, हाईस्कूल भवन निर्माण के लिए 75 लाख रुपए, पानी टंकी एवं पाइपलाइन विस्तार हेतु 55 लाख रुपए, हायर सेकेंडरी स्कूल निर्माण हेतु 50 लाख रुपए, अहाता एवं शेड निर्माण हेतु 20 लाख रुपए, ग्राम अमोड़ी में पाइपलाइन विस्तार हेतु 42 लाख रुपए, हायर सेकेंडरी स्कूल में तीन अतिरिक्त कक्षों के निर्माण हेतु 24 लाख रुपए की राशि प्रदान करने की घोषणा की। इसके अतिरिक्त उन्होंने भैंसा में नवीन पुलिस चौकी खोलने की भी घोषणा की।
मुख्यमंत्री साय ने समाधान शिविर के दौरान विभिन्न हितग्राहियों से योजनाओं के फीडबैक भी लिए। श्रीमती चंदन ने 'महतारी वंदन योजना' के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करते हुए बताया कि वे इस योजना की राशि का उपयोग बच्चों की पढ़ाई और आवश्यक जरूरतों में करती हैं।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि सुशासन तभी सार्थक होता है जब उसकी गूंज गांव-गांव और  घर-घर तक सुनाई दे। आज प्रधानमंत्री आवास की चाबियाँ सिर्फ मकान की नहीं, बल्कि आत्मसम्मान और सुरक्षित जीवन की चाबियाँ हैं।

स्कूलों में पढ़ाई की गुणवत्ता सुधारने की दिशा में बड़ा कदम: राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप 10,463 शालाओं का युक्तियुक्तकरण

रायपुर / शौर्यपथ / मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ सरकार ने स्कूली शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने के उद्देश्य से एक बड़ा फैसला लिया है। शिक्षा विभाग ने राज्य में कुल 10,463 शालाओं के युक्तियुक्तकरण का आदेश जारी किया है, जिसमें ई-संवर्ग की 5849 और टी-संवर्ग की 4614 शालाएं शामिल हैं। यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है।

यह युक्तियुक्तकरण आदेश राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 और शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 के निर्देशों के अनुरूप है, जिसका मुख्य उद्देश्य शैक्षणिक संसाधनों का संतुलित और प्रभावी उपयोग सुनिश्चित करना है।

मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने कहा है कि स्कूल शिक्षा विभाग का दूरदर्शी निर्णय स्कूल शिक्षा को बेहतर, समावेशी और प्रभावशाली बनाने की दिशा में एक सशक्त पहल है।मुख्यमंत्री श्री साय  ने स्कूलों के युक्तियुक्तकरण को लेकर शिक्षा विभाग के निर्णय की सराहना करते हुए कहा है कि यह कदम प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था को नई दिशा देने वाला है। उन्होंने कहा कि यह निर्णय न केवल शिक्षकों के संसाधनों का बेहतर उपयोग सुनिश्चित करेगा, बल्कि विद्यार्थियों को भी गुणवत्तापूर्ण और निरंतर शिक्षा प्राप्त करने का अवसर देगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि एक ही परिसर में विभिन्न स्तरों के विद्यालयों का समायोजन, न केवल प्रशासनिक दृष्टि से उपयोगी है, बल्कि इससे शिक्षा की निरंतरता बनी रहेगी और छात्र ड्रॉपआउट की समस्या से भी मुक्ति मिलेगी। इससे स्कूली वातावरण अधिक प्रभावशाली बनेगा और बच्चों का आत्मविश्वास भी बढ़ेगा।

उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप उठाया गया यह कदम छत्तीसगढ़ को शिक्षा के क्षेत्र में एक अग्रणी राज्य बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।

स्कूल शिक्षा सचिव श्री सिद्धार्थ कोमल परदेशी ने जानकारी दी कि शालाओं के युक्तियुक्तकरण अंतर्गत एक ही परिसर में संचालित 10,297 विद्यालयों को युक्तियुक्त किया गया है। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्र में एक किलोमीटर के दायरे में स्थित 133 विद्यालयों और शहरी क्षेत्र में 500 मीटर के दायरे में स्थित 33 विद्यालयों को भी युक्तियुक्त किया गया है। उन्होंने बताया कि इस पहल से शिक्षक विहीन एवं एकल शिक्षकीय शालाओं में अब अतिशेष शिक्षकों की तैनाती संभव होगी। इससे शिक्षा की गुणवत्ता में भी सीधा सुधार देखने को मिलेगा। युक्तियुक्तकरण के कारण शिक्षकों की अतिरिक्त उपलब्धता सुनिश्चित हो सकेगी, जिससे अन्य जरूरतमंद शालाओं में भी संतुलन बन पाएगा। इस समायोजन से स्थापना व्यय में भी कमी आएगी, जिससे शैक्षणिक ढांचे पर अधिक निवेश संभव होगा।

स्कूल शिक्षा सचिव ने जानकारी दी कि एक ही परिसर में पढ़ाई की निरंतरता बने रहने से बच्चों की ड्रॉपआउट दर घटेगी, और छात्र ठहराव दर में सुधार होगा।शालाओं के युक्तियुक्तकरण से बच्चों को बार-बार प्रवेश लेने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी, जिससे उनकी शिक्षा यात्रा अधिक सहज और निरंतर होगी। उन्होंने कहा कि युक्तियुक्तकरण से विद्यालय परिसरों में बेहतर अधोसंरचना तैयार करना भी सरल होगा, जिसमें पुस्तकालय, कंप्यूटर लैब, विज्ञान प्रयोगशाला और खेल सुविधाएं साझा की जा सकेंगी। राज्य सरकार का यह कदम राष्ट्रीय शिक्षा नीति में प्रस्तावित क्लस्टर विद्यालय अवधारणा के अनुरूप है, जहां एकीकृत परिसर में प्राथमिक से उच्च माध्यमिक स्तर तक की पढ़ाई सुनिश्चित की जाती है। उन्होंने कहा कि  इस प्रक्रिया में केवल प्रशासनिक समन्वय किया गया है, न कि किसी पद को समाप्त किया गया है। इस कदम से शिक्षकों का न्यायसंगत वितरण संभव होगा और बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा अधिक सुलभ रूप से उपलब्ध हो सकेगी। शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 के तहत छात्रों और शिक्षकों के अनुपात के प्रावधानों का पालन करते हुए युक्तियुक्तकरण किया गया है, जिसकी राज्य में  शैक्षणिक गुणवत्ता के स्तर को बेहतर करने में महत्वपूर्ण भूमिका होगी।

"छत्तीसगढ़ सरकार की यह पहल न केवल वर्तमान शैक्षणिक ढांचे को सुदृढ़ करेगी, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक स्थायी, सशक्त और समावेशी शिक्षा व्यवस्था का आधार तैयार करेगी।स्कूल शिक्षा विभाग का स्कूलों के युक्तियुक्तकरण का दूरदर्शी निर्णय प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था को बेहतर, समावेशी और प्रभावशाली बनाने की दिशा में एक सशक्त पहल है।युक्तियुक्तकरण से न केवल शैक्षणिक संसाधनों का न्यायसंगत वितरण सुनिश्चित होगा, बल्कि बच्चों को गुणवत्तापूर्ण और निरंतर शिक्षा प्राप्त करने का अवसर भी मिलेगा। यह छत्तीसगढ़ को शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।"

    - मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय

अभियान की सघन निगरानी हेतु आयुक्त स्वास्थ्य सेवाएं, सभी जिलों के कलेक्टर और स्वास्थ्य अधिकारी उतरे फील्ड में
सभी जिला अस्पताल, सिविल अस्पताल, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र व चिन्हांकित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में हर माह 9 और 24 को की जा रही गर्भवती महिलाओं  की जांच, हाई रिस्क मामलों की पहचान पर ज़ोर
आयोजित अभियान के दौरान कुल 800 से अधिक PMSMA जांच सत्र आयोजित कर लगभग 30 हज़ार गर्भवती महिलाओं की जांच की गई व 9000 से अधिक उच्च जोखिम महिलाओं को स्वास्थ्य लाभ प्रदाय किया गया
रायपुर/शौर्यपथ /प्रदेश सरकार प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत राज्य की गर्भवती महिलाओं को गुणवत्तापूर्ण और सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने हेतु निरंतर प्रयासरत है। इसी क्रम में राज्य के समस्त जिलों में अभियान के तहत प्रत्येक माह की 9 और 24 तारीख को गर्भवती महिलाओं की जांच व उच्च जोखिम गर्भवती महिलाओं की पहचान की जा रही है।  इस दौरान गर्भवती महिलाओं की नि:शुल्क स्वास्थ्य जांच, उच्च जोखिम वाली गर्भावस्था की पहचान और समुचित प्रबंधन व चिकित्सकीय परामर्श उपलब्ध कराया जा रहा है।
 इस अभियान के प्रभावस्वरूप छत्तीसगढ़ में मातृ मृत्यु दर में उल्लेखनीय कमी दर्ज की गई है। सैंपल रजिस्ट्रेशन सिस्टम के आंकड़ों के अनुसार, वर्ष 2004-06 में राज्य का मातृ मृत्यु अनुपात 335 प्रति एक लाख जीवित जन्म था, जो अब घटकर 132 पर आ गया है। हालांकि यह आंकड़ा अभी भी राष्ट्रीय औसत (93) से अधिक है, जिसे ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने इस दिशा में और अधिक ठोस और योजनाबद्ध प्रयासों की रूपरेखा तैयार की है।
जिलों से प्राप्त जानकारी के आधार पर प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के अंतर्गत कुल 800 से अधिक सत्रों का सफल आयोजन किया गया। इन सत्रों में से 360 PMSMA सत्रों की निगरानी राज्य तथा जिला स्तर के अधिकारियों द्वारा प्रभावी रूप से की गई तथा आयोजित सत्रों के दौरान लगभग 30 हज़ार गर्भवती महिलाओं ने मातृ स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ प्राप्त किया। इनमें से लगभग 9000 से अधिक महिलाएं उच्च जोखिम गर्भावस्था (हाई रिस्क प्रेग्नेंसी) की श्रेणी में चिन्हित की गईं, जिन्हें विशेष चिकित्सकिया देखभाल प्रदान किया गया ।
गौरतलब है कि अधिकांश मातृ मृत्यु के पीछे उच्च जोखिम गर्भावस्था से जुड़ी जटिलताएं प्रमुख कारण हैं। ऐसे में समय रहते HRP की पहचान, उचित उपचार एवं सतत निगरानी अभियान के प्रमुख उद्देश्य बनाए गए हैं।
इस संदर्भ में राज्य के समस्त जिलों में स्वास्थ्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों एवं कलेक्टरों द्वारा अस्पतालों का निरीक्षण किया गया। चिकित्सकीय व्यवस्थाओं की समीक्षा के साथ-साथ मातृ स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता सुधार हेतु आवश्यक दिशा-निर्देश भी जारी किए गए।
स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल ने इस अभियान की सराहना करते हुए कहा, “हर गर्भवती महिला को सुरक्षित मातृत्व का अधिकार है, और प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान इस दिशा में एक सशक्त एवं प्रभावी कदम है। राज्य सरकार की प्रतिबद्धता है कि छत्तीसगढ़ की हर महिला को सुरक्षित प्रसव की सुविधा मिले।”
उन्होंने आगे कहा कि इस अभियान के माध्यम से न केवल प्रसवपूर्व जांच, रक्त की जांच, अल्ट्रासाउंड, वजन एवं रक्तचाप की निगरानी जैसी महत्वपूर्ण सेवाएं दी जा रही हैं, बल्कि पोषण संबंधी परामर्श भी प्रदान किया जा रहा है। इससे विशेष रूप से ग्रामीण और पिछड़े क्षेत्रों की महिलाओं को बड़ा लाभ मिल रहा है।
अभियान के दौरान अब तक हजारों महिलाओं को लाभ मिला है, जिनमें से कई उच्च जोखिम गर्भावस्था की समय रहते पहचान होने से समुचित उपचार प्राप्त कर सकीं। राज्य सरकार का मानना है कि यदि इस पहल का धरातल पर बेहतर व  सुचारु क्रियान्वयन किया जाए तो छत्तीसगढ़ में मातृ मृत्यु दर को राष्ट्रीय औसत से भी नीचे लाया जा सकता है।
अभियान की सघन निगरानी सुनिश्चित करने हेतु सभी जिला कलेक्टरों और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि वे प्रत्येक अस्पताल की गुणवत्ता की निगरानी करें और यह सुनिश्चित करें कि सभी गर्भवती महिलाओं को समय पर समुचित सेवाएं प्राप्त हों। छत्तीसगढ़ सरकार मातृत्व स्वास्थ्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए इस अभियान को और अधिक प्रभावी बनाने के लिए कटिबद्ध है।

रायपुर/शौर्यपथ /बीजापुर जिले में इस वर्ष 1,21,600 मानक बोरा तेंदूपत्ता संग्रहण का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। संग्रहण कार्य 9 मई 2025 से प्रारंभ हुआ था और 21 मई तक कुल 12,226.638 मानक बोरा का संग्रहण सफलतापूर्वक किया जा चुका है। प्रबंध संचालक जिला वनोपज सहकारी यूनियन मर्यादित बीजापुर ने बताया है कि तेंदूपत्ता संग्राहकों को उनके परिश्रम का पूरा मूल्य उन्हें समय पर और सुरक्षित रूप से मिलेगा।
प्रबंध संचालक जिला वनोपज सहकारी यूनियन मर्यादित बीजापुर ने स्पष्ट किया है कि यह नुकसान संग्राहकों पर नहीं डाला जाएगा। बीमा पॉलिसी के अंतर्गत प्राकृतिक आपदा के कारण हुई इस क्षति के लिए इंश्योरेंस कंपनी को क्लेम पहले ही प्रस्तुत किया जा चुका है। सभी संग्राहकों को उनके मेहनताना की पूरी राशि उनके बैंक खातों में ऑनलाइन सॉफ्टवेयर प्रणाली के माध्यम से ट्रांसफर की जाएगी।
उल्लेखनीय है कि समिति देपला के फड़ कोत्तागुड़ा, गोरगुंडा-अ$ब, पोषडपल्ली, कारकावाया एवं समिति चेरपल्ल्ी के लॉट क्रमांक 12 अ चेरपल्ली के फड़ चिल्लामरका का संग्रहित तेंदूपत्ता की गड्डियां नदी किनारे सुखाई जा रही थी और 22 मई की रात हुई बेमौसम बारिश और 23 मई को नदी में अचानक जलस्तर बढ़ने के कारण तेंदूपत्ता की 4,60,840 गड्डियों में से 3,23,539 गड्डियां तेज बहाव में बह गईं। इससे लगभग 17.79 लाख रूपए की तेंदूपत्ता क्षतिग्रस्त हुई।

रायपुर/शौर्यपथ /प्रदेश के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री लखन लाल देवांगन सोमवार 26 मई क़ो सवेरे 10 बजे कलेक्टर कार्यालय परिसर कोरबा में जिला प्रशासन द्वारा कक्षा 10 एवं 12 वीं के मेरिट स्थान वाले विद्यार्थियों क़ो नीट/जेईई निःशुल्क कोचिंग हेतु रायपुर  प्रस्थान कार्यक्रम में शामिल होंगे।

बस्तर क्षेत्र के बच्चों में साइंस का पैशन, खेल में भी कर रहे हैं कमालः प्रधानमंत्री
दंतेवाड़ा में कभी माओवाद चरम पर था, वहां आज शिक्षा का परचम लहरा रहाः प्रधानमंत्री
बस्तर क्षेत्र और दंतेवाड़ा के जिक्र पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने जताया प्रधानमंत्री का आभार
रायपुर/शौर्यपथ /प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज अपने मन की बात की 122वीं कड़ी में देश के सामने अपनी बातों को रखा। मन की बात की ये कड़ी छत्तीसगढ़ के लिए काफी खास रही। प्रधानमंत्री ने छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में किए जा रहे कार्यों की तारीफ करते हुए कहा कि जिस दंतेवाड़ा में कभी माओवाद चरम पर था, वहां आज शिक्षा का परचम लहरा रहा है। प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में छत्तीसगढ़ में हुए बस्तर ओलंपिक  और माओवाद प्रभावित क्षेत्रों में साइंस लैब के बारे मे जिक्र किया। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के माओवाद प्रभावित क्षेत्रों के बच्चों में साइंस का पैशन है और वो खेलों में भी कमाल कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने बस्तर क्षेत्र का जिक्र करते हुए कहा है कि इस तरह के प्रयासों से पता चलता है कि इन इलाकों में रहने वाले लोग कितने साहसी होते हैं। इन लोगों ने तमाम चुनौतियों के बीच अपने जीवन को बेहतर बनाने की राह चुनी है। प्रधानमंत्री ने कहा कि मुझे यह जानकार भी बहुत खुशी हुई कि 10वीं और 12वीं की परीक्षाओं में दंतेवाड़ा जिले के नतीजे बहुत शानदार रहे हैं। करीब पंचानबे ( नाइंटी पाइव) प्रतिशत रिजल्ट ये जिला 10वीं के नतीजों में टॉप पर रहा, वहीं 12वीं की परीक्षा में इस जिले ने छत्तीसगढ़ में छठा स्थान हासिल किया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देशवासियों से बस्तर क्षेत्र का उदाहरण देते हुए कहा कि ऐसे बदलाव हम सभी को गर्व से भर देते हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के द्वारा मन की बात की 122वीं कड़ी में बस्तर क्षेत्र और दंतेवाड़ा का जिक्र करने पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त किया है। मुख्यमंत्री ने कहा है कि छत्तीसगढ़ की सरकार प्रधानमंत्री के विकसित भारत के नक्शे कदम पर चल रही है और विकसित छत्तीसगढ़ इस अभियान में अपना महत्वपूर्ण योगदान निभाएगा।

- उत्साह एवं ऊर्जा के साथ मीडिया प्रतिनिधि, बच्चे एवं युवा बड़ी संख्या में हुए शामिल
राजनांदगांव/शौर्यपथ  भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) द्वारा खेलो इंडिया फिट इंडिया अंतर्गत स्वास्थ्य एवं फिटनेस के प्रति जागरूकता लाने के लिए आज अंतर्राष्ट्रीय एस्ट्रोटर्फ हॉकी स्टेडियम गौरव पथ राजनांदगांव में सुबह मीडिया प्रतिनिधियों के लिए फिट इंडिया संडे सायकिलिंग रैली कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में मीडिया प्रतिनिधि एवं साई हॉस्टल के बच्चे उपस्थित रहे। इस अवसर पर संयुक्त संचालक जनसंपर्क डॉ. उषा किरण बड़ाईक ने सायकल रैली को झण्डी दिखाकर रवाना किया। उत्साह एवं ऊर्जा के साथ मीडिया प्रतिनिधियों के साथ बच्चों एवं युवाओं ने भी सायकल रैली में भाग लिया। खुशी जाहिर करते हुए सभी ने सेल्फी जोन में सेल्फी ली।
संयुक्त संचालक जनसंपर्क डॉ. उषा किरण बड़ाईक ने कहा कि मीडिया प्रतिनिधि कठिन परिश्रम करते है और उनकी दिनचर्या थोड़ी अव्यवस्थित होती है। ऐसे में स्वास्थ्य का ध्यान रखना उनके लिए चुनौतीपूर्ण होता है। इसे ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य के प्रति ध्यान देना बहुत जरूरी है। इस सायकल रैली के माध्यम से मीडिया के प्रतिनिधियों में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता लाने का प्रयास किया गया है, ताकि वे अपने स्वास्थ्य के प्रति सजग रहते हुए फिजिकल एक्टीविटी को अपनी दिनचर्या में शामिल करें। साई हॉस्टल के प्रभारी एवं बास्केटबाल कोच श्री पंकज पाण्डेय ने कहा कि मीडिया प्रतिनिधियों में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता लाने के लिए प्रयास किया गया, ताकि जो समय नहीं निकाल पा रहे है, वे रविवार को समय निकालकर फिटनेस के लिए कार्य करें। उन्होंने बताया कि हर रविवार को डॉक्टर, नर्स, पुलिस, बार काउंसलिंग के साथ सायकल रैली का आयोजन किया गया है। कार्य के बावजूद अपने स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए समय निकालकर प्रतिदिन सायकल चलाने एवं अन्य गतिविधियों को अपनाना चाहिए।
वरिष्ठ पत्रकार श्री संदीप साहू ने कहा कि सायकल रैली के माध्यम से पत्रकर साथियों को इस आयोजन से जोड़ा गया है। सुबह उठ कर सायकल या कोई भी एक फिजिकल एक्टिीविटी जरूर अपनाएं, जिससे आप स्वस्थ महसूस करेंगे। उन्होंने इस योजना के लिए साई तथा जनसंपर्क विभाग को बधाई दी। मीडिया प्रतिनिधि श्री परमानंद रजक ने कहा कि सायकल चलाने पर स्वास्थ्य पर अच्छा प्रभाव पड़ता है। बीमारियों को दूर करने के लिए सायकल एक अच्छी गतिविधि है। मीडिया प्रतिनिधि श्री प्रमोद शेण्डे ने बताया कि वे हाकी खिलाड़ी और बास्केटबाल के लिए राष्ट्रीय स्तर के लिए खिलाड़ी रहे है। उन्होंने कहा कि खेल हमारी जीवन शैली को दर्शाता है और यह गतिविधियांं समाज को आपस में जोड़ती है। स्वास्थ रहने के लिए यह जरूरी है। मीडिया प्रतिनिधि श्री किशोर सिल्लेदार ने कहा कि सायकल रैली के आयोजन से प्रेरणा मिल रही है। सुबह उठकर सायकल चलाने से हम दिनभर स्वस्थ महसूस करेंगे। मीडिया प्रतिनिधि श्री नीरा साहू ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से सायकल चलाना छूट गया था, लेकिन इस सायकल रैली में शामिल होने से प्रेरणा और ऊर्जा मिल रही है और इससे स्वास्थ्य अच्छा रहेगा। मीडिया प्रतिनिधि  अंकालु साहू ने कहा कि यह एक अच्छी पहल है, जिसके माध्यम से मीडिया, बच्चों एवं नागरिकों में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता आएगी। इस अवसर पर सौरभ ताम्रकार, जनसंपर्क विभाग से सहायक सूचना अधिकारी  प्रवीण रंगारी, जिला समन्वयक सूर्यकांत चंद्राकर, विनय साहू, खेलो इंडिया के कोच सकील अहमद एवं बड़ी संख्या में अन्य मीडिया प्रतिनिधि, बच्चे एवं युवा उपस्थित रहे। मंच संचालन प्रदीप शर्मा ने किया।

मुंगेली/शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में शासन की योजनाओं को पारदर्शी ढंग से पात्र व्यक्तियों को समयबद्ध लाभ दिलाने के लिए सुशासन तिहार का आयोजन किया जा रहा है। इसी कड़ी में कलेक्टरकुन्दन कुमार के मार्गदर्शन में लोरमी विकासखंड के ग्राम पंचायत बैगाकापा में तीसरे चरण अंतर्गत समाधान शिविर का आयोजन किया गया। शिविर में बैगाकापा क्लस्टर अंतर्गत गुरूवाईनडबरी, बैगाकापा, धोबघट्टी, कुधुरताल, लालपुरथाना, नारायणपुर, सांवतपुर, सूखाताल, छिरहुट्टी, पैजनिया, कोतरी, लालपुरकला, रबेली, सुकली बिजराकापाकला सहित 15 ग्राम पंचायतों से बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।
    लोरमी एसडीएम श्री अजीत पुजारी ने बताया कि शिविर में 346 लोगों को विभिन्न योजनाओं के तहत सामाग्री वितरण लाभान्वित किया गया, इनमें 46 हितग्राहियों को प्रधानमंत्री आवास योजना अंतर्गत स्वीकृति आदेश, 32 स्व सहायता समूहों को सामुदायिक निवेश कोष एवं लखपति दीदी प्रमाण पत्र, स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत 40 हितग्राहियों को शौचालय हेतु स्वीकृति आदेश, समाज कल्याण विभाग द्वारा 17 हितग्राहियों को सामाजिक पेंशन, मनरेगा अंतर्गत 22 हितग्राहियों को जॉब कार्ड, डबरी और पशुशेड निर्माण हेतु स्वीकृति पत्र, 10 हितग्राहियों को आयुष्मान कार्ड, 10 को ऋण पुस्तिका, 32 को राशन कार्ड, 20 को नोनी सुरक्षा योजना अंतर्गत बॉन्ड पेपर, 20 को किसान सम्मान निधि का चेक, उद्यान विभाग द्वारा 10 हितग्राहियों को फलदार पौधे, शिक्षा विभाग द्वारा 20 हितग्राहियों को श्रवण यंत्र, छड़ी, थेरेपी किट, मछली पालन विभाग द्वारा 02 हितग्राहियों को आइस बॉक्स एवं समिति गठन प्रमाण पत्र, परिवहन विभाग द्वारा 02 हितग्राहियों को ड्राइविंग लाइसेंस और सहकारिता विभाग द्वारा 10 हितग्राहियों को किसान क्रेडिट कार्ड प्रदान कर लाभान्वित किया गया। जनपद सीईओ श्री पंचराम घृतलहरे ने बैगाकापा क्लस्टर अंतर्गत कुल आवेदनों और उनके निराकरण के संबंध में जानकारी दी। कार्यक्रम में जिला पंचायत सदस्य श्रीमती कुंती उदय जायसवाल, जनपद पंचायत सदस्य श्री सुरजीत भार्गव सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, गणमान्य नागरिक श्री धनीराम यादव, श्री प्रदीप मिश्रा, श्री दिनेश कश्यप सहित प्रशासनिक अधिकारी और बड़ी संख्या में आमजन मौजूद रहे।
समाधान शिविर 26 मई को ग्राम मनोहरपुर में
   शासन के निर्देशानुसार एवं कलेक्टर श्री कुन्दन कुमार के मार्गदर्शन में लोरमी विकासखण्ड के ग्राम मनोहरपुर स्थित हाईस्कूल मैदान में समाधान शिविर का आयोजन किया जाएगा, जिसमें मनोहरपुर क्लस्टर अंतर्गत ग्राम चंदली, करनकापा, मनोहरपुर, खपरीडीह, राजपुर, बिजराकापाखुर्द, परसाकापा, पेण्ड्रीतालाब बी., बंधवा, केस्तरपुर, बरबसपुर, मोहतरा तेली, विचारपुर, झाफल और लछनपुर सहित कुल 15 ग्राम पंचायतों को शामिल किया गया है। शिविर के सफल संचालन के लिए महिला बाल विकास के जिला कार्यक्रम अधिकारी श्रीमती संजुला शर्मा नोडल अधिकारी और परियोजना अधिकारी श्री राजेन्द्र गेंदले सहायक नोडल अधिकारी होंगे।

-संभावित आपदा से पहले सभी आवश्यक तैयारियाँ पूरी करने के निर्देश
-दुर्ग जिले में 1 जून से 24 घंटे सक्रिय रहेगा बाढ़ नियंत्रण कक्ष
-अपर कलेक्टर सिंह ने ली बाढ़ राहत एवं आपदा प्रबंधन की समीक्षा बैठक
दुर्ग/शौर्यपथ/ आगामी मानसून सत्र के दौरान संभावित भारी वर्षा और बाढ़ की आशंका को ध्यान में रखते हुए आज कलेक्टर सभाकक्ष में बाढ़ राहत एवं आपदा प्रबंधन को लेकर समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता अपर कलेक्टर विरेन्द्र सिंह ने की। बैठक में सभी विभागों के अधिकारियों को बाढ़ से बचाव एवं राहत कार्यों के लिए समय रहते पूरी तैयारी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।
     अपर कलेक्टर ने कहा कि इस वर्ष सामान्य से अधिक वर्षा की संभावना है। ऐसे में सभी तहसीलों और नगरीय निकायों में कंट्रोल रूम की शीघ्र स्थापना की जाए और नोडल अधिकारियों की नियुक्ति कर उनकी सूचना जिला कार्यालय को उपलब्ध कराने को कहा। बाढ़ संभावित क्षेत्रों में अस्थायी राहत शिविर पहले से चिन्हित कर लिए जाएं और वहां भोजन, चिकित्सा, बिजली, पानी जैसी मूलभूत सुविधाओं की व्यवस्था पूर्ण कर लेने को कहा।
      जिले में पिछले वर्ष दुर्ग और धमधा विकासखंड के ग्रामीण क्षेत्रों तथा नगर निगम दुर्ग के कुछ हिस्से आंशिक रूप से प्रभावित हुए थे। प्रशासन द्वारा ग्रामवार राहत टीमों का गठन कर लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पुनर्वासित किया गया था। इस वर्ष भी मानसून के दौरान आपदा से निपटने के लिए सभी अनुविभागीय अधिकारियों और तहसीलदारों को निर्देशित किया गया है कि वे ग्राम स्तर पर टीम तैयार करें और राहत शिविरों में पुनर्वास की पूर्ण तैयारी रखें। अधिकारियों को आपदा प्रबंधन संबंधी अपने उत्तरदायित्वों का निर्वहन पूरी निष्ठा और जिम्मेदारी के साथ करने के निर्देश दिए गए हैं।
बाढ़ नियंत्रण कक्ष 1 जून से 24 घंटे सक्रिय रहेगा- जिले में नियंत्रण व्यवस्था को प्रभावी बनाने के लिए जिला कार्यालय में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किए जा रहे हैं। जिला स्तरीय कंट्रोल रूम का दूरभाष नंबर 0788-2320601 है। यह कक्ष 1 जून 2025 से 31 अक्टूबर 2025 तक 24 घंटे कार्यरत रहेगा। जिला स्तर पर संयुक्त कलेक्टर श्रीमती लता युगल उर्वशा मोबाइल नंबर-9584322227, अधीक्षक भू-अभिलेख श्री आदित्य कुंजाम 9981584877, तहसीलदार दुर्ग श्री प्रफुल्ल कुमार गुप्ता 7049510326, तहसीलदार धमधा श्री टी.एस.खरे 9131534309, तहसीलदार पाटन श्रीमती मीना साहू 9981283344 बाढ़ नियंत्रण कक्ष के प्रभारी रहेगी। तहसील स्तर पर संबंधित तहसीलदार बाढ़ नियंत्रण कक्ष के प्रभारी रहेंगे। जिला सेनानी होमगार्ड कंट्रोल रूम का दूरभाष नंबर 0788-2320121 और 0788-2320120 पर सम्पर्क कर सकते हैं।
वर्षामापी यंत्रों की जांच और निगरानी के निर्देश- बैठक में बाढ़ नियंत्रण की तैयारियों की समीक्षा के दौरान बताया गया कि जिले के प्रत्येक विकासखंड में वर्षामापी यंत्र स्थापित हैं। अपर कलेक्टर ने सभी यंत्रों की कार्यप्रणाली की जांच करने को कहा ताकि वे सुचारू रूप से कार्य कर सके। यदि कोई यंत्र खराब है तो उसकी तत्काल मरम्मत कराने एवं वर्षा के आंकड़े समय पर दर्ज कर रिपोर्ट जिला कार्यालय को भेजने को कहा।
अस्थाई राहत केम्प - जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में अस्थायी राहत केम्पों हेतु भवन चिन्हित कर उनमें आवश्यक व्यवस्था करने को कहा। प्रत्येक चिन्हित भवन का अग्रिम निरीक्षण कर प्रभारी अधिकारी नियुक्त करने के निर्देश दिए। राहत व्यवस्था के लिए स्वयंसेवी संस्थाओं का भी सहयोग लेने को कहा। उन्होंने अनुविभागीय अधिकारियों को बाढ़ संभावित क्षेत्रों के लिए मछुआरों एवं छोटी नावों की सूची तैयार करने व नावों से संबंधित संपर्क नंबर भी नियंत्रण कक्ष में संधारित करने को कहा।
    उन्होंने बाढ़ से बचाव हेतु मोटर बोट, बांस, बल्ली, ड्रम तथा गोताखोरो की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा। जिला सेनानी नगर सेना को बचाव सामग्री एवं मॉकड्रील कराने निर्देशित किया गया। जिला सेनानी ने बताया कि उनके पास समुचित संसाधन उपलब्ध है। जिले में बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में क्षति होने की स्थिति में पर्याप्त बीज एवं खाद का भण्डारण सुनिश्चित करने के निर्देश कृषि विभाग को दिए। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देशित किया गया है कि आपदा प्रबंधन के संबंध में आवश्यक दवाई एवं मेडिकल टीम की व्यवस्था की जाए। जिले का कोई भी चिकित्सालय डॉक्टर विहिन नही रहे एवं जीवन रक्षक दवाईयां सभी चिकित्सालय में पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध रहे। साथ ही मौसमी बीमारियों से बचाव के लिए कार्ययोजना बनाई जाए।
    शिविरों में बिजली आपूर्ति सतत बनी रहे और वायरिंग सुव्यवस्थित हो। विद्युत बाधा से निपटने के लिए अग्रिम तैयारी पूरी करने को कहा। विद्युत तार एवं खम्भों के नजदीक लगे वृक्षों की छंटाई-कटाई का कार्य सुनिश्चित कराने के निर्देश नगर पालिक निगम, जनपद पंचायत सीईओ के अधिकारियों को दिए। उन्होंने निर्देशित किया कि सभी दो मंजिला अथवा उससे अधिक ऊँचाई वाले शासकीय भवनों पर तड़ित चालक लगाए जाने की व्यवस्था संबंधित विभाग द्वारा सुनिश्चित की जाए। अपर कलेक्टर श्री सिंह ने सभी अनुविभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया कि नदी के किनारे बसे लोगों को अभी से व्यवस्थित करने का कार्य कर लें जिससे बाढ़ के समय जन-धन की हानि से बचा जा सके।
    बैठक में सीईओ जिला पंचायत श्री बजरंग दुबे, नगर निगम आयुक्त दुर्ग श्री सुमित अग्रवाल, नगर निगम आयुक्त रिसाली श्रीमती मोनिका शर्मा, चरोदा नगर निगम आयुक्त श्री दशरथ राजपूत, एसडीएम श्री सोनल डेविड, एसडीएम श्री महेश राजपूत, डिप्टी कलेक्टर श्री उत्तम धु्रव, श्री लवकेश धु्रव, आदिवासी विकास सहायक आयुक्त श्री हेमंत सिन्हा सहित विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।

ग्राम चारभाठा समाधान शिविर में 02 हजार 815 आवेदनों का हुआ निराकरण
अधिकारियों ने समस्याओं एवं मांगों के निराकरण की दी जानकारी
मोर गॉव, मोर पानी अभियान अंतर्गत जल संरक्षण की दिलायी गयी शपथ
मुंगेली/शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की मंशानुरूप शासन की योजनाओं को आमजनों तक समयबद्ध रूप से पहुंचाने के लिए मुंगेली विकासखंड के ग्राम चारभाठा में समाधान शिविर का आयोजन किया गया। शिविर में कलेक्टर कुन्दन कुमार के मार्गदर्शन में विभागीय अधिकारियों द्वारा लोगों को आवेदनों के निराकरण के सम्बन्ध में जानकारी दी गई। साथ ही स्टॉल लगाकर शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं से हितग्राहियों को लाभान्वित किया गया। शिविर में चारभाठा क्लस्टर अंतर्गत कोदवाबानी, चारभाठा, खुर्शी, ढबहा, खुजहा, नवागांव (घु.), प्रतापपुर, हेड़सपुर, छाता, दामापुर और बैहाकापा सहित 11 ग्राम पंचायतों से हजारों की संख्या में लोग मौजूद थे।
      समाधान शिविर में मुंगेली विधायक  पुन्नूलाल मोहले शामिल हुए। उन्होंने स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत 119 हितग्राहियों को शौचालय की स्वीकृति आदेश, प्रधानमंत्री आवास योजनांतर्गत 05 को प्रतिकात्मक चाबी, 10 को ऋण पुस्तिका, बी वन, नक्शा, 11 को पशु शेड निर्माण हेतु स्वीकृति आदेश, 08 को स्प्रेयर, 05 को प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि चेक, 06 को राशनकार्ड, 13 को किसान क्रेडिट कार्ड, 05 को फलदार पौधा वितरण, 04 स्व सहायता समूहों को एनआरएलएम अंतर्गत चेक, 05 महिलाओं को लखपति दीदी प्रमाण पत्र, 15 हितग्राहियों को पेंशन प्रमाण पत्र, 05 को आयुष्मान वय वंदना कार्ड और 05 हितग्राहियों को श्रम कार्ड प्रदान कर लाभान्वित किया। साथ ही उन्होंने चारभाठा क्लस्टर अंतर्गत विभिन्न स्कूलों से कक्षा 10वीं और 12वीं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने पर प्रशस्ति पत्र प्रदान कर बधाई दी।
आवास प्लस 2.0 के सर्वे सूची में 04 हजार 152 हितग्राही शामिल
        कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधायक श्री मोहले ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय की मंशानुरूप पूरे प्रदेश में सुशासन तिहार मनाया जा रहा है, जिसका उद्देश्य आम जनता की समस्याओं और मांगों का गुणवत्तापूर्ण समाधान सुनिश्चित करना है। इस पहल के तहत विभिन्न विभागों के अधिकारी सीधे ग्रामीण क्षेत्रों में पहुंच रहे हैं, ताकि जनता की शिकायतों और आवश्यकताओं का तत्काल निराकरण किया जा सके। उन्होंने अधिकारियों को भी निर्देशित किया कि वे संवेदनशीलता के साथ प्रत्येक आवेदक की बात सुनें और त्वरित कार्यवाही करें। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के सुशासन में सांय-सांय विकास और योजनाओं का क्रियान्वयन हो रहा है। आमजनता को इसका सीधा लाभ मिला रहा है। उन्होंने बताया कि चारभाठा क्लस्टर अंतर्गत प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 03 हजार 972 हितग्राहियों का आवास स्वीकृत किया गया है, इनमें से अधिकांश आवास पूर्ण कर लिए गए हैं। वहीं आवास प्लस 2.0 के सर्वे सूची में 04 हजार 152 हितग्राहियों को शामिल किया गया है।
     मुंगेली विधायक श्री मोहले ने मोर गॉव, मोर पानी अभियान अंतर्गत जल संरक्षण और संवर्द्धन के लिए ग्रामीणों को शपथ भी दिलाई और कहा कि पानी के महत्व को समझते हुए संरक्षित करें, जिन लोगों का पक्का घर है, वे अपने घरों में रेनवाटर हार्वेस्टिंग की व्यवस्था अवश्य करें। अतिरिक्त कलेक्टर श्रीमती निष्ठा पांडेय तिवारी ने बताया कि चारभाठा क्लस्टर में 27 विभागों से संबंधित कुल 02 हजार 818 आवेदन प्राप्त हुए थे, जिनका द्वितीय चरण में गुणवत्तापूर्ण निराकरण कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि आमजनों की समस्याओं के निराकरण में किसी प्रकार की लापरवाही न हो, इसका विशेष ध्यान रखा जा रहा है। इस अवसर पर मुंगेली एसडीएम श्रीमती पार्वती पटेल सहित प्रशासनिक अधिकारी, स्थानीय जनप्रतिनिधि, गणमान्य नागरिक और बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।

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