November 22, 2024
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राजनांदगांव

राजनांदगांव (1522)

   राजनांदगांव / शौर्यपथ / शासन के मंशानुरूप जिले के समस्त नागरिको को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से आयुष्मान - भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना डॉ. खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता अंतर्गत ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) वर्तमान में केवल भर्ती एवं ओ0पी0डी0 मरीज का बनाकर नि:शुल्क प्रदाय किया जा रहा हैं। जिससे कि उन परिवार अथवा परिवार के सदस्यों को अपने राशनकार्ड के अनुसार स्वास्थ्य सहायता की पात्रता की जानकारी भलीभांति हो सके एवं आपात स्थिति में परिवार या सदस्य, स्वयं आसानी से निर्णय ले सकें कि उन्हें किस श्रेणी के पंजीकृत अस्पताल (शासकीय एवं निजी) में ईलाज प्राप्त करना हैं, साथ ही उन्हें ईलाज में होने वाले आर्थिक व्यय का भय भी ना हो।
          उद्देश्य की पुर्ति हेतु जिला राजनांदगॉव में ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) बनवाने हेतु जिले के समस्त 59 शासकीय चिकित्सालयों एवं 19 निजी चिकित्सालयों में आने वाले केवल आईपीडी एवं ओपीडी मरीजों को ही योजनांतर्गत ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) नि:शुल्क बनाया जा सकता है।  ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) बनवाने हेतु जिले में पंजीकृत निजी अस्पताल - बालाजी आई हॉस्पिटल, छत्तीसगढ़ ई.एन.टी. केयर हॉस्पिटल, क्रिश्चयन फेलोसिप हॉस्पिटल, डी.एन.ए. क्रिटिकल केयर हॉस्पिटल, गॉधी नर्सिंग होम, गौतम हेल्थ केयर अम्बागढ चौंकी, गौतम नर्सिंग होम मानपुर, जय तुलसी नर्सिंग होम, जीवन रेखा हॉस्पिटल, पारख नर्सिंग होम, राजनांदगांव मेडिसिटी हॉस्पिटल, सॉई कृपा हॉस्पिटल, संजीवनी नर्सिंग होम, शारदा हॉस्पिटल, श्रीराम हॉस्पिटल, शुक्ला मल्टी स्पेश्लिटी हॉस्पिटल, स्पर्श चाईल्ड केयर, उद्याचल धर्माथ नेत्र चिकित्सालय, यूनाईटेड हॉस्पिटल। पात्रता - एसईसीसी सूची में शामिल परिवार, अन्त्योदय एवं प्राथमिकता राशन कार्ड धारी परिवारों को 5 लाख रूपए परिवार एवं शेष अन्य राशनकार्ड धारी परिवारों को 50 हजार रूपए /परिवार को प्रति वर्ष नि:शुल्क ईलाज पंजीकृत शासकीय एवं निजी चिकित्सालयों में मिलेगा।
   ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) बनाने हेतु शासन के नियमानुसार अभी किसी भी वार्ड/पंचायत/ग्राम स्तर पर शिविर नहीं लगाया जायेगा। आवश्यकतानुसार मरीज उपचार हेतु अस्पताल में भर्ती होते समय मान्यता प्राप्त शासकीय एवं निजी अस्पताल में ई-कार्ड (आयुष्मान कार्ड) तत्काल बनाया जा सकता हैं। आयुष्मान - भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना डॉ. खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता अंतर्गत से संबंधित अधिक जानकारी, शिकायत एवं समस्या के निराकरण हेतु कार्यालय मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी राजनांदगॉव एवं हेल्प लाईन टोल फ्री नम्बर 104 पर 24 x 7 सम्पर्क किया जा सकता हैं। जब भी अस्पताल जायें, राशनकार्ड एवं आधार कार्ड अवश्य लेकर जाएं।

राजनांदगांव / शौर्यपथ / छत्तीसगढ़ विधानसभा का दशम सत्र 22 फरवरी से 26 मार्च 2021 तक चलेगा। कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने विधानसभा प्रश्नों, ध्यानाकर्षण सूचनाओं, स्थगन प्रस्तावों की जानकारी समय-सीमा में भेजने के लिए अधिकारियों को मुख्यालय में उपस्थित रहने कहा है। कलेक्टर वर्मा ने जिले के सभी अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि विधानसभा सत्र के दौरान कोई भी अधिकारी-कर्मचारी बिना पूर्व अनुमति के अवकाश पर नहीं जाएंगे और न ही मुख्यालय से बाहर रहेंगे।
सभी अधिकारीगण अपने कार्यालय में एक नोडल अधिकारी नियुक्त करते हुए उनके नाम, पदनाम, दूरभाष नंबर एवं मोबाईल नंबर की जानकारी कार्यालय कलेक्टर को तत्काल भेजने कहा गया है। कार्यालयीन दिवसों के अतिरिक्त अपने कार्यालय में अवकाश के दिनों में पर्याप्त लिपिक एवं भृत्य की ड्यूटी लगाना भी सुनिश्चित करने कहा गया है।

राजनांदगांव / शौर्यपथ / छत्तीसगढ़ शासन परिवहन, आवास एवं पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन, विधि एवं विधायी कार्य विभाग एवं प्रभारी मंत्री मोहम्मद अकबर 12 फरवरी को जिला कार्यालय के सभाकक्ष में समीक्षा बैठक लेंगे। समीक्षा बैठक दोपहर 1 बजे शुरू होगी। पूर्व में यह बैठक 13 फरवरी को आयोजित थी।
अपर कलेक्टर सीएल मारकण्डेय ने 12 फरवरी को आयोजित समीक्षा बैठक के लिए सभी विभागीय अधिकारी 10 फरवरी को सुबह 11 बजे तक अपने विभाग की जानकारी 12 प्रतियों में जिला कार्यालय के अधीक्षक कक्ष क्रमांक 10 में अनिवार्य रूप से उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि 12 फरवरी को आयोजित समीक्षा बैठक में सभी अधिकारी दोपहर 1 बजे अनिवार्य रूप से उपस्थित होना सुनिश्चित करें।

अब तक 12 हजार लोग कोविड वैक्सीनेशन के प्रथम खुराक से टीकाकृत

राजनांदगांव / शौर्यपथ / कोविड वैक्सीनेशन हेतु जिले में प्रथम चरण में अब तक कुल 15018 हेल्थ केयर वर्कर समूह का पंजीयन भारत सरकार के कोविन पोर्टल पर किया गया है। जिनमें से राजनांदगांव जिले में अभी तक कुल 12 हजार लोग कोविड वेक्सीनेशन के प्रथम खुराक से टीकाकृत किये जा चुके है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मिथलेश चौधरी ने बताया कि कोविड-19 टीकाकरण के लिए चिन्हांकित फ्रंट लाईन वर्कर बटालियन, पीटीएस, पुलिस एवं आईटीबीपी के जवानों का वैक्सीनेशन किया जाएगा। राजनांदगांव जिले अंतर्गत कोविन पोर्टल पर कोविड वैक्सीनेशन पंजीकृत ऐसे अधिकारी-कर्मचारी जो कि आज दिनांक तक कोविड टीका के प्रथम खुराक से टीकाकृत नहीं हुए हैं वे तत्काल नजदीकी कोविड टीकाकरण केन्द्र में जाकर कोविड टीका के प्रथम खुराक लगवायें।
उल्लेखनीय है कि जिले के कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा एवं पुलिस अधीक्षक डी श्रवण भी कोविड टीका के प्रथम खुराक से टीकाकृत हो चुके हैं। डॉ. मिथलेश चौधरी ने बताया कि राजनांदगांव जिले में अभी तक कुल 12 हजार लोगों को कोविड वेक्सीनेशन के प्रथम खुराक से टीकाकृत किया जा चुका है, जिनमें किसी भी टीकाकृत लाभार्थियों में कोई भी प्रकार की गंभीर प्रतिकूल प्रभाव के प्रकरण दर्ज नहीं हुए हंै। कोविड वेक्सीन पूर्णत: सुरक्षित एवं प्रभावी है। विभाग द्वारा समस्त कोविड वेक्सीनेशन सेंटरों में आपातकालीन स्थिति को ध्यान में रखते हुए आवश्यक चिकित्सकीय अमलों की उपलब्धता करायी गई है।
शासन द्वारा हेल्थ वर्कर्स समूह का निर्धारण किया गया है जिसमें अग्रिम पंक्ति के स्वास्थ्य एवं महिला बाल विकास विभाग के कर्मचारी, नर्स एवं सुपरवाईजर्स, चिकित्सा अधिकारी, पैरामेडिकल स्टाफ, सहयोगी कर्मचारी, मेडिकल एवं पैरामेडिकल छात्र-छात्रा शासकीय एवं अशासकी चिकित्सकीय संस्था के लिपिकीय एवं प्रशासनिक अधिकारी-कर्मचारी एवं अन्य स्वास्थ्य कर्मियों को प्रथम चरण में शामिल किया गया है। सभी पंजीकृत हेल्थ केयर वर्कर्स को कोविड वैक्सीनेशन हेतु निर्धारित सत्र स्थल में आकर वैक्सीनेशन कराने एवं कोरोना महामारी के नियंत्रण में भागीदारी निभाने हेतु अपील किया गया है।

अधिक से अधिक संख्या में टीका लगवाएं कोरोना वारियर्स ,साप्ताहिक समय-सीमा की बैठक संपन्न

राजनांदगांव / शौर्यपथ / कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने आज कलेक्टोरेट सभाकक्ष में आयोजित साप्ताहिक समय-सीमा की बैठक में धान खरीदी के कार्य के बाद सभी एसडीएम को स्टेकिंग किए हुए बारदानों के भौतिक सत्यापन एवं धान के उठाव के कार्य में गति लाने के लिए कहा। कलेक्टर श्री वर्मा ने कोरोना वैक्सीनेशन के संबंध में समीक्षा करते हुए कहा कि स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों के बाद राजस्व, पुलिस एवं नगरीय निकाय के सभी अग्रिम पंक्ति के कोरोना योद्धाओं को टीका लगाया जा रहा है, इसके लिए सभी आवश्यक व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। टीकाकरण केन्द्र में एक दिन में 100 लोगों का टीका लगना है। उन्होंने कहा कि टीकाकरण के बाद भी प्रोटोकाल का पालन करना आवश्यक है। कोरोना संक्रमण की रफ्तार जिले में कम हुई है, लेकिन इसके बावजूद सुरक्षा संबंधी नियमों का पालन जरूरी है। कोविड-19 के सैम्पल की संख्या में गति लाने की जरूरत है। विशेषकर गर्भवती महिलाओं का परीक्षण प्राथमिकता से करें। इसके लिए स्वास्थ्य एवं महिला एवं बाल विकास विभाग आपसी समन्वय के साथ कार्य करें।
उन्होंने कहा कि कोरोना वैक्सीन सुरक्षित है। सभी बिना किसी भय के वैक्सीन लगवाएं। उन्होंने सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में वैक्सीनेशन के दौरान डॉक्टर की विशेष ड्यूटी लगाने के निर्देश दिए।
कलेक्टर वर्मा ने 27 एवं 28 फरवरी को लालबहादुर नगर में आयोजित होने वाले लोक मड़ई एवं कृषि मेला के आयोजन के संबंध में अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जल संसाधन विभाग जल संरक्षण के लिए अच्छा कार्य करें। जिले में बड़ी संख्या में नदी और नाले हैं और सिंचाई के साधन भी पर्याप्त उपलब्ध हैं। लेकिन कई क्षेत्र ऐसे भी हैं जहां जल स्तर ठीक नहीं है। हमारे प्रदेश में औसत वर्षा होती है, जो पर्याप्त है।
योजनाबद्ध तरीके से इस दिशा में कार्य करते हुए जल संरक्षण करने तथा जल स्तर को बढ़ाने की आवश्यकता है। उन्होंने इसके लिए कार्य योजना बनाने के निर्देश जल संसाधन विभाग के अधिकारियों को दिए। उन्होंने कहा कि मई में बेसलाईन सर्वे भी करें, ताकि कुआं एवं ट्यूबवेल में जल के स्तर का पता चल सके। उन्होंने कहा कि मनरेगा के तहत किए जाने वाले कार्यों में श्रमिकों की संख्या बढ़ाये तथा कार्य करने वाले श्रमिकों के परिवार को अधिक से अधिक रोजगार दिलाने के लिए मेहनत से कार्य करें। कलेक्टर ने कहा कि सभी जनपद सीईओ गौठानों में जल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। गोधन न्याय योजना शासन की महत्वपूर्ण योजना है और इसके माध्यम से जनसामान्य लाभान्वित हो रहे हैं। अपनी मूलभूत आवश्यकताओं की आपूर्ति करने के साथ ही अन्य कई कार्य भी कर रहे हैं जो एक उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि गोबर का रखरखाव ठीक तरह से होना चाहिए और वर्मी कम्पोस्ट के निर्माण के कार्य में गति लाएं। शासन की फ्लैगशिप योजनाओं क्रियान्वयन के संबंध में डेशबोर्ड पर नियमित रूप से डाटा एन्ट्री कराएं। शासकीय योजनाओं के क्रियान्वयन में ऑनलाईन एन्ट्री में देर नहीं होना चाहिए। शासन की दर्पण पोर्टल पर नियमित रूप से डाटा प्रवृष्टि कराएं।
नगर निगम आयुक्त चंद्रकांत कौशिक ने 13 एवं 14 फरवरी को आयोजित पुष्प महोत्सव के तैयारी के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने कृषि, उद्यानिकी, स्वास्थ्य विभाग एवं अन्य विभागों को वहां स्टाल लगाने के लिए कहा। कलेक्टर ने दिव्यांगजनों के लिए शिविर आयोजन करने के लिए समाज कल्याण विभाग के अधिकारी को निर्देशित किया। जिला शिक्षा अधिकारी श्री एचआर सोम ने बताया कि स्कूल की फीस के निर्धारण के लिए टीम का गठन किया गया है। कलेक्टर ने टीम के सदस्यों के नाम सूचना पटल पर चस्पा करने के निर्देश दिए।
इस अवसर पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत अजीत वसंत, वनमंडलाधिकारी राजनांदगांव श्री बीपी सिंह, वनमंडलाधिकारी खैरागढ़ संजय यादव, अपर कलेक्टर सीएल मारकण्डेय, एसडीएम राजनांदगांव मुकेश रावटे सहित अन्य जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे। वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए सभी एसडीएम एवं विकासखंड स्तरीय अधिकारी जुड़े रहे।

राजनांदगांव / शौर्यपथ / केन्द्र सरकार द्वारा किसान परिवारों की वित्तीय सहायता के लिए प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की शुरूआत की गई है। जिसके अंतर्गत अपवर्जन श्रेणी (सरकारी कर्मचारी, पेंशनधारी एवं आयकरदाता) के किसान परिवार को छोड़कर शेष किसान भू-स्वामी को 3 किस्तों में 2000 रूपए सालाना राशि 6000 रूपए की वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। कृषकों को योजना का लाभ पंजीयन की तिथि से मिलना प्रारंभ होता है।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत किसान परिवार, भू-स्वामी पंजीयन के लिए बी-1, बैंक दस्तावेज, आधार कार्ड के साथ घोषणा पत्र जमा कर क्षेत्रीय ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के पास आवेदन कर सकते है या लोक सेवा केन्द्र, प्रधानमंत्री किसान पोर्टल से सीधे पंजीयन करा सकते है। पंजीयन के बाद किसान के आधार का यूआईडीएआई तथा बैंक विवरण का पीएमएफएस से सत्यापन किया जाता है। दोनों प्रक्रिया सही पाये जाने पर कार्रवाई की जाती है। जिले में बहुत से किसानों का त्रुटिपूर्ण पंजीयन होना पाया गया है। जिसमें आधार कार्ड नम्बर गलत होना, आधार कार्ड के अनुसार नाम न होना तथा बैंक खाता क्रमांक, आईएफएससी कोड सही नहीं होने के कारण प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना का लाभ किसानों को नहीं मिल पा रहा है। जब तक त्रुटिपूर्ण जानकारी में सुधार नहीं किया जाएगा तब तक योजना का लाभ किसानों को नहीं मिल पायेगा।
किसानों से अपील है कि क्षेत्रीय ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी से सम्पर्क कर आधार कार्ड एवं बैंक विवरण से संबंधित जानकारी में आवश्यक सुधार करा लें। जिससे की प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का लाभ किसानों को मिल सके। इसी प्रकार पात्र किसान परिवार नवीन पंजीयन ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी या लोक सेवा केन्द्र या पीएम किसान पोर्टल से सीधे पंजीयन करा सकते है। जिसके लिए पंजीकृत किसान को आवश्यक दस्तावेज सहित घोषणा पत्र क्षेत्रीय ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी, कार्यालय वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी या जिला कार्यालय उप संचालक कृषि को उपलब्ध कराएंं, ताकि दस्तावेज परीक्षण के बाद अनुमोदन की कार्रवाई की जा सके।

-प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 6 करोड़ 29 लाख रूपए की लागत से 10.3 किलोमीटर किया जा रहा सड़क का निर्माण
राजनांदगांव / शौर्यपथ / जिले के अम्बागढ़ चौकी विकासखंड के अंतर्गत बांधाबाजार से आमाटोला तक सड़क निर्माण का कार्य तेजी से चल रहा है। इस सड़क की लम्बाई 10.3 किलोमीटर और चौड़ाई 9 मीटर है। कलेक्टर श्री टोपेश्वर वर्मा ने अपने सप्ताहिक दौरे में बांधाबाजार से आमाटोला तक निर्माणाधीन सड़क का मुआयना किया। सड़क का निर्माण प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत किया जा रहा है। इसकी लागत 6 करोड़ 29 लाख 23 हजार रूपए है। कलेक्टर श्री वर्मा ने अधिकारियों को गुणवत्ता के साथ सड़क निर्माण पूरा करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सड़क का निर्माण निर्धारित समय में पूरा किया जाना चाहिए। कार्यपालन अभियंता श्री पीपी खरे ने बताया कि यह सड़क 4 ग्राम ढाढूटोला, तोयागोंदी, हांडीटोला और मांगाटोला से गुजरेगी। इसके निर्माण होने से लोगों को आवागमन में सुविधा होगी। इस अवसर पर एसडीएम मोहला सीपी बघेल, सीईओ जनपद पंचायत मोहला जीएल चुरेन्द्र सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

- प्रदेश की एकमात्र संस्था, जहां विभिन्न तरह की दिव्यांगता के लिए उपचार एवं पुनर्वास के लिए किया जा रहा कार्य
- समाज को दिव्यांगजनों के प्रति संवेदनशील बनाने की जरूरत : क्षेत्रीय संयोजित केन्द्र (सीआरसी) के निदेशक कुमार राजू

राजनांदगांव / शौर्यपथ / सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय भारत सरकार के अधीन एनआईईपीआईडी सिकंदराबाद के अंतर्गत संचालित दिव्यांगजन कौशल विकास, पुनर्वास एवं सशक्तिकरण क्षेत्रीय संयोजित केन्द्र (सीआरसी) राजनांदगांव में दिव्यांगजनों के सशक्तिकरण एवं उनके जीवन की गुणवत्ता को बढ़ाने की दिशा में निरंतर प्रतिबद्ध कार्य किया जा रहा है। यह संस्था प्रदेश की एकमात्र संस्था है, जहां विभिन्न तरह की दिव्यांगता के लिए उपचार एवं दिव्यांगजनों के पुनर्वास के लिए कार्य किए जा रहे हैं। क्षेत्रीय संयोजित केन्द्र (सीआरसी) के निदेशक श्री कुमार राजू ने कहा कि हमें समाज को दिव्यांगजनों के प्रति संवेदनशील बनाने की जरूरत है। सीआरसी द्वारा दिव्यांगजनों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए कार्य किया जा रहा है, ताकि वे भी समाज की मुख्यधारा से जुड़ सकें। उन्होंने बताया कि यहां सात विभाग कार्य कर रहे हैं।
आकुपेशनल थैरेपी कक्ष में 22 वर्षीय शुभम साहू की स्थिति में निरंतर सुधार आया है। केन्द्र में आने के पहले उसके घुटने और हाथ के पंजे मुड़े हुए थे तथा वह कोई कार्य नहीं कर पाता था। लेकिन अब शुभम स्वयं आत्मनिर्भर बना है और दो वर्षों के ईलाज के बाद अपना व्हीलचेयर स्वयं चला सकता है। वह अपना सामान भी स्वयं लेने की स्थिति में है। भिलाई से ईलाज से आने वाली नन्ही बच्ची आटिज्म से पीडि़त है। लेकिन दो हप्तों के ईलाज के बाद वह अब आसानी से बातों की प्रतिक्रिया देती है। 50 वर्षीय मनीष गुप्ता ने बताया कि उनकी गर्दन में ट्यूमर हुआ था और सर्जरी के बाद शरीर अकड़ गया था। यहां ईलाज के बाद चलने में दिक्कत नहीं हो रही है। 8 वर्षीय बालक आकाश सिंह को आईक्यू डिसएबिलिटी के हल्के लक्षण हैं, जो अब धीरे-धीरे दूर हो रही है। आक्यूपेशनल थैरेपी कक्ष में देव आशीष ने बताया कि लकवाग्रस्त बच्ची का भी यहां ईलाज किया जा रहा है और स्थिति में काफी सुधार है। मैप एक्टीविटी, न्यूरो डेवल्पमेंट थैरेपी, सेंसरी, इंटीग्रेसन थैरेपी, डेली एक्टीविटी लीविंग ट्रेनिंग, एडाप्टीव डिवाईस, स्पिलिंट की सुविधा है। श्रवण एवं वाक् विशेषज्ञ श्री गजेन्द्र कुमार साहू ने बताया कि श्रवणबाधित बच्चों का कॉक्लियर इम्प्लांट करने से इस प्रकार के बच्चे पूर्ण रूप से सामान्य बच्चों की तरह बोल एवं सुन सकते हैं एवं उनकी शिक्षा में भी पूरी तरह से विकास होता हैं । विशेष शिक्षा विभाग में सहायक प्राध्यापक श्री राजेंद्र प्रवीण ने बताया कि सभी प्रकार विशेष बच्चों को किस प्रकार के शिक्षा दिया जाता है तथा इसके साथ ही दृष्टिबाधित बच्चों के लिए ब्रेललिपि के माध्यम से पढ़ाई की व्यवस्था की गई है।
प्रशिक्षण एवं जागरूकता कार्यक्रम के तहत लघुकालीन प्रशिक्षण कार्यक्रम, जागरूकता अभियान एवं सतत् पुनर्वास शिक्षा कार्यक्रम का आयोजन नियमित रूप से संचालित की जा रही है। इसके द्वारा अभिभावकों, दिव्यांगजनों एवं प्रोफेशनल का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। कृत्रिम अंग विभाग श्री अभिनंदन नायक ने बताया कि कृत्रिम अंग एवं सहायक उपकरण प्रत्यंंग विभाग द्वारा दिव्यांगों का आकलन एवं मूल्यांकन कर तथा उन्हें कृत्रिम अंग एवं सहायक उपकरण प्रदान करके सक्षम एवं आत्मनिर्भर की दिशा में कार्य कर रहा है। श्रवण एवं वाक विभाग द्वारा वाक प्रशिक्षण एवं श्रवण क्षमता की जांच की जा रही है। वाक बाधित लोगों को प्रशिक्षण दिया जाता है। जैसे श्रवण बाधित, मानसिक मंदता के स्वर एवं भाषा को ठीक करना है एवं श्रवण यंत्र आवश्यकतानुसार दिया जाता है। भौतिक चिकित्सा (फिजियो थैरेपी) विभाग श्री आशीष परासर ने बताया कि बिना दवा के विभिन्न मशीनों तथा व्यायामों द्वारा हर उम्र के लोगों को स्वास्थ्य लाभ दिया जा रहा है। यह स्नायु संबंधी बीमारी जोड़ों व हाथ पैरों का दर्द व अकडऩ मांसपेशियों की कमजोरी, जन्मजात विकृतियां, हड्डी टूटने के बाद की अक्षमता, रीढ़ की हड्डी संबंधी चोट, खिलाडिय़ों में किसी प्रकार की अक्षमता का निराकरण तथा चिकित्सा करती है। ऑक्यूपेशनल थेरेपी विभाग में व्यवसायिक चिकित्सा दिन-प्रतिदिन की क्रिया में स्वयं की देखभाल में खाली समय में खेल में तथा कौशलों के विकास तथा संभावित क्रिया में उपयोग होता है। इसके साथ-साथ कार्यों को वातावरण अनुरूप मरीजों के वर्तमान क्षमता को देखकर अनुकूल बनाया जाता है एवं मरीज को ज्यादा से ज्यादा स्वतंत्र एवं आत्मनिर्भर बनाया जाता है। साथ ही साथ मरीजों के जीवन को अधिक से अधिक गुणवत्तापूर्ण बनाते हैं। ये सभी उम्र व्यवसाय एवं दैनिक क्रियाकलापों में आत्मनिर्भर बनाने में उपयोगी साबित होता है। विशेष शिक्षा विभाग में विशेष शिक्षा में आवश्यकता वाले बच्चों को शैक्षणिक आकलन करके तथा उनकी पहचान करके व्यक्तिगत शैक्षणिक कार्यक्रम बनाया जाता है। संबंधित समस्या भाषायी अधिगम समस्या का निवारण होता है। दृष्टिबाधितों के लिए ब्रेल प्रशिक्षण, दृष्टिबाधितों स्वयं छड़ी के द्वारा चलने का प्रशिक्षण, बोलता पुस्तकालय की व्यवस्था, दैनिक क्रियाओं का प्रशिक्षण, व्यक्तित्व विकास हेतु परामर्श व मार्गदर्शन, आवश्यकतानुसार उपकरण प्रदान किया जाता है। श्रीमती श्रीदेवी ने बताया कि अपने नैदानिक मनोविज्ञान विभाग सभी तरह के दिव्यांगों के लिए मनोवैज्ञानिक आकलन होता है। पुनर्वास तथा प्रबंधन योजना, मानसिक मंदता से ग्रसित बच्चों के लिए बौद्धिक जागरण, व्यववहार परिमार्जन, परामर्श एवं मार्गदर्शन दिया जाता है। टीम में प्रशासनिक अधिकारी श्री सूर्यकांत बेहरा, एमएचआरएच (कोर्डिनेटर) श्रीमती श्रीदेवी, एमएचआरएच सदस्य श्री गजेन्द्र कुमार साहू अपनी सेवाएं दे रहे हंै।

- वनधन केन्द्र में पूरे वर्ष कार्य के लिए बनाए कार्य योजना : कलेक्टर
- कलेक्टर ने पानाबरस वनधन केन्द्र का किया निरीक्षण

राजनांदगांव / शौर्यपथ / जिले के मानपुर विकासखंड के सुदूर वनांचल ग्राम पानाबरस में स्थानीय वनवासियों के आर्थिक गतिविधियों के उद्देश्य से 42 लाख 60 हजार रूपए की लागत से वनधन केन्द्र गोदाम तथा भवन का निर्माण किया गया है। इस वनधन केन्द्र में स्वसहायता समूह की स्थानीय महिलाओं द्वारा विभिन्न प्रकार के वन उत्पादों का संग्रहण कर प्रसंस्करण कार्य किया जा रहा है। कलेक्टर श्री टोपेश्वर वर्मा ने अपने साप्ताहिक दौरे में वनधन केन्द्र पानाबरस का निरीक्षण किया और वहां समूह की महिलाओं से रूबरू होकर उनके द्वारा किए जा रहे कार्यों की जानकारी ली।
कलेक्टर वर्मा ने वनधन केन्द्र में शहद फिल्टर एवं पैकेजिंग करने की मशीन की कार्य विधि की जानकारी ली। वनधन केन्द्र में समूह की महिलाओं ने कलेक्टर को शहद भेंट की। कलेक्टर ने महिलाओं को प्रोत्साहन राशि प्रदान की। कलेक्टर वर्मा ने कहा कि इन उत्पादों के विक्रय से आमदनी प्राप्त हो रही है। इसे बैंक में जमा करें और इसका सही उपयोग करें। उन्होंने वहां उत्पाद खरीदी-बिक्री के लिए संधारित रजिस्टर का अवलोकन किया। उन्होंने कहा कि वनधन केन्द्र के लिए ऐसी कार्य योजना तैयार करें, जिससे महिलाएं पूरे वर्ष यहां कार्य कर सकें। इस केन्द्र में महुआ, कोदो-कुटकी तथा अन्य स्थानीय उत्पादों से संबंधित कार्य महिलाओं द्वारा लगातार होना चाहिए, जिससे उनके आय में वृद्धि हो। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि वनधन केन्द्र में निर्मित उत्पाद के विक्रय के लिए योजनाएं बनाएं और विभिन्न व्यापारियों से संपर्क स्थापित कर इसके मार्केटिंग के लिए प्रयास करें। वनधन केन्द्र परिसर में छाया के लिए नीम, पीपल, बरगद, आम तथा फलदार वृक्ष लगाने के निर्देश दिए।
वनधन केन्द्र की समूह की महिलाओं ने बताया कि मशीन में एक बार में 80 से 100 किलो शहद फिल्टर किया जा सकता है। इसके बाद पैकेजिंग मशीन द्वारा राजवन फूड्स के नाम से इसका लेबलिंग एवं पैकेजिंग कार्य किया जाता है। उन्होंने बताया कि अब तक 8 हजार रूपए शहद की विक्रय कर चुके हंै। इसके अलावा वनधन केन्द्र में हल्दी, मिर्च, धनिया पाऊडर के पैकेजिंग का कार्य किया जा रहा है और राजवन फूड्स के नाम से विक्रय किया जाता है।
उन्होंने बताया कि यह शुद्धता के साथ स्थानीय स्तर पर तैयार किया जाता है। बीपीएम मनरेगा ने बताया कि वनधन केन्द्र के लिए मक्का प्रसंस्करण मशीन आ गई है। इसकी स्थापना के बाद मक्का प्रसंस्करण का कार्य भी प्रारंभ किया जाएगा। इस अवसर पर एसडीएम मोहला सीपी बघेल, सीईओ जनपद पंचायत मानपुर डीडी मंडले सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

राजनांदगांव / शौर्यपथ / कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने मार्गदर्शन में 4 फरवरी 2021 से जिले के सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर पर कोविड टीकाकरण कार्यक्रम प्रारंभ किया जा रहा है। स्वास्थ्य मंत्रालय भारत सरकार एवं राज्य सरकार द्वारा कोविड टीकाकरण की नियमित मॉनिटरिेंग की जा रही है।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मिथलेश चौधरी ने कोविन पोर्टल में कोविड वेक्सीनेशन के लिए पंजीयन सभी अधिकारियों-कर्मचारियों से निर्धारित टीकाकरण दिवस पर संबंधित टीकाकरण सत्र स्थल में अनिवार्य रूप से उपस्थित होकर कोविड का टीका लगाने तथा महामारी नियंत्रण में सहभागी बनने की अपील की है। उन्होंने कहा कि यह जरूरी है कि जनसामान्य में कोविड वैक्सीनेशन के प्रति सकारात्मक संदेश का संचार हो तथा कोविड वैक्सीनेशन के प्रति लोगों में व्याप्त भ्रामक स्थिति खत्म हो तथा कोविड वैक्सीनेशन के लिए नागरिक जागरूक व प्रोत्साहित हो सके।
जिले में अभी तक कुल 3389 लोगों को कोविड वैक्सीनेशन के प्रथम खुराक से टीकाकृत किया जा चुका है। जिसमें किसी भी टीकाकृत लाभार्थी में किसी भी प्रकार की गंभीर प्रतिकूल प्रभाव के प्रकरण दर्ज नहीं हुए हैं। कोविड वैक्सीन पूर्णतः सुरक्षित एवं प्रभावी है। विभाग द्वारा समस्त कोविड वैक्सीनेशन सेंटरों में आपातकालीन स्थिति को ध्यान में रखते हुए आवश्यक चिकित्सकीय अमलों की उपलब्धता कराई गई है।
डॉ. चौधरी ने बताया कि कोविड-19 वैश्विक महामारी के रोकथाम एवं नियंत्रण में मैदानी कार्यकर्ताओं की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। कंटेनमेंट जोन, निगरानी कार्य, सामुदायिक सघन सर्वे, स्वास्थ्य सुरक्षा अभियान सैम्पलिंग तथा कोविड समरूपी व्यवहार अपनाने के लिए प्रचार-प्रसार में मैदानी स्तर पर कार्य करने वाले अमलों का उल्लेखनीय योगदान रहा है। जिले में कार्यरत मितानिन आंगनबाड़ी सहायिका, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सुपरवाईजर्स तथा ग्रामीण स्वास्थ्य संयोजक महिला व पुरूष स्वास्थ्य कार्यकर्ता, प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में कार्यरत चिकित्सकीय, पैरामेडिकल, नर्सिंग संवर्ग, प्रबंधकीय इत्यादि अमलों का योगदान सराहनीय रहा है। हेल्थ केयर वर्कर्स का प्रारंभिक चरण में वैक्सीनेशन किया जा रहा है। अतः समस्त पंजीकृत हेल्थ केयर वर्कर्स अपनी बारी आने पर कोविड वैक्सीनेशन निर्धारित सत्र स्थल में आकर वैक्सीनेशन करायें और कोरोना महामारी के नियंत्रण में अपनी भागीदारी निभायें।

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