April 24, 2025
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रायपुर//शौर्यपथ /राज्यपाल रमेन डेका से आज यहां राजभवन में इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय खैरागढ की कुलपति डॉ. सुश्री लवली शर्मा ने सौजन्य भेंट की।

एक देश एक चुनाव का संकल्प एमआईसी में सर्वसम्मति से पारित:
  दुर्ग//शौर्यपथ /नगर निगम की मेयर इन काउंसिल की बैठक मेयर श्रीमती अलका बाघमार की अध्यक्षता में मंगलवार को कक्ष में आयोजित हुई।बैठक में कमिश्नर सुमित अग्रवाल,एमआईसी सदस्य देव नारायण चन्द्राकर, नरेंद्र बंजारे,चंद्रशेखर चन्द्राकर,लीना दिनेश देवांगन,काशीराम कोसरे,ज्ञानेश्वर ताम्रकर, मनीष साहू,नीलेशअग्रवाल,शिवनायक,लीलाधर पाल,शशि साहू,हर्षिका जैन,उपायुक्त मोहेंद्र साहू,कार्यपालन अभियंता मोहनपुरी गोस्वामी,दिनेश नेताम,आर के जैन,गिरीश दीवान सहित अधिकारी/कर्मचारी की मौजूदगी में सबसे पहले बाजार विभाग पार्किंग जुड़े एजेंडों पर चर्चा हुई।इंदिरा मार्केट वाहन शुल्क हेतु 3 वर्षों के लिए निविदा पर चर्चा की गई।इदिरा मार्केट वाहन पार्किंग ठेका व न्यू बस स्टैंड में वाहन पार्किंग ठेका को मेयर श्रीमती अलका बाघमार व परिषद के सदस्यों की सहमति से रेट नही आने के कारण अगले एमआईसी की बैठक में निर्णय हेतु टाला गया।
मेयर इन काउंसिल की बैठक के दौरान परिषद के सदस्यों की सहमति से विवेकानंद भवन एवं कुशा भाउ ठाकरे भवन को लीज में देने का निर्णय लिया गया।
मेयर इन काउंसिल की बैठक में एक देश एक चुनाव का संकल्प एमआईसी में सर्वसम्मति से सहमति प्रदान किया गया।लोक सभा एवं विधानसभा चुनाव पूरे देश के एक साथ कराने से भारी भरकम खर्च एवं प्रशासनिक कार्यो प्रभावित होने से बचने हेतु
एक राष्ट्र, एक चुनाव" की अवधारणा के समर्थन में एक प्रस्ताव प्रस्तुत करते है, जिसका उद्देश्य भारत के लोकतांत्रिक ढांचे को अधिक प्रभावी, पारदर्शी और आर्थिक रूप से सृदृढ़ बनाना है।
उद्देश्यः-एक राष्ट्र, एक चुनाव' का मुख्य उद्देश्य लोकसभा और सभी राज्य विधानसभाओं के चुनावों को एक साथ आयोजित करना है ताकि समय, संसाधन, और प्रशासनिक खर्चों की बचत हो सके तथा देश के विकास कार्यों में निरंतरता बनी रहे।
महापौर श्रीमती अलका बाघमार ने कहा एक राष्ट्र-एक चुनाव के लाभः- प्रशासनिक और आर्थिक दक्षताः- बार-बार चुनाव कराने में भारी प्रशासनिक खर्च और संसाधनों की बर्बादी होती है।
एक साथ चुनाव से चुनावी खर्च में भारी कमी आएगी और सुरक्षा बलों, शिक्षकों, और प्रशासनिक अधिकारियों को बार-बार चुनावी ड्यूटी से मुक्त किया जा सकेगा। विकास कार्यों में निरंतरताः बार-बार लगने वाले आदर्श आचार संहिता के कारण विकास परियोजनाएँ रूक जाती है। एक साथ चुनाव होने से यह बाधा दूर होगी और सरकारें अपने विकास कार्यों पर ध्यान केंद्रित कर सकेंगी।
राजनीतिक स्थिरताः- एक साथ चुनाव राजनीतिक अस्थिरता को कम करने में मदद करेगा, जिससे नीति निर्माण में स्थिरता और दीर्घकालिक दृष्टिकोण सुनिश्चित होगा।मतदाताओं की जागरूकता और भागीदारी।
एक साथ चुनाव से मतदाताओं में अधिक जागरूकता और उत्साह पैदा होगा, जिससे मतदान प्रतिशत बढ़ेगा और लोकतंत्र को सशक्त किया जा सकेगा।चुनावी खर्च में कटौतीः
चुनाव आयोग व राजनीतिक दलों को बार-बार चुनाव प्रचार के लिए भारी धनराशि खर्च करनी पड़ती है। एक साथ चुनाव होने से चुनावी खर्च में कटौती होगी, जिससे धन का अधिक सदुपयोग हो सकेगा।
संवैधानिक और व्यावहारिक समाधानः-
महापौर ने कहा संसद में प्रस्तुत विधेयक के पारित कर इसे कानूनी रूप दिया जाये।चुनाव आयोग को आवश्यक तकनीकी और प्रशासनिक संसाधन उपलब्ध कराए जाये।
उन्होंने ये भी कहा सभी राजनीतिक दल आम सहमति बनाकर इस आगे बढ़ें।महापौर ने किया आग्रह एक राष्ट्र, एक चुनाव एक कांतिकारी कदम है, जो भारत के लोकतंत्र को और अधिक मजबूत, पारदर्शी, और कुशल बना सकता है। इससे न केवल सरकार के कार्यों में निरंतरता आएगी, बल्कि राष्ट्रीय एकता और अखंडता भी सुदृढ़ होगी। इस प्रस्ताव का पूर्ण समर्थन करते है और इस लागू करने की दिशा में ठोस कदम उठाने की अनुशंसा को एमआईसी में  सभी की निर्णय से सर्वसम्मति से पारित किया गया।

केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य मंत्रालय के विशेषज्ञों और अधिकारियों ने नगरीय प्रशासन एवं सुडा के अधिकारियों को दिया प्रशिक्षण
रायपुर/शौर्यपथ /राज्य शासन के नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग ने रायपुर, बिलासपुर, कोरबा और दुर्ग-भिलाई की सड़कों पर 240 ई-बस उतारने की तैयारियां तेज कर दी हैं। भारत सरकार की महत्वाकांक्षी प्रधानमंत्री ई-बस सेवा के तहत राज्य में ये ई-बसें संचालित की जाएंगी। उप मुख्यमंत्री तथा नगरीय प्रशासन मंत्री  अरुण साव की पहल पर शहरी आवागमन को बेहतर बनाने ई-बस सेवा के प्रभावी संचालन हेतु नगरीय प्रशासन विभाग एवं सुडा  के अधिकारियों के क्षमता विकास के लिए आज एक दिवसीय प्रशिक्षण का आयोजन किया गया। साव ने ई-बस सेवा को प्रभावी रूप से लागू कर जल्द ही नागरिकों को प्रदूषणरहित बस सेवा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इसे धरातल पर उतारने केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य मंत्रालय के विशेषज्ञों और अधिकारियों ने नया रायपुर स्थित विश्राम भवन में विभिन्न सत्रों में आयोजित एक दिवसीय प्रशिक्षण में राज्य के अधिकारियों को ई-बस सेवा के बेहतर संचालन के लिए तकनीकी जानकारियां प्रदान कीं।
 राज्य शहरी विकास अभिकरण  के मुख्य कार्यपालन अधिकारी शशांक पाण्डेय ने प्रशिक्षण में कहा कि प्रधानमंत्री ई-बस सेवा योजना नगरीय यातायात में मील का पत्थर साबित होगी। इससे लोगों को सस्ती  और प्रदूषणरहित यात्रा सुलभ होगी। आज के इस प्रशिक्षण में ई-बस सेवा के संचालन के लिए तकनीकी जानकारियां दी जा रही हैं। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री ई-बस सेवा योजना के अंतर्गत भारत सरकार द्वारा छत्तीसगढ़ में कुल 240 ई-बसें मुहैया कराई जा रही हैं। इनमें रायपुर के लिए 100,  दुर्ग-भिलाई और बिलासपुर के लिए 50-50 तथा कोरबा के लिए 40 ई-बसें शामिल हैं। चारों शहरों में बस डिपो, सिविल इन्फ्रास्ट्रक्चर एवं बीटीएम पॉवर इन्फ्रास्ट्रक्चर के निर्माण के लिए कुल 67 करोड़ 40 लाख रुपए मंजूर किए गए हैं। रायपुर को 27 करोड़ 23 लाख रुपए, दुर्ग-भिलाई को 17 करोड़ 75 लाख रुपए, बिलासपुर को 11 करोड़ 45 लाख रुपए तथा कोरबा को 10 करोड़ 97 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं।
शहरी परिवहन संस्थान के डिप्टी टीम लीडर राम पौनीकर ने प्रशिक्षण में कहा कि वर्तमान समय में पर्यावरण प्रदूषण विश्व के लिए बड़ी चिंता का विषय है। पर्यावरण के प्रदूषण के लिए वाहनों से उत्सर्जित धुआं एक महत्वपूर्ण कारक है। ऐसे में ई-बस सेवा का संचालन पर्यावरण के प्रदूषण को काफी हद तक नियंत्रित कर सकता है। आईयूटी की सुश्री एकता कपूर ने प्रधानमंत्री ई-बस सेवा योजना में छत्तीसगढ़ की भागीदारी की जानकारी दी। डब्ल्यूआरआई इंडिया के कार्यक्रम प्रमुख श्री चिंतन दफ्तरदार ने सिटी बस सेवाओं के लिए संस्थागत ढांचा एवं प्रधानमंत्री ई-बस सेवा योजना के अंतर्गत एकीकृत निविदा और अनुबंध के विषय में विस्तार से बताया। उन्होंने प्रशिक्षु अधिकारियों के साथ निविदा और अनुबंध से जुड़े विभिन्न तकनीकी विषयों पर चर्चा की।
  दफ्तरदार ने ई-बस और सिटी बस सेवाओं की निगरानी पर कहा कि किसी भी योजना के कुशल संचालन में सेवाओं की निगरानी एवं मूल्यांकन महत्वपूर्ण बिंदु होता है। मूल्यांकन के आधार पर ही सेवाओं की गुणवत्ता के स्तर को देखा जाता है। इस सेवा में भी निगरानी एवं मूल्यांकन महत्वपूर्ण पहलू होगा। सीईएसएल के प्रतिनिधि  वेंकट श्रीनिवास और  भरत गुप्ता ने ई-बस सेवा योजना में ऑपरेटर को भुगतान, भुगतान की शर्तें, भुगतान हेतु देयक, भुगतान प्रक्रिया तथा पीएसएम प्रक्रिया के संबंध में विस्तृत जानकारी दी।  
सुडा के अतिरिक्त मुख्य कार्यपालन अधिकारी  दुष्यंत कुमार रायस्त, कोरबा नगर निगम के अपर आयुक्त  विनय कुमार मिश्रा, अधीक्षण अभियंता  सुरेश बरूआ, नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग के विशेष कर्त्तव्यस्थ अधिकारी निशिकांत वर्मा, सुडा के उप मुख्य कार्यपालन अधिकारी  सुनील अग्रहरि और सचित साहू, रायपुर नगर निगम के कार्यपालन अभियंता प्रदीप यादव और राकेश मसीह, सहायक अभियंता  योगेश कडु और सुनील तांडे, विशेषज्ञ बी.एल. चंद्राकर, उप अभियंता पलाश वैद्य, बिलासपुर नगर निगम के कार्यपालन अभियंता अनुपम तिवारी, सहायक अभियंता  निलेश पटेल, सुडा के प्रबंधक सुरेन्द्र मृगा और सहायक प्रबंधक देवव्रत सिंह भी प्रशिक्षण-सह-कार्यशाला में शामिल हुए।

-टप्पा तालाब सहित अन्य स्थानों पर सड़क किनारे पर अवैध अतिक्रमण 10 से अधिक ठेले खोमचे पर चला निगम का बुलडोजर
-टप्पा तालाब सड़क किनारे अतिक्रमण के कारण यहाँ अवैध और गैर कानूनी कार्य को भी बढ़ावा मिल रहा था,दोबारा अतिक्रमण देखें पर जब्ती की कार्रवाही होगी

दुर्ग/ शौर्यपथ / नगर पालिक निगम सीमा क्षेत्र अंतर्गत टप्पा तालाब चौक से स्थित सड़क किनारे शासकीय जमीन पर कब्जा कर रखी गई खोमचे व ठेके को हटाने की कार्रवाई नगर निगम ने मंगलवार को की। आयुक्त सुमित अग्रवाल के नेतृत्व में निगम की अतिक्रमण शाखा और बाजार विभाग टीम ने यहाँ लगभग लाइन से 10 से अधिक अस्थायी और स्थायी गुमटी,ठेले पर चला बुलडोजर, हटाया गया अतिक्रमण।
  इस कार्रवाई के दौरान अतिक्रमणकारियों ने विरोध किया, लेकिन निगम प्रशासन के सख्ती के आगे उन्हें पीछे हटना पड़ा। दरअसल टप्पा तालाब चौक के पास की शासकीय भूमि पर पहले कुछ लोगों ने अस्थायी रूप से ठेले, टीन शेड और लकड़ी की मदद से दुकानें बनाई थीं।
   देखते ही देखते ये कच्चे दुकान पक्की में तब्दील हो गए था।कई लोगों ने तो टीन, ईंट और सीमेंट से स्थायी चबूतरा निर्माण कर लिया था। सड़क किनारे सरकारी ज़मीन पर अवैध कब्ज़ा हुआ, बल्कि यातायात और सफाई व्यवस्था पर भी असर पड़ रहा था। मंगलवार को सुबह निगम की टीम जेसीबी और अमले के साथ मौके पर पहुँची और अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू की।
   इस दौरान कुछ दुकानदारों ने विरोध करते हुए कार्रवाई को रोकने की कोशिश की, लेकिन निगम की सख्ती में काम जारी रहा।कार्रवाही के दौरान बाजार विभाग शशिकांत यादव,ईश्वर वर्मा,अतिक्रमण प्रभारी अधिकारी परमेश्वर के अलावा बाजार विभाग/अतिक्रमण विभाग अमला मौजूद रहें।टप्पा तालाब में अतिक्रमण के कारण यहाँ अवैध और गैर कानूनी कार्य को भी बढ़ावा मिल रहा था,टप्पा तालाब के आस पास दोबरा अतिक्रमण होने पर जब्ती की कार्रवाही होगी।
  महापौर श्रीमती अलका बघामार ने शहर में यातायात व्यवस्थित को लेकर दुकान के बाहर सड़क घेरकर व्यवसाय करने वाले तथा सड़क किनारे चौक चौराहों पर अतिक्रमण कर व्यवसाय करने वालो के अलावा महापौर ने शहर कालोनी क्षेत्र,गली मोहल्ले में लोगो के द्वारा घर के पास नाली के ऊपर तार फ्रेन्सिंग लगाकर गार्डन बनाकर रखा गया उनसे भी अपील की गई है कि नुकसान से बचने के लिए वे अपना अवैध अतिक्रमण स्वयं हटा लें। निगम की कार्रवाही में सहयोग करें।
  सड़क किनारे से अवैध अतिक्रमण एवं अवैध कब्जे को हटाने नगर निगम प्रशासन ने लगातर शहर में अभियान छेड़ा है,शहर को स्वच्छ व सुंदर बनाने आगे भी इसी प्रकार की कार्यवाही जारी रहेगी।
   अधिकारी ने बताया कि यह टप्पा तालाब सड़क किनारे उस पर अतिक्रमण कर व्यवसाय किया जा रहा था। कई बार मौखिक रूप से हिदायत देने के बाद भी जब अवैध ठेले खोमचे नहीं हटाए गए, तब निगम को कार्रवाई करनी पड़ी। उन्होंने बताया कि आगे भी शहर के अन्य हिस्सों में सड़क किनारे सरकारी ज़मीन पर अतिक्रमण की शिकायतों पर इसी तरह की सख्त कार्रवाई की जाएगी।कार्रवाही के दौरान बताया कि कब्जाधारियों को हिदायत दी गई है कि इस सड़क भूमि पर दोबारा निर्माण न करें, नहीं तो कार्रवाई होगी।

बॉम्बे एग्ज़िबिशन सेंटर में दो दिवसीय कार्यक्रमों में रहेंगे विशिष्ट अतिथि
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति का राष्ट्रीय मंच से होगा प्रस्तुतिकरण
रायपुर /शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णु देव साय 23 और 24 अप्रैल को देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में आयोजित वस्त्र एवं इस्पात उद्योग के दो प्रतिष्ठित राष्ट्रीय आयोजनों में शामिल होंगे। मुख्यमंत्री साय इन अवसरों पर राज्य की नई औद्योगिक नीति, निवेश की संभावनाएँ और अधोसंरचना विकास के विजन को देशभर के उद्योगपतियों एवं नीति निर्माताओं के समक्ष प्रस्तुत करेंगे। ये आयोजन मुंबई के गोरेगांव स्थित बॉम्बे एग्ज़िबिशन सेंटर में होंगे।
पहला दिन: टेक्सटाइल सेक्टर के निवेशकों से संवाद – 23 अप्रैल
मुख्यमंत्री साय 23 अप्रैल को CMAI Fab Show में भाग लेंगे, जिसे क्लोथिंग मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (CMAI) द्वारा आयोजित किया गया है। यह शो देश के वस्त्र उद्योग से जुड़े दिग्गजों का प्रमुख प्लेटफॉर्म है, जहाँ उत्पादन, निर्यात और ब्रांडिंग से जुड़े प्रतिष्ठित प्रतिनिधि शामिल होते हैं। मुख्यमंत्री इस मंच से छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति में वस्त्र उद्योग के लिए उपलब्ध विशेष सुविधाओं, प्रोत्साहनों और निवेश के अवसरों की जानकारी साझा करेंगे। इस दौरान कुछ प्रमुख कंपनियों के साथ निवेश समझौतों पर हस्ताक्षर की भी संभावना है।
दूसरा दिन: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में होगा छत्तीसगढ़ का प्रस्तुतीकरण – 24 अप्रैल
 मुख्यमंत्री साय 24 अप्रैल को इंडिया स्टील 2025 के उद्घाटन समारोह में विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल होंगे। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़ेंगे। इस अवसर पर मुख्यमंत्री  साय छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति के तहत इस्पात उद्योग के लिए विकसित अधोसंरचना, नवाचार, और दीर्घकालिक योजनाओं पर प्रकाश डालेंगे।
 इसी दिन छत्तीसगढ़ राउंड टेबल मीटिंग का आयोजन भी होगा, जिसमें मुख्यमंत्री संभावित निवेशकों के साथ सीधी बातचीत करेंगे। इस बैठक में औद्योगिक क्लस्टर्स, लॉजिस्टिक सपोर्ट, सिंगल विंडो क्लियरेंस सिस्टम, और अनुकूल श्रमिक नीति जैसे विषयों पर विस्तार से चर्चा की जाएगी।
राज्य पवेलियन में झलकेगा नया छत्तीसगढ़
मुख्यमंत्री साय छत्तीसगढ़ स्टेट पवेलियन का भी भ्रमण करेंगे, जहाँ राज्य की औद्योगिक अधोसंरचना, नीतिगत प्रोत्साहन, और निवेश के बहुआयामी अवसरों की जानकारी मिलेगी। यह पवेलियन निवेशकों को छत्तीसगढ़ की ओर आकर्षित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
मीडिया से संवाद – बॉम्बे एग्ज़िबिशन सेंटर में
मुख्यमंत्री साय 23 और 24 अप्रैल को दोपहर 1 बजे बॉम्बे एग्ज़िबिशन सेंटर में मीडिया से संवाद करेंगे। वे इस दौरे के प्रमुख उद्देश्यों, राज्य की नई औद्योगिक नीति की विशेषताओं और निवेश को आकर्षित करने के लिए सरकार द्वारा किए जा रहे प्रयासों की जानकारी साझा करेंगे।

      मोहला शौर्यपथ / कलेक्टर श्रीमती तुलिका प्रजापति के निर्देशानुसार मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.एस आर मंडावी एवं जिला कार्यक्रम प्रबंधक श्री राकेश वर्मा के मार्गदर्शन एवं जिला नोडल अधिकारी डॉ.सीमा ठाकुर के नेतृत्व में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मोहला में विश्व लीवर दिवस मनाया गया। इस अवसर पर अस्पताल में भर्ती मरीजों को फलों का वितरण किया गया।
         इस वर्ष विश्व लीवर दिवस 2025 की थीम फूड इस मेडिसिनश रखी गई है। इस थीम को रखने का उद्देश्य अच्छा और संतुलित आहार लेने के प्रति लोगों को जागरुक करना है। लिवर को स्वस्थ रखने के लिए संतुलित और हेल्दी डाइट लेने से न सिर्फ बीमारियों से बचाव संभव होता है, बल्कि ये शरीर को स्वस्थ रखने और किसी बीमारी का इलाज करने या जल्दी ठीक करने में अहम भूमिका निभाता है। यह थीम लोगों को यह समझाने के लिए तय की गई है कि लिवर के देखभाल के लिए न सिर्फ दवाओं पर निर्भर रहना चाहिए, बल्कि सही खानपान से भी आप अपने लिवर को स्वस्थ रख सकते हैं।
       विश्व लीवर दिवस की शुरुआत विश्व स्वास्थ्य संगठन और लिवर संबंधी संस्थाओं ने एक साथ मिलकर की थी, ताकि हेपेटाइटिस, फैटी लिवर, लिवर सिरोसिस और लिवर कैंसर जैसी जानलेवा बीमारियों के बारे में लोगों को समय रहते जानकारी दी जा सके। खासतौर पर, विकासशील देशों में, जहां खानपान की आदतें बिगड़ती जा रही हैं और शारीरिक गतिविधियां कम होने के कारण लोगों में लिवर से जुड़ी समस्याएं तेजी से फैल रही हैं। साल 2012 में 19 अप्रैल के दिन पहली बार इस दिन को मान्यता दी गई। जिसके बाद से हर साल 19 अप्रैल को विश्व लीवर दिवस मनाया जाता है।
- लीवर को कैसे रखें सुरक्षित
       लीवर को स्वस्थ रखने के लिए एक स्वस्थ जीवनशैली अपनाना और कुछ सावधानियां बरतनी चाहिए। इनमें संतुलित आहार, नियमित व्यायाम, शराब का सेवन कम करना, विषाक्त पदार्थों से बचना, और नियमित स्वास्थ्य जांच करवाना शामिल है। संतुलित आहार, फल, सब्जियां, साबुत अनाज, दुबला प्रोटीन और स्वस्थ वसा का सेवन करें, प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ, मीठे पेय और संतृप्त वसा से बचें।
- नियमित व्यायाम
हर दिन कम से कम 30 मिनट व्यायाम करें, जैसे कि तेज चलना या तैरना व्यायाम लीवर पर तनाव कम करता है और मोटापे को रोकता है।
- शराब का सेवन कम करें
शराब का सेवन लिवर के लिए हानिकारक हो सकता है अगर आप शराब पीते हैं, तो सीमित मात्रा में ही पिए।
- विषाक्त पदार्थों से बचें
धूम्रपान, अवैध दवाओं और कुछ रसायनों से बचें, हेपेटाइटिस के विरुद्ध टीका लगवाएं, हेपेटाइटिस ए और बी के विरुद्ध टीका लगवाने से लीवर को नुकसान से बचाया जा सकता है।
- अपनी दवाओं के बारे में जानकारी रखें
अपनी दवाओं के बारे में अपने डॉक्टर से बात करें, खासकर यदि आप पहले से ही कोई दवा ले रहे हैं।
- नियमित स्वास्थ्य जांच कराएं
नियमित स्वास्थ्य जांच लीवर की समस्याओं का पता लगाने में मदद कर सकती है
- तनाव का प्रबंधन करें
तनाव लीवर को प्रभावित कर सकता है तनाव कम करने के लिए योग, ध्यान, या अन्य तनाव-रोधी तकनीकों का अभ्यास करें। अपने और अपने लीवर का जरूर ख्याल रखें विश्व लीवर दिवस में संकल्प ले की कम से कुकिंग ऑइल का उपयोग करे। उक्त कार्यक्रम में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मोहला के समस्त स्टाफ एवं मितानिन उपस्थित थे।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत का सपना पूरा करेंगी यहां प्रशिक्षित महिलाएं - अरुण साव
रायपुर/शौर्यपथ/उप मुख्यमंत्री तथा नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री अरुण साव ने आज रायपुर के चंगोराभाठा में महतारी सिलाई केंद्र का शुभारंभ किया। रायपुर नगर निगम द्वारा संचालित इस सिलाई केंद्र में महिलाओं को सिलाई का प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण के बाद सिलाई कार्य में दक्ष महिलाएं अपना स्वरोजगार शुरू कर सकेंगी।
 उप मुख्यमंत्री  अरुण साव ने सिलाई केंद्र के शुभारंभ के बाद प्रशिक्षु महिलाओं से बात भी की। उन्होंने शुभारंभ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि महिलाओं को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने के लिए यह अच्छी पहल है। यहां प्रशिक्षण प्राप्त कर महिलाएं प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत का सपना साकार करेंगी। उन्होंने कहा कि इस तरह का सिलाई केंद्र सिर्फ रायपुर में ही नहीं, पूरे प्रदेश में हो, इसकी कोशिश करेंगे।
  उप मुख्यमंत्री साव ने राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन की टीम की सराहना करते हुए कहा कि टीम ने यहां सिलाई प्रशिक्षण की अच्छी व्यवस्था की है। इस केंद्र को मॉडल के रूप में विकसित किया जाना चाहिए, ताकि अन्य शहरों में भी महिलाओं के लिए इस तरह के केंद्र प्रारंभ किए जा सकें।
 महतारी सिलाई केंद्र के शुभारंभ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए महापौर श्रीमती मीनल चौबे ने बताया कि उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव जब चंगोराभाठा में सांस्कृतिक कार्यक्रम में आए थे, तब उन्होंने उप मुख्यमंत्री से कहा था कि महिलाएं सिलाई सीखना चाहती हैं। आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने के कारण गरीब महिलाएं सिलाई मशीन नहीं खरीद पाती हैं। उन्होंने मेरी मांग पर सिलाई केंद्र खोलने की घोषणा की थी जो आज मूर्त रूप ले रहा है।
   महापौर श्रीमती मीनल चौबे ने कहा कि यहां सिलाई का काम सीखकर महिलाएं अपने पैरों पर खड़ी होंगी और अपने परिवार को आर्थिक मजबूती प्रदान करेंगी। इससे उनकी आर्थिक-सामाजिक स्थिति सुधरेगी और आत्मविश्वास बढ़ेगा। राज्य अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष अमरजीत छाबड़ा, रायपुर नगर निगम के सभापति सूर्यकान्त राठौर, आयुक्त विश्वदीप, एमआईसी सदस्य, पार्षदगण और गणमान्य नागरिक भी बड़ी संख्या में कार्यक्रम में मौजूद थे।

मुख्यमंत्री ने 'नए दौर की भागदौड़ में पीछे छूटते भारतीयता के संस्कार' विषय पर आयोजित 'की-नोट' एड्रेस में रखे अपने विचार
  रायपुर/शौर्यपथ /नए दौर की भागदौड़ में पीछे छूटते भारतीयता के संस्कारों के दौर में समाज को सकारात्मक दिशा देना अत्यंत आवश्यक है। आज विदेशी हमारी संस्कृति से प्रभावित हो रहे हैं। प्रयागराज महाकुंभ में बड़ी संख्या में पश्चिमी देशों के लोग श्रद्धा से गंगा स्नान करने पहुँचे। दूसरी ओर, हम दिखावे और आडंबर के चलते अपनी महान संस्कृति से दूर होते जा रहे हैं और पाश्चात्य संस्कृति को अपना रहे हैं। हमारे यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा लागू की गई नई शिक्षा नीति में शिक्षा के साथ-साथ रोजगार और संस्कार दोनों सम्मिलित हैं। मुख्यमंत्री साय राजधानी के बेबीलोन कैपिटल होटल में पत्रिका समूह द्वारा आयोजित 'की-नोट' एड्रेस में अपने विचार व्यक्त करते हुए यह बात कही।
  मुख्यमंत्री साय ने कहा कि मैं गुलाब कोठारी को बधाई देना चाहता हूं कि वे अपनी लेखनी के माध्यम से समाज को निरंतर सकारात्मक दिशा दे रहे हैं। पत्रिका समूह के दायित्वों के साथ-साथ वे जो समय निकाल रहे हैं, उसे सामाजिक चेतना के लिए समर्पित कर रहे हैं – यह अत्यंत सराहनीय है।
  मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारा देश सदियों तक विश्व गुरु रहा है। नालंदा जैसे विश्वविद्यालयों में पूरी दुनिया से छात्र शिक्षा ग्रहण करने आते थे। हमारा सनातन धर्म अत्यंत प्राचीन है, जिसकी मूल भावना 'वसुधैव कुटुम्बकम्' है – अर्थात् पूरा विश्व एक परिवार है।
   मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा लागू की गई नई शिक्षा नीति को छत्तीसगढ़ ने अपनाया है। इस नीति में शिक्षा के साथ-साथ रोजगार और संस्कार दोनों को प्राथमिकता दी गई है। इसके माध्यम से हम पुनः अपनी गौरवशाली सभ्यता की ओर अग्रसर हो रहे हैं।
   मुख्यमंत्री ने कहा कि प्राचीन काल से ही भारत में नारी का सम्मान सर्वोपरि रहा है। हमारे यहां कहा गया है– 'यत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते रमन्ते तत्र देवताः', अर्थात जहाँ नारी का सम्मान होता है, वहाँ देवताओं का वास होता है। हमारे धर्म में भगवान के नाम से पहले देवी का नाम आता है– जैसे उमापति महादेव, सियापति राम, राधाकृष्ण आदि। हम माँ सरस्वती से विद्या, माँ लक्ष्मी से धन और माँ दुर्गा से शक्ति की कामना करते हैं।
   मुख्यमंत्री ने कहा कि 'जननी जन्मभूमिश्च स्वर्गादपि गरीयसी' का अर्थ है – माता और मातृभूमि स्वर्ग से भी श्रेष्ठ हैं। माता-पिता ही बच्चे के प्रथम गुरु होते हैं, और जैसा वे सिखाते हैं, बच्चे वही सीखते हैं। हमारी सभ्यता आज भी जीवित है, जो हमारी शक्ति का प्रमाण है।
   उन्होंने कहा कि आज हमारे परिवारों में एक गंभीर समस्या यह है कि हम बच्चों को मोबाइल थमा रहे हैं। मोबाइल में अच्छाई और बुराई दोनों हैं। हमें चाहिए कि हम उसमें से अच्छाई को चुनें – जैसे हंस दूध को ग्रहण करता है, वैसे ही हमें भी विवेकपूर्वक चयन करना चाहिए।
   पत्रिका समूह के चेयरमैन गुलाब कोठारी ने कहा कि भारत की सांस्कृतिक विरासत को जीवित रखने की शक्ति केवल माँ के पास है। माँ सूक्ष्म स्तर पर जीवन जीती है। उसमें अन्न ब्रह्म और शब्द ब्रह्म दोनों विद्यमान हैं। माँ ही जीवन का पोषण करती है। आधुनिक शिक्षा ने माँ की भूमिका को कमज़ोर कर दिया है, जबकि शरीर और आत्मा दोनों के पोषण की शक्ति माँ के पास ही है। आज माँ-बाप और बच्चों के बीच की दूरी बढ़ती जा रही है। उन्होंने कहा कि सिर्फ बौद्धिक विकास जीवन में सुख की गारंटी नहीं देता।
    कोठारी ने कहा कि अगर हम बदलती दुनिया में भी अपनी सांस्कृतिक पहचान को बनाए रखें, तो ही हम विश्व को कुछ देने योग्य बन पाएंगे। भारतीय दर्शन हमें सिखाता है कि हम केवल शरीर नहीं, आत्मस्वरूप हैं। सूचना और ज्ञान बाहर से आते हैं, लेकिन विज़न और जीवन की दिशा भीतर से आती है। आज यही 'भीतर' हमसे छूट रहा है। आधुनिक शिक्षा ने हमें मानव संसाधन बना दिया है, जबकि हमें अपनी संस्कृति को जीवित रखना आवश्यक है।
  आईआईएम के डायरेक्टर प्रो. रामकुमार काकानी ने कहा कि आज पीढ़ियों के बीच जो खाई उत्पन्न हुई है, उसे पाटना ज़रूरी है। नई पीढ़ी की दुनिया अलग है – उस पर अधिक दबाव है, चौबीसों घंटे विज्ञापनों का असर है, और परिवार भी छोटे होते जा रहे हैं। संचार और तकनीक के प्रसार ने पीढ़ियों के बीच की दूरी और बढ़ा दी है। पहले की पीढ़ियों में अनुशासन और सीमित साधन होते थे, आज की पीढ़ी प्रतिस्पर्धा के दबाव में है। इससे पारिवारिक ढांचा भी बदला है, और भावनात्मक दूरी भी आई है।
  उन्होंने कहा कि हमें साझा मूल्यों की पुनः पहचान करनी होगी। नई पीढ़ी को सहानुभूति और स्पष्ट लक्ष्यों के साथ प्रेरित करना होगा। अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और खुले वातावरण में संवाद को बढ़ावा देने की ज़रूरत है। अगर हम ऐसा करें, तो पीढ़ियों के बीच की दूरी को पाटा जा सकता है।
  कार्यक्रम में कोंडागांव की युवा उद्यमी सुश्री अपूर्वा त्रिपाठी ने भी विचार रखे। इस अवसर पर विधायक सुनील सोनी,पुरंदर मिश्रा, रायपुर की महापौर श्रीमती मीनल चौबे, पद्मश्री श्रीमती फुलबासन यादव,  पत्रिका के स्टेट एडिटर पंकज श्रीवास्तव सहित पत्रिका समूह के अनेक सदस्य व गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

जनसंपर्क – सुशासन और जनविश्वास का सेतु: मुख्यमंत्री साय
रायपुर /शौर्यपथ /मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने राष्ट्रीय जनसंपर्क दिवस के अवसर पर प्रदेश के समस्त जनसंपर्क अधिकारियों, कर्मचारियों एवं जनसंचार क्षेत्र से जुड़े सभी प्रतिनिधियों को हार्दिक शुभकामनाएं दी हैं।
मुख्यमंत्री  साय ने कहा कि जनसंपर्क आज मात्र सूचना के प्रसार का माध्यम नहीं, बल्कि सरकार और जनता के बीच विश्वास और संवाद की सशक्त कड़ी है। शासन की योजनाओं, नीतियों और जनहितकारी कार्यक्रमों को प्रभावी ढंग से आमजन तक पहुँचाने में जनसंपर्क की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि बदलते समय के साथ जनसंपर्क की भूमिका और भी व्यापक हो गई है। आज जनसंपर्क की लोगों को शासन की योजनाओं के प्रति   जागरूक करने में अहम भूमिका  है। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि सोशल मीडिया और डिजिटल माध्यमों के विस्तार के इस युग में विश्वसनीय, सटीक और संवेदनशील संप्रेषण पहले से कहीं अधिक आवश्यक हो गया है। ऐसे में जनसंपर्क की जिम्मेदारी और भी महत्वपूर्ण हो जाती है। जनसंपर्क जनमत, जनचेतना और जनसेवा के त्रिवेणी संगम की तरह है। इसकी सक्रियता, संवेदनशीलता और संप्रेषण क्षमता जितनी सशक्त होगी, छत्तीसगढ़ में सुशासन की छवि उतनी ही मजबूत होगी। सही सूचना, सही समय पर, सही स्वरूप में जब आमजन तक पहुँचती है, तभी लोकतंत्र में विश्वास और सहभागिता मजबूत होती है।

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